बालू के अवैध खनन और परिवहन पर रोक लगाने के लिए नीतीश सरकार ने बनाया गजब का प्लान, अब जिलों को मिलेगी ये सुविधा
मानसून के बाद बिहार की नदियों में बालू खनन फिर शुरू हुआ। 250 से अधिक बालू घाटों पर खनन शुरू हुआ है लेकिन अवैध खनन और परिवहन की घटनाएं भी बढ़ रही हैं। खान और भू-तत्व विभाग ने अवैध खनन पर अंकुश लगाने के लिए विशेष छापामारी और जांच अभियान शुरू किया है। अवैध खनन से सरकार को भारी राजस्व का नुकसान होता है।
राज्य ब्यूरो, पटना। मानसून अवधि बीतने के बाद प्रदेश की नदियों से एक बार फिर बालू का खनन प्रारंभ हो गया है। फिलहाल ढ़ाई सौ से अधिक बालू घाटों से खनन प्रारंभ हुआ है, लेकिन इसके साथ ही नदियों से अवैध बालू खनन और परिवहन की घटनाएं भी बढ़ने की आशंका है। जिससे निपटने के लिए खान एवं भू-तत्व विभाग ने कमर कस ली है।
बालू के अवैध खनन एवं परिवहन की वजह से सरकार को भारी राजस्व का नुकसान होता है। हालांकि अवैध परिवहन और खनन पर कड़े अंकुश लगाने के लिए हाल ही में सरकार ने नए कानून भी बनाए हैं।
बावजूद इस प्रकार की घटनाएं रुक नहीं रही। जिसे देखते हुए अब खान एवं भू-तत्व विभाग ने विशेष छापामारी और जांच अभियान चलाने के निर्णय लिए हैं।
समीक्षा बैठक में अधिकारियों को मिला यह निर्देश
हाल ही में हुई एक समीक्षा बैठक में विभाग के प्रधान सचिव के स्तर पर जिलों के खनिज विकास पदाधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि अवैध बालू खनन और परिवहन के खिलाफ जिलों में विशेष छापामारी अभियान चलाया जाए। इसके लिए जिलों को अतिरिक्त पुलिस फोर्स की सुविधा दी जाएगी ताकि छापामारी अभियान निरंतर चले।
विभाग से मिली जानकारी के अनुसार सभी खनिज विकास पदाधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि जिले जिलाधिकारी-आरक्षी अधीक्षक से समन्वय बनाकर अतिरिक्त पुलिस फोर्स प्राप्त करें और इसकी जानकारी खान एवं भू-तत्व विभाग को भी मुहैया कराएं। जिन जिलों में फोर्स मिलने में समस्या आ रही है, वैसे जिले अलग से विभाग को इसकी जानकारी दें ताकि छापामारी के लिए उन्हें फोर्स की सुविधा दी जा सके।