परीक्षा में छात्रा के नंबर कम, कोचिंग सेंटर पर लगा 3 लाख का जुर्माना
कोचिंग सेंटर की लापरवाही से परीक्षा में कम नंबर आने पर एक छात्रा उपभोक्ता कोर्ट चली गई। मामले में कोर्ट ने सेंटर की लापरवाही साबित होने पर 3 लाख का जुर्माना लगाया।
By anand rajEdited By: Updated: Fri, 27 May 2016 11:56 AM (IST)
मुंबई (मिड-डे)। उपभोक्ता अधिकारों में कितनी ताकत है इसका एक शानदार उदारण मुंबई के अंधेरी में देखने को मिला है। यहां एक छात्रा ने कोचिंग सेंटर की लापरवाही से परीक्षा में कम नंबर आने पर उपभोक्ता कोर्ट का दरवाजा खटखाया। जिसके बाद कोर्ट ने कोचिंग सेंटर पर छात्रा के भविष्य के साथ खेलवाड़ करने और मानसिक रूप से प्रताड़ित करने पर तीन लाख 64 हजार का जुर्माना लगाया ।
दरअसल मामला वर्ष 2013 का है। यहांं अभिव्यक्ति वर्मा नाम की बारहवीं विज्ञान की छात्रा ने गणित और रसायन विषयों के लिए ऑक्सफोर्ड ट्यूटर्स एकैडमी ज्वाइन किया। एकैडमी ने छात्रा को घर पर पढ़ाने के लिए अच्छे और अनुभवी शिक्षक को भेजने का दावा किया। लेकिन एक महीने बीत जाने के बाद भी सेंटर रसायन का शिक्षक देने में नाकामयाब रहा। इसके अलावा गणित विषय के लिए भी हिन्दी मीडियम वाले शिक्षक को भेजा गया। ये शिक्षक अभिव्यक्ति को अंग्रेजी में नहीं पढ़ाता था।
सेंटर की इस लापरवाही पर पेशे से वकील अभिव्यक्ति की मां नीना ने बार-बार रसायन के शिक्षक को भेजने की गुजारिश की। कुछ दिनों बाद सेंटर की ओर से एक शिक्षक भेजा गया जो कि आइसीएसई बोर्ड के आठवीं तक के छात्रों को पढ़ाता था।ये भी पढ़ेंः कपालेश्वर मंदिर जाने के दौरान तृप्ति देसाई पर हमला, अस्पताल में भर्ती
अपनी बेटी के पढ़ाई में पिछड़ने के डर से नवंबर महीने में नीना ने एक बार फिर सेंटर से संपर्क किया। जिसके बाद सेंटर ने अभिव्यक्ति की मदद के लिए एक आइआइटी स्टूडेंट को सवालों के हल के लिए भेजा। लेकिन इस छात्र से भी अभिव्यक्ति को कुछ खास मदद नहीं मिली। अभिव्यक्ति को सीनियर सेकेंड्री की परीक्षा में 83 फीसद नंबर मिले। वो गणित, भौतिकी और रसायन विषयों में कुल मिलाकर 60 फीसद अंक भी नहीं ला पाई थी। जिसकी वजह से हैदराबाद के कॉलेज में दाखिले का सपना देख रही अभिव्यक्ति वहां की मेरिट लिस्ट में जगह नहीं मिली। किसी तरह मैनेमेंट कोटे से उसने वहां अपना दाखिला लिया। ट्यूटर सेंटर की लापरवाही से अपनी पढ़ाई पूरी नहीं कर सकी अभिव्यक्ति ने उपभोक्ता कोर्ट का दरवाजा खटखटाया। तीन साल पुराने इस मामले पर इस महीने की शुरुआत में कोर्ट ने अपना फैसला सुनाया। जज एमवाई मनकर और एसआर सनप ने ऑक्सफोर्ड ट्यूटर एकैडमी को 54,000 रुपये शुल्क वापस करने का फैसला सुनाया। इसके अलावा मानसिक रूप से प्रताड़ित करने के लिए कोर्ट ने 3 लाख रुपये का जुर्माना लगाया। सुनवाई के दौरान छात्रा और उसके परिवार को हुई परेशानी और उनके खर्च के लिए कोर्ट ने दस हजार रुपये और देने का फैसला सुनाया।ये भी पढ़ेंः मुंबई से जुड़ी सभी खबरों को जानने के लिए यहां क्लिक करेंये भी पढ़ेंः देश की सभी खबरों को जानने के लिए यहां क्लिक करें