भारत की पाकिस्तान को चेतावनी,कहा कश्मीर घाटी में दखल न दे पाक
आतंकी बुरहान वानी के मारे जाने पर अफसोस जाहिर करने के जवाब में सोमवार शाम भारत ने कड़ी प्रतिक्रिया जाहिर की है।
नई दिल्ली (जेएनएन)। जम्मू-कश्मीर में आतंक के चेहरे बुरहान वानी की मौत से पाकिस्तान की सहानुभूति पर भारत ने सख्त एतराज जताया है। भारत ने कहा है कि आतंकी तत्वों के साथ पाकिस्तान की हमदर्दी से साफ है कि आतंकवाद को प्रश्रय देते रहना पाकिस्तान सरकार की नीति का हिस्सा है।
इस बीच जम्मू-कश्मीर के हालात की समीक्षा के लिए केन्द्र सरकार ने शाम को एक उच्चस्तरीय बैठक बुलाई। इसमें सुरक्षा स्थिति के साथ सीमा पार से हालात का फायदा उठाने की कोशिशों पर लगाम कसने के उपायों पर चर्चा हुई। गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने प्रमुख राजनीतिक दलों के नेताओं को घाटी के मामले पर बात कर उन्हें भरोसे में लेने की कोशिश की।
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वहीं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने केन्या में आतंकवाद के खिलाफ भारत के कठोर रुख को फिर से जाहिर किया। मोदी ने कहा कि विश्र्व को उनलोगों के खिलाफ सख्त रुख अपनाना होगा जो आतंकियों को न केवल संरक्षण और मदद देते हैं बल्कि आतंकवाद को राजनीतिक हथकंडे का हिस्सा बनाए हुए हैं। मंगलवार सुबह स्वदेश लौट रहे पीएम ने कश्मीर की स्थिति पर समीक्षा के लिए विशेष बैठक बुलाई है।
पीएम मोदी के इस बयान को भी साफ तौर पर पाकिस्तान की आतंकवाद को प्रश्रय देने की नीति पर प्रहार माना जा रहा है। नैरोबी में पीएम ने कहा कि हम ऐसे युग में हैं जहां घृणा और हिंसा का उपदेश देने वाले हमारे समाज के ताने बाने को ध्वस्त करना चाहते हैं। केन्या के युवाओं से रुबरू होते हुए पीएम ने कहा कि हमें आतंकवाद की विचाराधारा को प्रोत्साहित करने वालों से न केवल सावधान रहना चाहिए बल्कि इनके पाखंड का पर्दाफाश भी करना चाहिए।
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पाकिस्तान के प्रधानमंत्री नवाज शरीफ के कार्यालय की ओर से आतंकी बुरहान वानी के मारे जाने पर अफसोस जाहिर करने के जवाब में सोमवार शाम भारत ने कड़ी प्रतिक्रिया जाहिर की। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता विकास स्वरुप ने एक बयान जारी कर कहा कि हमने जम्मू-कश्मीर के मामलों में किसी तरह का दखल नहीं देने की साफ चेतावनी दी है। भारत ने साफ कहा कहा कि जम्मू-कश्मीर में जारी उपद्रवी हिंसा में आतंकी तत्वों की हमदर्दी से जुड़े उसके बयानों से साफ है कि पाकिस्तान आतंक को एक औजार के रुप में इस्तेमाल तो कर ही रहा है। आतंकवाद उसकी शासन की नीति के अंग के रुप में भी कायम है।
स्वरुप ने कहा कि जम्मू-कश्मीर के संदर्भ में पाक के बयान को हमने देखा है और स्पष्ट तौर पर उसे कहना चाहते हैं कि वह हमारे मामले में किसी भी तरह का दखल देने से परहेज करे। गौरतलब है कि नवाज शरीफ के कार्यालय से जारी बयान में आतंकी वानी के मारे जाने के बाद घाटी में आतंकी तत्वों पर सुरक्षा बलों की कार्रवाई को दमनकारी बताया गया था। साथ ही अलगाववादियों के समर्थन में सहानुभूति भी जाहिर की गई थी।
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पीएम मोदी घाटी में आतंकी के मारे जाने के बाद पनपी हिंसा का फायदा उठाने की कोशिशों के मद्देनजर खुद हालात की समीक्षा करेंगे। मंगलवार को स्वदेश लौटते ही उन्हें प्रदेश के हालात पर एक रिपोर्ट पेश की जाएगी। सरकार के एक वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार खुफिया और सुरक्षा एजेंसियों के साथ गृह मंत्रालय भी पीएम को अपने आकलन रिपोर्ट से रुबरू कराएगा। उनके साथ विदेश गए राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार पहले ही यात्रा खत्म कर भारत आ गए थे। शाह को हुई बैठक में गृहमंत्री, वित्तमंत्री और रक्षा मंत्री के साथ वह भी उपस्थित थे। संकेत साफ है कि केंद्र सरकार कश्मीर की स्थिति से सख्ती से निपटेगी।