मिलिए MOM की बेटी सजल अली से, पहले भी क़िस्मत आज़माने आती रही हैं पाक Beauties
फ़िल्म में वो श्रीदेवी की बेटी के रोल में हैं। सजल फ़िल्मों में आने से पहले टीवी पर काफ़ी काम कर चुकी हैं और पाकिस्तानी टीवी इंडस्ट्री का जाना-पहचाना चेहरा हैं।
By मनोज वशिष्ठEdited By: Updated: Fri, 07 Jul 2017 04:38 PM (IST)
मुंबई। दो मुल्कों के बीच सियासी रिश्ते चाहे जैसे रहे हों, मगर हिंदी सिनेमा में करियर बनाने की चाह लेकर पाकिस्तानी एक्टर्स सरहद पार करते रहे हैं, मगर इंडियन फ़िल्म इंडस्ट्री पर उनकी ये सर्जीकल स्ट्राइक्स ख़ास कामयाब नहीं रही हैं। इतिहास गवाह है कि कुछ फ़िल्में करने के बाद ज़्यादातर को घर वापसी करनी पड़ी है। आइए, एक नज़र डालते हैं कुछ ऐसी पाकिस्तानी एक्ट्रेसेज पर, जिन्होंने बॉलीवुड में करियर बनाने की कोशिश की...
बॉलीवुड को ज्वाइन करने वाली ताज़ा एक्ट्रेस हैं सजल अली। सजल मॉम से बॉलीवुड करियर शुरू कर रही हैं। फ़िल्म में वो श्रीदेवी की बेटी के रोल में हैं। सजल फ़िल्मों में आने से पहले टीवी पर काफ़ी काम कर चुकी हैं और पाकिस्तानी टीवी इंडस्ट्री का जाना-पहचाना चेहरा हैं। सजल का फ़िल्मी करियर 2016 की पाकिस्तानी फ़िल्म 'ज़िंदगी कितनी हसीं है' से शुरू हुआ। 'मॉम' उनके करियर की दूसरी फ़िल्म है।यह भी पढ़ें: श्रीदेवी की 300वीं फ़िल्म मॉम से ऐसे जुड़ा बेटी जाह्नवी कपूर का नाम
सबा क़मर 19 मई को रिलीज़ हो चुकी हिंदी मीडियम में इरफ़ान ख़ान के साथ उनकी बीवी बनीं। सबा इरफ़ान की ही खोज हैं। एक इंटरव्यू में उन्होंने ये खुलासा किया था कि सबा को उन्होंने एक यू-ट्यूब वीडियो में देखा था। उनकी एक्टिंग के वो इतने मुरीद हो गए, कि सबा को फ़िल्म के लिए रिकमेंड कर दिया। सबा ने भी इरफ़ान के फ़ैसले को ग़लत साबित नहीं होने दिया। वैसे हिंदी मीडियम से डेब्यू के अलावा सबा कुछ वक़्त पहले सलमान ख़ान पर कमेंट करने के लिए भी ख़बरों में रही थीं।
सबा क़मर से पहले टेलेंटेड माहिरा ख़ान ने शाह रुख़ ख़ान की फ़िल्म रईस से बॉलीवुड में डेब्यू किया। राहुल ढोलकिया डायरेक्टिड फ़िल्म में माहिरा के काम को काफी पसंद किया गया। अपनी इस फ़िल्म को लेकर वो काफी उत्साहित भी थीं, पर उनका डेब्यू दोनों देशों के बीच चल रहे तनाव की भेंट चढ़ गया। माहिरा रईस के प्रमोशन के लिए इंडिया तो नहीं आ सकीं। रईस भी पाकिस्तान में रिलीज़ नहीं हुई। मौजूदा हालात के मद्देनज़र माहिरा को दूसरी बॉलीवुड फ़िल्म करने में वक़्त लग सकता है।यह भी पढ़ें: अक्षय और सलमान देखते रह गए, शाह रुख़ ले उड़े उनकी गर्लफ्रेंड्स2016 की फ़िल्म सनम तेरी क़सम से पाकिस्तानी एक्ट्रेस मावरा होकेन ने हर्षवर्धन राणे के साथ बॉलीवुड पारी शुरू की। हालांकि फ़िल्म चली नहीं। मावरा पाकिस्तानी टीवी इंडस्ट्री की मशहूर अदाकारा हैं और उनके सनम तेरी क़सम उनके करियर की पहली फ़िल्म है। 