दोषी करार सांसदों, विधायकों की हर माह रिपोर्ट दें राज्य
राजनीतिक दलों के नेता अदालतों से दोषी करार सांसदों व विधायकों को सुप्रीम कोर्ट के फैसले के प्रभाव से बचाने के लिए नया कानून बनाने की तैयारी में हैं, वहीं चुनाव आयोग शीर्ष अदालत के उस फैसले को लागू कराने में जुट गया है।
नई दिल्ली। राजनीतिक दलों के नेता अदालतों से दोषी करार सांसदों व विधायकों को सुप्रीम कोर्ट के फैसले के प्रभाव से बचाने के लिए नया कानून बनाने की तैयारी में हैं, वहीं चुनाव आयोग शीर्ष अदालत के उस फैसले को लागू कराने में जुट गया है। आयोग ने सभी राज्यों व केंद्र शासित प्रदेशों को कहा है कि वे किसी मौजूदा विधायक और सांसद को अदालत से आपराधिक मामले में दोषी करार दिए जाने पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले को लागू करें। साथ ही, यह भी कहा है कि वे सभी स्तरों पर उनके दोषी करार दिए जाने से जुड़े मामलों का पता लगाने के लिए एक खामी रहित तंत्र विकसित करें।
आयोग ने उन मामलों की मासिक रिपोर्ट देने को कहा है, जिनमें वर्तमान सांसद या विधायक को दोषी करार दिया गया है। अच्छा होगा कि हर माह की 15 तारीख तक यह रिपोर्ट आ जाए। सभी राज्यों व केंद्र शासित प्रदेशों के मुख्य सचिवों को भेजे पत्र में आयोग ने शीर्ष अदालत के फैसले का हवाला दिया है, जिसमें कहा गया है कि किसी वर्तमान सांसद या विधायक को अपराधी ठहराए जाने और सजा व दंड का फैसला सुनाए जाने के बाद तत्काल अयोग्य करार देने से अब बचाव नहीं होगा।