लालू ने प्रभु का उड़ाया मजाक, कहा- शेखी न बघारें; काम पर दें ध्यान
लालू प्रसाद यादव ने पीएम को एक पत्र लिखकर सुरेश प्रभु के तौरतरीकों का मजाक उड़ाया है। उन्होंने कहा है कि रेलवे एक जर्सी गाय है जिसको उनकी सरकार ने बीमार कर दिया है। लेकिन अब भी इसको सुधारा जा सकता है। इसके लिए शेखियां बघारने से ज्यादा काम करने
By Kamal VermaEdited By: Updated: Mon, 15 Feb 2016 07:44 PM (IST)
नई दिल्ली (संजय सिंह)। राजद अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव ने प्रधानमंत्री को लिखे पत्र में रेल मंत्रालय चलाने के सुरेश प्रभु के तौरतरीकों का मजाक उड़ाया है। उन्होंने कहा है कि रेल मंत्री प्रभु रेलवे के मुख्य कारोबार यानी ट्रेन संचालन पर ध्यान देने के बजाय समितियां बनाने, ट्विटर पर सक्रिय रहने और टीवी शो तथा सेमिनारों में शेखी बघारने के अलावा कुछ नहीं कर रहे हैं।
प्रधानमंत्री को लिखे पत्र में पूर्व रेल मंत्री लालू ने आगे कहा-आजकल रेलवे पलक झपकते ही बात-बात पर समितियों का गठन कर रही है। इन समितियों के सुझावों से घाटे वाली उत्पादन इकाइयों एवं रेल सेवाओं को बंद करने, रेलकर्मियों की छंटनी करने तथा रेलवे का विभाजन और निजीकरण कर उन्हें देश और विदेश के पूंजीपतियों के हवाले करने की अफवाहों को बल मिल रहा है। इससे रेलकर्मियों में इस बात को लेकर भय व्याप्त है कि कल उनकी नौकरी बचेगी अथवा नहीं। उन्हें वेतन और पेंशन मिलेगा या नहीं।JNU विवाद पर बोले लालू : निर्दोष छात्रों का दमन राष्ट्रवाद नहीं
लालू के अनुसार अभी भी कुछ नहीं बिगड़ा है। रेलवे की वित्तीय स्थिति को फिर से पटरी पर लाया जा सकता है। रेलवे में अभी भी असीम संसाधन एवं संभावनाएं हैं। इनका दोहन कर इसे फिर से सोने की चिडिय़ा बनाया जा सकता है। रेलवे जर्सी गाय की तरह है। आपकी सरकार ने इस दुधारू गोमाता को ना तो ठीक से दुहा है और न ही प्यार-मुहब्बत से उसकी सेवा-सुश्रुषा की है। यही वजह है कि यह दुधारू गाय बीमार हो गई है। यदि आपकी सरकार अपनी गरीब, ग्राहक व कर्मचारी विरोधी नीतियों का परित्याग कर दे तो यह जर्सी गाय फिर से तंदुरुस्त होकर भरपूर दूध देने लगेगी और 2004-09 की भांति इस वित्तीय संकट से बाहर निकल आएगी।
लालू के अनुसार अभी भी कुछ नहीं बिगड़ा है। रेलवे की वित्तीय स्थिति को फिर से पटरी पर लाया जा सकता है। रेलवे में अभी भी असीम संसाधन एवं संभावनाएं हैं। इनका दोहन कर इसे फिर से सोने की चिडिय़ा बनाया जा सकता है। रेलवे जर्सी गाय की तरह है। आपकी सरकार ने इस दुधारू गोमाता को ना तो ठीक से दुहा है और न ही प्यार-मुहब्बत से उसकी सेवा-सुश्रुषा की है। यही वजह है कि यह दुधारू गाय बीमार हो गई है। यदि आपकी सरकार अपनी गरीब, ग्राहक व कर्मचारी विरोधी नीतियों का परित्याग कर दे तो यह जर्सी गाय फिर से तंदुरुस्त होकर भरपूर दूध देने लगेगी और 2004-09 की भांति इस वित्तीय संकट से बाहर निकल आएगी।
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पूर्व रेल मंत्री लालू ने कहा कि ऐसा करने के लिए ख्याली पुलाव पकाने वाली और बात-बात में रेलवे का निजीकरण करने का सुझाव देने वाली दर्जनों समितियों के बजाय रेलवे के कोर आपरेटिंग परफारमेंस पर ध्यान केंद्रित करने की जरूरत है। इस रणनीति के क्रियान्वयन के लिए ट्विटर के बजाय ट्रेनों के संचालन अर्थात कोर परफारमेंस पर ध्यान देने का संकल्प दिखाना होगा। नेतृत्व को आज, अभी और इसी बजट में हरकत में आना होगा। माल यातायात के आवागमन पर हर मिनट खबर रखने वाले कंट्रोल रूम (एफओआइएस) एवं व्यापार बढ़ाकर मुनाफा कमाने और अर्जित राशि का लाभकारी योजनाओं में निवेश करने की रणनीति बनाने के लिए बैठकों में भाग लेना होगा।
पूर्व रेल मंत्री लालू ने कहा कि ऐसा करने के लिए ख्याली पुलाव पकाने वाली और बात-बात में रेलवे का निजीकरण करने का सुझाव देने वाली दर्जनों समितियों के बजाय रेलवे के कोर आपरेटिंग परफारमेंस पर ध्यान केंद्रित करने की जरूरत है। इस रणनीति के क्रियान्वयन के लिए ट्विटर के बजाय ट्रेनों के संचालन अर्थात कोर परफारमेंस पर ध्यान देने का संकल्प दिखाना होगा। नेतृत्व को आज, अभी और इसी बजट में हरकत में आना होगा। माल यातायात के आवागमन पर हर मिनट खबर रखने वाले कंट्रोल रूम (एफओआइएस) एवं व्यापार बढ़ाकर मुनाफा कमाने और अर्जित राशि का लाभकारी योजनाओं में निवेश करने की रणनीति बनाने के लिए बैठकों में भाग लेना होगा।