ईडी के रडार पर अब माल्या की 500 करोड़ वाली डियाजियो डील
एक अंग्रेजी अखबार के मुताबिक विजय माल्या द्वारा शराब कंपनी डियाजियो की गई डील भी प्रवर्तन निदेशालय की जांच के दायरे में आ गई है।
नई दिल्ली। बैंको के 9000 करोड़ रुपये के लोन के मामले में फंसे बिजनेस टाइकून विजय माल्या की मुश्किलें अब और बढ़ती जा रहीं हैं। इस साल की शुरूआत में यूनाइटेड स्पिरिट्स (यूएसएल) के चेयरमैन के पद से इस्तीफा देने के एवज में डियाजियो के साथ हुई 75 मिलियन डॉलर (लगभग 500 करोड़ रुपए) की डील भी अब प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की जांच के दायरे में आ गई है।
प्रवर्तन निदेशालय पहले से ही आईडीबीआई बैंक के 900 करोड़ रुपए के ऋण के मामले से माल्या पर मनी लांड्रिंग की जांच की जांच कर रहा है। टीओआई की खबर के मुताबिक, ईडी ने ब्रिटिश कंपनी को इस सौदे से संबंधित सभी जानकारियां मुहैया करवाने को कहा है।
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टीओआई के अनुसार ईडी ने डियाजियो को पत्र लिखकर इस सौदे की शर्तों के बारे में विवरण मांगा है जिसके अनुसार माल्या को 500 करोड़ रुपये दिये जाने का निर्णय हुआ था। इस सौदे की शर्तों के अनुसार डियाजियो द्वारा माल्या को 40 मिलियन डॉलर (लगभग 265 करोड़ रुपये) का तुरंत ही भुगतान कर दिया गया था, जबकि शेष राशि का भुगतान पांच वर्षों के भीतर होना था।
इस संबंध में जब डियाजियों ने टीओआई को मेल के द्वारा जवाब भेजते हुए लिखा है, "निश्चित रूप से हम ऐसी किसी भी सरकारी एजेंसी के साथ जांच में सहयोग करेंगे जो हमसे जानकारी के लिए संपर्क करेगी।"
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डियाजियो के साथ इस डील पर इसी वर्ष 25 फरवरी को हस्ताक्षर हुए थे। इसके एक हफ्ते बाद 2 मार्च को माल्या सीबीआई, ईडी जैसे जांच एजेंसियों को बताए बिना लंदन चले गए। सरकारी जांच एजेंसियां माल्या पर ऋण की हेराफेरी के आरोपों की भी जांच कर रहीं हैं।