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रद नहीं हो सकते राज्यसभा चुनाव के नतीजे, अब सिर्फ कोर्ट जाने का विकल्प : नांदल

राज्यसभा वोटिंग कांड में चुनाव अधिकारी आरके नांदल की भूमिका पर भी सवाल उठ रहे हैं। आरोप-प्रत्यारोप की राजनीति पर हमारे हरियाणा ब्यूरो प्रमुख अनुराग अग्रवाल ने उसने बात की।

By Test1 Test1Edited By: Updated: Wed, 15 Jun 2016 05:10 PM (IST)
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चंडीगढ़ (अनुराग अग्रवाल)। हरियाणा के राज्यसभा चुनाव में एक साथ 14 वोट र्द होने पर सियासी संग्राम छिड़ा हुआ है। इनेलो रद हुए वोट कांग्रेस विधायकों के बता रहा है तो कांग्रेस विधायकों को शक है कि यह वोट इनेलो और भाजपा विधायकों के हैं। राज्यसभा चुनाव के रिटर्निंग अधिकारी आरके नांदल की भूमिका पर भी सवाल उठ रहे हैं। नांदल हरियाणा विधानसभा के सचिव भी हैं। आरोप-प्रत्यारोप की इस राजनीति में आइए जानते हैं, क्या कहते हैं नांदल।

साक्षात्कार की खास बातें

- मैं पेन बदलने की थ्योरी से बिल्कुल सहमत नहीं

- केंद्रीय चुनाव आयोग के पेन से नहीं डाले गए थे वोट

- विधायकों के घर भिजवा दिए थे चुनाव के दिशा निर्देश

- रद वोट किस विधायक के थे, यह पता लगाना मुमकिन नहीं

- वीडियो में एक भी विधायक का आचरण संदिग्ध नहीं लगा

- गिनती अथवा रिजल्ट के समय किसी ने दर्ज नहीं कराई थी आपत्ति

- रद नहीं हो सकते चुनाव नतीजे, अब सिर्फ कोर्ट जाने का विकल्प

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1. राज्यसभा चुनाव में एक साथ 14 विधायकों के वोट रद हुए। आरोप है कि वोटिंग में इस्तेमाल होने वाला पेन बदला गया था?

नांदल : मैं पेन बदलने की थ्योरी से बिल्कुल भी सहमत नहीं हूं। केंद्रीय चुनाव आयोग द्वारा उपलब्ध कराए गए पेन को हमने मतदान केंद्र के भीतर रस्सी से बांधकर रखा था। पेन की स्याही बैंगनी रंग की थी। केबिन में एआरओ और विधानसभा स्टाफ की ड्यूटी लगाई गई थी।

2. 90 सदस्यीय विधानसभा में 15 प्रतिशत वोट रद होने की वजह क्या रही?

नांदल : केंद्रीय चुनाव आयोग द्वारा उपलब्ध कराए गए पेन से वोटिंग नहीं हुई थी। वोटिंग में गलत पेन का इस्तेमाल हुआ।

3. तो फिर क्या यह मान लिया जाए कि विधायक खुद ही अपने साथ पेन लेकर भीतर गए थे?

नांदल : मैं यह भी नहीं कह सकता, लेकिन ऐसा कोई प्रावधान नहीं है कि किसी विधायक की तलाशी ली जाए। हम सिर्फ उनसे अनुरोध कर सकते हैं कि उन्हें किसी दूसरे पेन का इस्तेमाल नहीं करना। हमने चुनाव से तीन दिन पहले ही सभी विधायकों के पास चुनाव आयोग के दिशा-निर्देश भिजवा दिए थे।

4. अभय चौटाला सीरियल नंबर देकर आरोप लगा रहे कि सभी वोट कांग्रेस विधायकों के रद हुए?

नांदल : राज्यसभा चुनाव की प्रक्रिया बेहद गोपनीय होती है। मुझे भी नहीं पता चल सकता कि किस सीरियल पर किस विधायक का वोट पड़ा और किसका रद हुआ। इनेलो के अपने तर्क होंगे। रद हुए वोट हो सकता है कि इनेलो या भाजपा विधायकों के हों। यह सब कयास है।

5. जिन विधायकों के वोट रद हुए, क्या उन्होंने एक ही पेन का इस्तेमाल किया या पेन अलग-अलग थे?

नांदल : मजबूत तथ्य सिर्फ यह है कि केंद्रीय चुनाव आयोग द्वारा उपलब्ध कराए पेन का इस्तेमाल नहीं हुआ था। हमारी स्याही से इन वोटों की स्याही ने

मेल नहीं खाया।

6. मतदान केंद्र में विधायकों का आचरण जांचने के लिए क्या वीडियो रिकार्डिंग खंगाली गई?

नांदल : चुनाव प्रक्रिया संपन्न होते ही हमने सारी सामग्री, दस्तावेज और रिकार्डिंग राज्य के मुख्य चुनाव अधिकारी के पास भिजवा दी थी। फिर भी अपनी तसल्ली के लिए वीडियो रिकार्डिंग देखी, लेकिन एक भी विधायक का आचरण संदिग्ध नहीं लगा। किसी विधायक ने वोटिंग के दौरान निर्धारित से अधिक समय नहीं लिया।

7. ठीकरा चुनाव आयोग के सिर पर फूट रहा है, मगर आप कह रहे कि कहीं कोई गड़बड़ी नहीं हुई?

नांदल : हमने पूरी पारदर्शिता बरती। चुनाव आयोग हमसे रिकार्ड मांगेगा तो उपलब्ध करा देंगे। हो सकता है कि विधायकों ने खुद ही अपना वोट गलत डाला हो।

8. कांग्रेस और इनेलो नेताओं ने पूरी चुनाव प्रक्रिया को ही गलत ठहरा दिया?

नांदल : नेताओं की बातों और आरोपों का मेरे पास कोई जवाब नहीं है। हमारे पास किसी ने कोई आपत्ति नतीजों को लेकर दर्ज नहीं कराई।

9. ऐसी भी चर्चा है कि एक पेन मतदान केंद्र के भीतर से मिला था?

नांदल : चुनाव प्रक्रिया शुरू होने के बाद चार-पांच वोट पड़ चुके थे। तब कोई एक पेन वहां पड़ा पाया गया था, लेकिन उसे तुरंत हटवा दिया गया था और एआरओ को कुर्सी डालकर बैठने के निर्देश दे दिए गए थे।

10. अब क्या विकल्प बचा है। क्या चुनाव पर रोक लग सकती है अथवा चुनाव रद किया जा सकता है?

नांदल : देखिए, चुनाव नतीजे घोषित हो चुके हैं। ऐसा कोई प्रावधान नहीं कि इन नतीजों पर रोक लगा दी जाए या फिर चुनाव रद कर दिया जाए। अब तो सिर्फ कोर्ट ही एक विकल्प बचा है।

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