बजट से बढ़ेगा महंगाई का बोझ
संवाद सहयोगी, कठुआ : केंद्र सरकार की आम बजट को विभिन्न संगठन जन विरोधी बता रहे हैं। संगठनों का मा
By Edited By: Updated: Sun, 01 Mar 2015 10:46 AM (IST)
संवाद सहयोगी, कठुआ : केंद्र सरकार की आम बजट को विभिन्न संगठन जन विरोधी बता रहे हैं। संगठनों का मानना है कि अप्रत्यक्ष तरीके से इस बजट के जरिये लोगों पर महंगाई का बोझ डाला गया है। नई घोषणाओं के बजाय मौजूदा सरकार ने पूर्व सरकारों की परंपराओं को ही आगे बढ़ाया है। बजट में आम वर्ग को नजरअंदाज किया गया है।
------------- रेल बजट के बाद अब आम बजट में भी आम जनता के हितों के लिए काम करने की दुहाई की हवा निकल गई है। इस बजट में आम जनता के लिए कुछ भी नहीं है। महिलाओं व ग्रामीण क्षेत्र की जनता को नजरअंदाज किया गया है। छोटे कर्मियों को भी टैक्स में राहत नहीं मिली है। जबकि पूर्व कांग्रेस सरकार हर बजट में टैक्स की स्लैब बढ़ाती रही है। ऐसे में इस बजट से आम लोग निराश हैं। सर्विस टैक्स में की गई बढ़ोतरी से महंगाई ही बढ़ेगी। साफ पानी पीने से लेकर खाने-पीने के सामान तक पर टैक्स बढ़ाया गया है। सिर्फ कारपोरेट जगत को सुविधाएं देने के मकसद से ही ऐसा बजट पेश किया गया है। यह बजट आम हित में नहीं है। बजट के तुरंत बाद पेट्रो कीमतों को बढ़ा दिया गया।
-पंकज डोगरा, जिला कार्यकारी प्रधान, कांग्रेस। -------------
बजट में लॉ एंड जस्टिस अफेयर से संबंधित कोई भी कानून को लेकर घोषणा नहीं की गई। मन की बात में बच्चों को सुविधाएं देने के दावे करने वाले प्रधानमंत्री ने राज्य में शैक्षणिक संस्थान तो खोले, लेकिन बच्चों की शिक्षा के लिए बैंक लोन पर स्टांप ड्यूटी बढ़ा दिया है। राज्य के बाढ़ प्रभावितों के लिए कुछ नहीं किया गया। -सुशील गुप्ता, वरिष्ठ एडवोकेट। ------------- यह बजट आम लोगों के लिए नहीं है। इस बजट में मिडिल क्लास की अनदेखी हुई है। अच्छे दिनों की शुरुआत नहीं हो सकी है। उलटा आम लोगों पर महंगाई का बोझ बढ़ा है। भविष्य में बेहतरी के सपने दिखाए गए हैं, लेकिन वर्तमान में लोग कैसे रहेंगे। इस बारे में सरकार ने कोई नीति नहीं बनाई है। -लोकनाथ सांघड़ा, वरिष्ठ एडवोकेट। ------------ कॉरपोरेट जगत को इस बजट में बचा लिया गया, जबकि आम आदमी पर महंगाई का बोझ डाला गया है। वृद्धा पेंशन के लिए पहले इंवेस्ट करने के लिए कहा गया, लेकिन सरकार बताए कि लोग पैसा कहां से लाएं। सुबह की चाय से लेकर रात के सोने तक का खर्च सब कुछ बढ़ा दिया गया। -आईडी खजूरिया, राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य, आम आदमी पार्टी। --------- बजट में अच्छे दिनों की बात नहीं की गई। सर्विस टैक्स बढ़ाकर लोगों की मुसीबतों को बढ़ा दिया गया। कॉरपोरेट जगत का संरक्षण किया गया है। यह बजट पूरी तरह एंटी मिडिल क्लास है। -अजातशत्रु शर्मा, युवा कांग्रेसी नेता। ---------- देश में महिलाओं की सुरक्षा और उन्हें सुविधाएं देने के लिए बजट में कुछ भी नहीं किया गया है। यह बजट महिलाओं के विरुद्ध ही लग रहा है। रसोई से लेकर अन्य सुविधाओं के नाम पर बोझ ही डाला गया है। -संतोष खजूरिया, अध्यक्ष महिला अधिकार संगठन। ---------- कुल मिलाकर मोदी सरकार का पहला बजट आम जनता के हित में है। अभी शुरुआत