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हंदवाड़ा मामले की जांच शुरू, दो सप्ताह में आएगी रिपोर्ट

हंदवाड़ा में लड़की से कथित छेड़छाड़ और उसके बाद भड़की ङ्क्षहसा में चार लोगों की मौत की मजिस्ट्रेट जांच शुरू हो गई है।

By Gunateet OjhaEdited By: Updated: Wed, 13 Apr 2016 08:56 PM (IST)
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राज्य ब्यूरो, श्रीनगर। हंदवाड़ा में लड़की से कथित छेड़छाड़ और उसके बाद भड़की ङ्क्षहसा में चार लोगों की मौत की मजिस्ट्रेट जांच शुरू हो गई है। हंदवाड़ा के अतिरिक्त जिला उपायुक्त मुजफ्फर अहमद ने कहा कि इस मामले में तीन एफआइआर दर्ज हुई हैं। हत्या का मामला भी दर्ज किया गया है। मजिस्ट्रेट जांच की जा रही है और दो सप्ताह में हम इसे पूरा कर लेंगे। सभी संबंधित लोग कार्यदिवस के दौरान अपने बयान कलमबद्ध करा सकते हैं।

एएसआइ निलंबित : राज्य सरकार ने बुधवार को पुलिस के एक असिस्टेंट सब इंस्पेक्टर मुहम्मद रफीक अहमद को हंदवाड़ा में समय रहते उचित कार्रवाई करने में नाकाम रहने पर निलंबित कर दिया है। उसके खिलाफ जांच के आदेश भी जारी किए गए हैं। फिलहाल, वह हंदवाड़ा मामले की मजिस्ट्रेट जांच पूरी होने तक निलंबित रहेगा।

रेल सेवा रही बाधित : कश्मीर घाटी में बुधवार को बंद के मद्देनजर प्रशासन ने बनिहाल-श्रीनगर-बारामुला रेलवे परिचालन को एहतियातन स्थगित रखा। संबंधित अधिकारियों ने कहा कि रेल सेवा को सामान्य किए जाने का फैसला वीरवार सुबह हालात को देखते हुए लिया जाएगा।

मांगें पूरी करने को दिया 10 दिन का अल्टीमेटम :
ङ्क्षहसा में चार लोगों की मौत से पैदा तनाव को कम करने के लिए जिला उपायुक्त कुपवाड़ा राजीव रंजन ने हंदवाड़ा का दौरा किया। उन्होंने पीडि़त परिवारों व गणमान्य नागरिकों के साथ बैठक की। बैठक में स्थानीय लोगों ने प्रशासन को 10 दिन का अल्टीमेटम देते हुए हंदवाड़ा कस्बे में स्थित सभी तीन बंकर हटाने, प्रत्येक मृतक के परिवार को 13-13 लाख की अनुग्रह राशि, गंभीर रूप से घायलों को एक लाख और आंशिक रूप से जख्मियों के लिए 50-50 हजार का मुआवजा देने की मांग की। उन्होंने हंदवाड़ा के मुख्य चौराहे से बंकर हटाकर उसके स्थान पर नईम मेमोरियल स्थापित करने, फायरिंग में शामिल सभी सुरक्षाकर्मियों की गिरफ्तारी और 10 दिन में जांच पूरी करने पर जोर दिया। इसके साथ ही कहा कि अगर इस अवधि में मांगें पूरी नहीं हुई तो उसके बाद की हालात की जिम्मेदारी प्रशासन की होगी।

अलगाववादी रहे नजरबंद :
हंदवाड़ा में सुरक्षाबलों की फायरिंग से पैदा हुए हालात के मद्देनजर प्रशासन ने ऑल पार्टी हुर्रियत कांफ्रेंस के कट्टरपंथी गुट के चेयरमैन सैयद अली शाह गिलानी, उदारवादी हुर्रियत प्रमुख मीरवाइज मौलवी फारूक, मुख्तार वाजा, शाहिद-उल-इस्लाम, इंजीनियर हिलाल वार, मौलाना अब्बास अंसारी, प्रो. अब्दुल गनी बट, जफर अकबर फतेह, नईम खान समेत सभी प्रमुख अलगाववादियों को एहतियातन नजर बंद रखा। यह सभी गत मंगलवार को भी नजरबंद थे।

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