Success Story: बिना कोचिंग के लघिमा ने क्रैक की UPSC परीक्षा, पहले अटेम्प्ट में 19वीं रैंक लाकर बनीं IAS अफसर
आईएएस अधिकारी लघिमा तिवारी राजस्थान के अलवर जिले से ताल्लुक रखती हैं। हालांकि उन्होंने अपनी बैचलर की डिग्री दिल्ली टेक्नोलॉजिकल यूनिवर्सिटी से ली है। इसके बाद लघिमा ने यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी शुरू की। हालांकि इसके लिए उन्होंने किसी कोचिंग से मदद नहीं ली। उन्होंने इसके लिए पिछले वर्षों के टॉपर के इंटरव्यू की रणनीति को आधार बनाया।
करियर डेस्क, नई दिल्ली। यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा में सफलता पाने के लिए कैंडिडेट्स दिन-रात कड़ी मेहनत करते हैं। मार्गदर्शन प्राप्त करने के लिए वे कोचिंग संस्थानों का रुख करते हैं, जहां तैयारी के लिए अच्छी-खासी फीस भी खर्च करते हैं। हालांकि, आज हम सक्सेस स्टोरी कॉलम में, जिस आईएएस अधिकारी के बारे में बताने जा रहे हैं, उन्होंने बिना किसी कोचिंग के यह परीक्षा पास की है। उनकी यह सफलता एक और मायने में खास हो जाती है,क्योंकि बिना किसी कोचिंग के पर पहली बार में सबसे मुश्किल एग्जाम को क्रैक किया है। इस अफसर का नाम है लघिमा तिवारी की। आइए जानते हैंं उनकी कहानी।
राजस्थान के अलवर जिले की निवासी लघिमा तिवारी ने शुरुआती पढ़ाई यहीं से पूरी की है। इसके बाद,दिल्ली टेक्नोलॉजिकल यूनिवर्सिटी से इलेक्ट्रॉनिक्स एंड कम्युनिकेशन इंजीनियरिंग में उन्होंने ग्रेजुएशन की डिग्री ली है। बैचलर की डिग्री हासिल करने के बाद उन्होंने यूनियन पब्लिक सर्विस कमीशन (UPSC) की ओर से आयोजित होने वाली सिविल सर्विसेज परीक्षा (CSE) की तैयारी शुरू कर दी थी। हालांकि, इसके लिए उन्होंने कोई कोचिंग नहीं ली। बस वे अपनी तैयारी में जुटी रहीं। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, परीक्षा के पैटर्न को समझने से लेकर तैयारी तक के लिए उन्होंने यूट्यूब पर मौजूद टॉपर्स के इंटरव्यू की मदद ली। उन्होंने परीक्षा में बेहतर प्रदर्शन करने वाले कैंडिडेट्स से यह समझने की कोशिश कि उनकी एग्जाम के लिए क्या रण्नीति रही। इसको ही फॉलो करते हुए मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, वे आगे बढ़ीं।
IAS Officer Laghima Tiwari Rank: पहले प्रयास में हासिल की 19वीं रैंक
लघिमा तिवारी की ओर से परीक्षा को लेकर बनाई गई रणनीति इतनी सटीक थी कि पहले ही अटेम्प्ट में ही उन्होंने यह एग्जाम क्रैक किया, बल्कि 19वीं रैंक हासिल की थी। इस रैंक के साथ वे IAS अफसर बन गईं। लघिमा ने लिखित परीक्षा में मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, 853 अंक और व्यक्तित्व परीक्षण में 180 अंक प्राप्त किये थे। अफसर का कुल स्कोर 1033 रहा था। वे अपनी सफलता का श्रेय अपने माता-पिता से मिलने वाले सपोर्ट को देती हैं।
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