है। सरकार ने दूरगामी योजनाओं के मद्देनजर बजट तैयार किया है। इसके परिणाम आने वाले दिनों में दिखेंगे। इस बजट से महंगाई पर क्या असर पड़ेगा, यह तो बाद में पता चलेगा। -सर्वेश्वर शर्मा, व्यवसायी। --------- महंगाई को इस बजट से बढ़ावा ही मिलेगा। रसोई को सस्ता करने के लिए इस बजट में कुछ भी नहीं है। महिलाओं के सौंदर्यीकरण संबंधी कॉस्मेटिक सामग्री के सस्ता होने की आस भी गई। भारतीय महिला का श्रृंगार गहना है। खासकर आज के दौर में हर महिला सजना संवरना चाहती है, लेकिन बाजार में श्रृंगार संबंधी सामग्री की आसमान छूती कीमतें दूर होती जा रही हैं। सरकार ने इस बजट में कुछ नहीं किया। सस्ते पेट्रोल की फिर हवा निकलने लगी है। कोई भी सरकार आए, जनता को मूर्ख बनाने वाले ये सभी एक ही थैली के चट्टे-बट्टे हैं। -मधु रानी, गृहिणी। -------- बजट में कर्मियों व पेंशनधारकों के लिए कुछ नहीं किया गया है। वित्त मंत्री ने न जाने क्या सोचकर इस तरह का बजट पेश किया है। निचले स्तर के लोगों को नजरअंदाज ही किया गया है। आम वर्ग को हित में रखकर बजट में कुछ खास नहीं है। यह बजट पूरी तरह जन विरोधी है। -मास्टर देव राज, प्रमुख सीमा जन कल्याण समिति। -------- सरकार ने पंचायतों का इस बजट में कुछ नहीं किया। देश का विकास ग्रामीण इलाकों से ही होना माना जाता है, लेकिन बजट में कुछ खास नहीं हैं। विशेष फंड भी नहीं है। नई योजनाओं को लागू करने के लिए कोई प्रयास नहीं किए गए। सिर्फ कॉरपोरेट घरानों को खुश करने संबंधी बजट पेश किया गया। -विजय शर्मा, सरपंच गोविंदसर। --------- यह बजट किसान विरोधी है। जिस सरकार ने सबका साथ, सबका विकास का नारा दिया था, वह आज विफल हो गया। देश के विकास को लेकर इस बजट में कोई प्रावधान नहीं था। मात्र कॉरपोरेट जगत को खुश करने का ही काम किया गया है। -भारत भूषण, उपाध्यक्ष, बार्डर यूनियन। ---------- देश के विकास को देखते हुए कुछ अहम कदम केंद्र सरकार ने उठाए हैं। निवेश करने के लिए सरकार ने कई तरह की योजनाएं शुरू की हैं, जिसके परिणाम आने वाले दिनों में देखने को मिलेंगे। -अंकुर शर्मा, आरटीआइ कार्यकर्ता। -------- इस बजट से साफ हो गया है कि भाजपा गरीबों की नहीं बल्कि पूंजीपतियों की पार्टी है। भाजपा ने उन्हीं के हितों को देखते हुए बजट पेश किया है। यह पूरी तरह जन विरोधी है। आम लोगों को इस बजट में दबाने का ही काम किया गया है। मोदी सरकार महंगाई पर नसीब और बदनसीब का तर्क देते थे, लेकिन पेट्रो पदार्थो के दाम बजट के बाद ही बढ़ गए। महंगाई कम करने के बजाय और बढ़ेगी। -रविंद्र सलाथिया, नेकां नेता। -------- आम जनता को कोई सुविधा नहीं दी गई है। सर्विस टैक्स से महंगाई में ही इजाफा होगा। अच्छे दिनों की उम्मीद पर इस बजट ने पानी फेर दिया है। इससे पता चलता है कि बजट के बाद अब बुरे दिनों की शुरुआत होने वाली है। -हरपाल सिंह रतन, होटल व्यवसायी। ------- इस बजट के परिणाम आने वाले दिनों में देखने को मिलेंगे। केंद्र सरकार ने यह बजट आम आदमी के हितों को ध्यान में रखकर ही पेश किया है। महंगाई पर रोक लगेगी, जबकि कई योजनाओं का लाभ आने वाले दिनों में मिलेगा। -विनोद गुप्ता, पीडीपी नेता। --------------
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