2014 में इमरान हाशमी के साथ राजा नटवरलाल से हुमायमा मलिक ने बॉलीवुड डेब्यू किया। ना ये फ़िल्म चली और ना हुमायमा। वैसे पाकिस्तान में उनकी शोहरत काफी है। टीवी और फ़िल्मों में उन्होंने बेहतरीन काम किया है।यह भी पढ़ें: हर फ़िल्म के साथ इसलिए बदल जाती है अक्षय की हीरोइन, ये रही वजहएक नाम सारा लॉरेन का भी है, जिन्होंने 2010 की फ़िल्म कजरारे से हिमेश रेशमिया के साथ बॉलीवुड में डेब्यू किया था। इस फ़िल्म के क्रेडिट रोल्स में मोनालिज़ा गया था। कुछ विवादों में फंसने की वजह से कजरारे को कुछ थिएटर्स में खानापूर्ति के लिए रिलीज़ किया गया था। सुभाष घई की क़र्ज़ से प्रेरित कजरारे को पूजा भट्ट ने डायरेक्ट किया था। इसके बाद सारा कुछ और फ़िल्मों में नज़र आईं, मगर वो सब प्रभावित नहीं कर सकीं।यह भी पढ़ें: हीट को बीट करते देखिए बॉलीवुड एक्ट्रेसेज के समर लुकआलिया भट्ट की मॉम सोनी राज़दान निर्देशित नज़र से मीरा ने बॉलीवुड में पारी शुरू की। फ़िल्म में अश्मित पटेल उनके अपोज़िट थे। फ़िल्म फ्लॉप रही। मीरा ने कुछ और फ़िल्मों में क़िस्मत आज़माई, मगर सफलता नहीं मिली। पाकिस्तान फ़िल्म इंडस्ट्री में मीरा ने कई फ़िल्में की हैं। बॉलीवुड में अाख़िरी बार वो 2013 में एक कम बजट की फ़िल्म भड़ास में नज़र आई थीं।कंट्रोवर्सी क्वीन कही जाने वाली वीणा मलिक ने 2010 में बिग बॉस के चौथे सीज़न के ज़रिए इंडियन एंटरटेनमेंट इंडस्ट्री में एंट्री ली। 2012 की फ़िल्म गली गली में चोर है में एक आइटम सांग से उन्होंने बॉलीवुड पारी शुरू की। वीणा के नाम कुछ कम बजट की फ्लॉप फ़िल्में और विवाद ही रहे। यह भी पढ़ें: सलमान, शाह रुख़, अजय अब हो गए हैंडसम, पहले दिखते थे ऐसे90 के दशक में भी पाकिस्तानी मूल के कलाकारों का बॉलीवुड आना जाना लगा रहा था। ज़ेबा बख्तियार ने आरके बैनर की फ़िल्म हिना से बॉलीवुड में डेब्यू किया था। इस क्रॉस बॉर्डर लव स्टोरी में ऋषि कपूर लीड रोल में थे। फ़िल्म को रणधीर कपूर ने डायरेक्ट किया था। इसके बाद हिना स्टंटमैन में जैकी श्रॉफ़ और जय विक्रांता में संजय दत्त की लीडिंग लेडी बनीं। ये दोनों फ़िल्में नहीं चलीं।नब्बे के दशक में ही सोमी अली ने अंत, किशन अवतार, आओ प्यार करें और आंदोलन जैसी फ़िल्मों में लीड रोल्स निभाए। सोमी का भी बॉलीवुड करियर ज़्यादा नहीं चला। इस दौर में वो अपनी फ़िल्मों से ज़्यादा सलमान ख़ान से दोस्ती के लिए मशहूर हुईं।यह भी पढ़ें: जब शाह रुख़ मेट इम्तियाज़ अली, 11 एक्टर-डायरेक्टर्स जो पहली बार आए साथ