लश्कर-ए-इस्लाम ने फिर दी दस्तक, कश्मीरी पंडितों को वादी छोडऩे का फरमान
पिछले कुछ समय से शांत रहे आतंकी संगठन लश्कर-ए-इस्लाम ने घाटी में फिर दस्तक देते हुए कश्मीरी पंडितों को घाटी करने का फरमान जारी किया है।
श्रीनगर (जेएनएन)। लगभग 11 महीने शांत रहने के बाद लश्कर-ए-इस्लाम ने एक बार फिर कश्मीर घाटी में दस्तक देते हुए कश्मीरी पंडितों को घाटी खाली करने या फिर मरने के लिए तैयार रहने को कहा है। आतंकी संगठन ने पंडितों के लिए यह धमकी पोस्टरों बांट कर जारी की है। फिलहाल,पुलिस ने इस सिलसिले में मामला दर्ज कर छानबीन शुरु कर दी है।
लश्कर ए इस्लाम के यह पोस्टर दक्षिण कश्मीर के हाल-पुलवामा में उसी इलाके में पाए गए हैं,जहां गत आठ और नौ जुलाई को विस्थापित कश्मीरी पंडित कर्मियों की कालोनी पर आतंकी समर्थक हिंसक भीड़ ने पथराव किया था। हाल में आठ जुलाई की रात को कश्मीरी पंडितों के खाली मकान भी पाकिस्तान समर्थक भीड़ ने जलाए थे और राज्य पुलिस के अतिरिक्त महानिदेशक एसएम सहाय ने भी इस तथ्य की पुष्टि की थी।
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आतंकियों और अलगाववादियों की धमकियों के से डरे विस्थापित कश्मीरी पंडितों ने हाल-पुलवामा से पलायन कर जम्मू में शरण ली और जहां आज भी उनका धरना जारी है। राज्य सरकार द्वारा प्रशासनिक, राजनीतिक और सामाजिक स्तर पर इन लोगों को कश्मीर में लौटने के लिए मनाने के प्रयास जारी हैं।
अलबत्ता, विस्थापित कश्मीरी पंडित कर्मियों को ही नहीं वादी में रह रहे अन्य कश्मीरी पंडितों के लिए भी खतरे का संकेत देते लश्कर-ए-इस्लाम के पोस्टर गत शुक्रवार को पाए गए। यह पोस्टर हाल में विभिन्न इलाकों में दीवारों पर चिपके हुए थे और विस्थापित कश्मीरी पंडित कर्मी कालोनी केआस-पास भी फेंके गए थे। कंप्यूटर पर तैयार किए गए इन पोस्टरों में सबसे ऊपरी बांयी तरफ आतंकी संगठन का झंडा और लोगो बना है । बीच में सबसे ऊपर कलमा औिर उसके नीचे अंग्रेजी में लश्कर-ए-इस्लाम लिखा हुआ है।
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इसके बाद माईग्रेंट कालोनी हाल पुलवामा के अध्यक्ष को संबोधित करते हुए कहा राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के एजेंटों और सभी कश्मीरी पंडितों को कश्मीर छोड़ देना चाहिए या फिर मौत का सामना करने को तैयार रहना चाहिए। कश्मीर में इस्रायल बनाने या कश्मीरी मुस्लिमों का कत्ल करने की चाह रखने वाले कश्मीरी पंडितों के लिए कश्मीर में कोई जगह नहीं है। अपनी सुरक्षा दुगनी या तिगुणी कर लो, टार्गेट किलिंग के लिए तैयार रहो, आप लोग मरोगे।
आल पार्टी माईग्रेंट कोआर्डिनेशन कमेटी के चेयरमैन विनोद पंडित ने कहा कि यह पोस्टर गत रोज ही जारी हुआ है। मेरे पास भी कुछ लोगों ने इसे भेजा है। यह बहुत गंभीर बात है और कश्मीर में फिर से मजबूत होते जिहादी तत्वों की ताकत दिखाता है। यह खुलेआम कश्मीरी पंडितों के नरसंहार की धमकी देने वाला पोस्टर है। एक तरफ सरकार यहां कश्मीरी पंडितोंकेा वापस कश्मीर भेजने पर तुली हुई है और दूसरी तरफ इस तरह के पोस्टर जारी हो रहे हैं।
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कौन है लश्कर-ए-इस्लामी
लश्कर-ए-इस्लामी कटटर इस्लामिक विचारधारा वाला आतंकी संगठन है। यह बरेलवी और शिया समुदाय को भी अपना दुश्मन और उन्हें काफिर करार देता है। यह संगठन 2004 में खैबर पाकिस्तान में सक्रिय था और मार्च 2015 के आस पास यह संगठन तहरीके तालिबान के साथ मिल गया। कश्मीर में इसने अपनी उपस्थिति का अहसास मई माह के अंत में पूरे कश्मीर में मोबाईल नेटवर्क को तहस नहस करते हुए कराया। कश्मीर में इस संगठन की कमान कभी हिजबुल मुजाहिदीन के लिए काम करने के बाद लश्कर का हिस्सा बने क्यूम नजार को सौंपी गई। सितंबर 2015 के बाद इस संगठन की तरफ से कोई बड़ीआतंकी घटना या किसी तरह का कोई पोस्टर या फरमान जारी नहीं किया गया। क्यूम नजार इस समय फरार है।