तो इसलिए रियल लाइफ़ में इतनी ग्लैमरस दिखती हैं श्रीदेवी, जानिए ख़ास वजह
श्रीदेवी कहती हैं कि सिर्फ़ 'मॉम' में ही ऐसा नहीं किया है। मैंने 'सदमा' में भी किरदार के लिए टेढ़ी-मेढी चोटी कर ली थी, क्योंकि मैं मेंटली डिस्टर्ब लड़की के किरदार में थी।
By मनोज वशिष्ठEdited By: Updated: Mon, 03 Jul 2017 10:56 AM (IST)
अनुप्रिया वर्मा, मुंबई। श्रीदेवी ने अपनी आगामी फ़िल्म 'मॉम' में नो मेकअप लुक रखा है। यह पहली बार नहीं है, जब श्रीदेवी मेकअप को लेकर यह सोच रखती हों। दरअसल, हक़ीक़त यही है कि उनकी फ़िल्मों में वह हमेशा से इस बात को लेकर सजग रही हैं कि वह अपने किरदारों की ज़रूरत ना हो तो मेकअप नहीं करतीं।
श्रीदेवी ने खुद यह बात स्वीकार की है। वह कहती हैं कि जब मैं कैमरे के सामने होती हूं तो बिल्कुल एक्टर होती हूं और मैं चाहती हूं कि मैं सुंदर ना दिखूं बल्कि जो किरदार हूं, वही नज़र आऊं। ख़ूबसूरत दिखने के लिए मेरी अपनी ज़िंदगी है ना। इसलिए मैंने कभी मेकअप को तवज्जो नहीं दी है। अब अगर 'इंगलिश-विंगलिश' में शशि मेकअप करती तो कैसी लगती। श्रीदेवी कहती हैं कि सिर्फ़ 'मॉम' में ही ऐसा नहीं किया है। मैंने 'सदमा' में भी किरदार के लिए टेढ़ी-मेढी चोटी कर ली थी, क्योंकि मैं मेंटली डिस्टर्ब लड़की के किरदार में थी। हां, श्रीदेवी यह ज़रूर कहती हैं कि हवा-हवाई जैसे गाने या चालबाज़ में अगर मेकअप की ज़रूरत होती है करेक्टर की, तो करना पड़ता था। मेकअप कभी प्राथमिकता रही नहीं है।यह भी पढ़ें: विनोद खन्ना चार्मिंग थे, अक्षय खन्ना... श्रीदेवी ने बताया बाप-बेटे में फ़र्क
श्रीदेवी कहती हैं कि अब तो उन्हें अच्छा लगता है कि ऐसी फ़िल्मों का दौर आ गया है कि आपको बेवजह मेकअप या ओवर मेकअप करने से मना किया जाता है। श्रीदेवी कहती हैं कि उन्हें इस बात का अफ़सोस नहीं है कि उन्होंने ज़िंदगी में स्कूल जाना, स्कूल के दोस्त बनाना या पार्टी करना ये सब मिस किया। वह मानती हैं कि उन्हें जो मुकाम मिला, जिस तरह से मौक़े और दोस्त मिले, वह हर किसी को नसीब कहां होते हैं। इसलिए श्रीदेवी कभी मुड़कर नहीं देखना चाहतीं। श्रीदेवी की 'मॉम' 7 जुलाई को रिलीज़ होगी।