Brain Seizure First Aid: दिमागी दौरा पड़ने पर कैसे कर सकते हैं व्यक्ति की मदद, एक्सपर्ट ने बताई जरूरी बातें
Brain Seizure First Aid अगर आपके घर में किसी को मिर्गी की समस्या है या फिर बाहर कोई अंजान व्यक्ति को दिमागी दौरा पड़े तो आपको प्राथमिक उपचार के बारे में पता होना जरूरी है जिससे आप समय रहते उसकी मदद कर सकें।
By Priyanka SinghEdited By: Priyanka SinghUpdated: Sun, 29 Jan 2023 12:20 PM (IST)
नई दिल्ली, लाइफस्टाइल डेस्क। Brain Seizure First Aid: मिर्गी तंत्रिका तंत्र से संबंधित एक प्रॉब्लम है जिसमें दिमाग के सेल्स की एक्टिविटी बाधित होती है। जिसकी वजह से मरीज को दौरे पड़ते हैं, वह बेहोश हो सकता है या फिर कुछ समय तक अजीबो-गरीब व्यवहार कर सकता है। आपको बता दें कि मिर्गी कोई छूआछूत की बीमारी नहीं है। ज्यादातर मामलों में मिर्गी की वजह से पड़ने वाले दौरों से दिमाग पर कोई बुरा प्रभाव नहीं पड़ता है, लेकिन कभी-कभार दौरों के कारण मस्तिष्क को क्षति पहुंच सकती है। मिर्गी की प्रॉब्लम किसी भी व्यक्ति को हो सकती है, लेकिन यह छोटे बच्चों और अधेड़ उम्र के लोगों में ज्यादा देखने को मिलता है।
तो अगर आपके घर में मिर्गी का मरीज मौजूद है या फिर आपके सामने कभी ऐसी सिचुएशन आ जाए जहां व्यक्ति को दौरे पड़ रहे हों, ऐसे में आपको प्राथमिक उपचार के साथ कैसे करनी है उसकी मदद, इसके बारे में जानकारी होनी जरूरी है।
दौरा पड़ने पर ऐसे करें व्यक्ति की मदद
- दौरे से पीड़ित व्यक्ति के साथ तब तक रहें जब तक दौरा खत्म न हो जाए और वह पूरी तरह से जाग न जाए। इसके ख़त्म होने के बाद व्यक्ति को सुरक्षित स्थान पर बैठने में मदद करें। एक बार जब वह होश मे आ जाएं और बातचीत करने में सक्षम हो जाएं, तो उन्हें बहुत सरल शब्दों में बताएं कि उन्हें क्या हुआ था।- खुद को और दूसरों को शांत रखें।- पीड़ित व्यक्ति को उसके घर तक पहुंचाने में मदद करें।
- व्यक्ति को नीचे जमीन पर लिटाएं।- व्यक्ति को आराम से एक तरफ करवट करके लिटा दें। इससे सांस लेने में मदद मिलेगी।- व्यक्ति के आस-पास मौजूद कठोर या नुकीली चीज़ों को हटा दें। इससे चोट लगने से बचाया जा सकता है।- उसके सिर के नीचे कोई सॉफ्ट या सपाट चीज़ रखें।- चश्मा पहना है तो चश्मा उतार दें।
- टाई को ढीली करें या गर्दन के आसपास की कोई भी चीज जिससे सांस लेना मुश्किल हो सकता है उसे हटाएं।- व्यक्ति को नीचे से न पकड़ें या उसके शरीर के कंपन को रोकने की कोशिश न करें।- व्यक्ति के मुंह में कुछ भी न डालें क्योंकि इससे दांत या जबड़े में चोट लग सकती है। जिस व्यक्ति को दौरा पड़ा है वह कोईचीज निगल नहीं सकता है। - मुंह से सांस देने की कोशिश न करें (जैसे सीपीआर)। दौरा पड़ने के बाद लोग आमतौर पर अपने आप फिर से सांस
लेना शुरू कर देते हैं।- जब तक व्यक्ति पूरे होशो हवास में न आ जाए तब तक उसे कुछ खिलाएं-पिलाएं नही।(उजाला सिग्नस ब्राइटस्टार हॉस्पिटल, मुरादाबाद के इंटरनल मेडिसिन कंसलटेंट डॉ शाहिद शफी से बातचीत पर आधारित)Pic credit- freepik