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हम सत्ता भोगने नहीं, व्यवस्था को बदलने आए हैं: केजरीवाल

नई दिल्ली [मुकेश केजरीवाल]। दिल्ली की सत्ता को लेकर चल रहे सस्पेंस से पर्दा उठने को है। अब तक दिल्ली में सरकार बनाने से इन्कार करती रही आम आदमी पार्टी [आप] इसके लिए तैयार हो गई है। पार्टी संयोजक अरविंद केजरीवाल ने कहा है कि अब वे राज्य में रायशुमारी करवाएंगे। 23 दिसंबर [सोमवार] तक इसके नतीजों के आधार पर फैसला कर लिया जाएगा। जनता ने सरकार बनाने के लिए कहा तो वे पीछे नहीं हटेंगे।

By Edited By: Updated: Wed, 18 Dec 2013 01:15 AM (IST)
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नई दिल्ली [मुकेश केजरीवाल]। दिल्ली की सत्ता को लेकर चल रहे सस्पेंस से पर्दा उठने को है। अब तक दिल्ली में सरकार बनाने से इन्कार करती रही आम आदमी पार्टी [आप] इसके लिए तैयार हो गई है। पार्टी संयोजक अरविंद केजरीवाल ने कहा है कि अब वे राज्य में रायशुमारी करवाएंगे। 23 दिसंबर [सोमवार] तक इसके नतीजों के आधार पर फैसला कर लिया जाएगा। जनता ने सरकार बनाने के लिए कहा तो वे पीछे नहीं हटेंगे।

सरकार बनाने से इन्कार करती रही आम आदमी पार्टी को कांग्रेस की चिट्ठी के बाद मंगलवार को अपने फैसले पर फिर से विचार करने को मजबूर होना पड़ा। सुबह पार्टी की राजनीतिक मामलों की समिति और विधायक दल की बैठक में तय हुआ कि अब सत्ता से इन्कार करने को अपनी जवाबदेही से बचना माना जाएगा। ऐसे में नई परिस्थिति में जनता की राय जानने की कोशिश की जाए। बैठकों के बाद पार्टी नेता अरविंद केजरीवाल ने साफ कहा, 'रविवार तक राज्य की जनता की राय ली जाएगी। सोमवार तक हम इस राय के आधार पर अपना फैसला लेंगे।' केजरीवाल ने अपने बयान में भी सरकार गठन को ले कर दबाव की बात मानी। उन्होंने कहा, 'भाजपा और कांग्रेस दोनों पार्टियां एक हो गई हैं। प्रचार किया जा रहा है कि आम आदमी पार्टी अपनी जवाबदेही से बच रही है। हम सत्ता भोगने नहीं, व्यवस्था को बदलने आए हैं।'

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चिट्ठी में रखी मजबूरी

केजरीवाल ने राज्य की जनता के नाम अपनी दो पन्नों की चिट्ठी में सरकार बनाने को ले कर ना सिर्फ अपनी पुरानी धारणा दुहराई है बल्कि सरकार बनाने को नई चुनौती के रूप में भी पेश किया है। पत्र में उन्होंने कहा है कि कुछ लोगों का मानना है कि लोकसभा चुनाव की वजह से कांग्रेस छह महीने सरकार नहीं गिराएगी।

बड़े दलों पर चुटकी

केजरीवाल कांग्रेस और भाजपा पर चुटकी लेने से बाज नहीं आए। उन्होंने कहा, 'भाजपा अध्यक्ष राजनाथ सिंह बड़े आदमी हैं। हम तो बहुत छोटे लोग हैं। अगर उन्हें लगता था कि मेरी चिट्ठी का जवाब देना उनके कद के हिसाब से बहुत छोटी बात है तो अपने दफ्तर के किसी सहयोगी को कह देते। जैसा कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने किया। उन्होंने भी मेरी चिट्ठी का जवाब देने की बजाय अपने सहयोगी को यह काम सौंप दिया था।'

कैसे लेंगे जनता की राय

1. चिट्ठी- केजरीवाल की चिट्ठियों की 25 लाख प्रतियां लोगों में बांटी जाएंगी। इसमें मौजूदा हालात का ब्योरा और राय देने की जगह होगी।

2. जनसभाएं- दिल्ली की सभी 70 विधानसभाओं में जनसभाएं आयोजित कर जनता की राय लेंगे।

3. मोबाइल फोन- सरकार बनाने के पक्ष में हां और विपक्ष में ना लिखकर मोबाइल नंबर 08806110335 पर भेज सकते हैं।

4. वेबसाइट- आम आदमी पार्टी की वेबसाइट पर अपने ब्योरे भर कर राय दे सकते हैं।

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