Move to Jagran APP

भारत से थर्राएंगे पाकिस्तान समेत सभी दुश्मन, हमारे पास होगी S-400

रूस की एस-400 एयर डिफेंस मिसाइल सिस्टम के भारतीय सेना में शामिल होने के बाद भारतीय सेना की ताकत कई गुणा बढ़ जाएगी।

By Kamal VermaEdited By: Updated: Sun, 16 Oct 2016 08:47 AM (IST)

नई दिल्ली (जेएनएन)। भारत और रूस के बीच कल बंद कमरे में अहम रक्षा सौदे पर हस्ताक्षर किए जाएंगे। इसके तहत भारत रूस से लंबी दूरी की अत्याधुनिक मिसाइल एस-400 खरीदेगा। यह सौदा करने वाला भारत दूसरा देश होगा। चीन ने पिछले वर्ष रूस से इस मिसाइल के लिए सौदा किया था। इस मिसाइल के भारतीय सेना में शामिल होने के बाद भारतीय सेना की ताकत कई गुणा बढ़ जाएगी। दोनों देशों के बीच यह सौदा 39 हजार करोड़ रुपए का होगा।

इस मिसाइल के सेना में शामिल होने के बाद दुश्मन भारत की ओर आंख उठाकर नहीं देख सकेगा। अपनी कमान के दिशा-निर्देश के बाद यह मिसाइल दुश्मन पर कहर बरपाने के लिए हर वक्त तैयार रहेगी। यह मिसाइल दुनिया की बेहतरीन मिसाइलों में से एक है। पहले यह केवल रूस की सेना केे ही पास थी, लेकिन अब यह भारत के पास भी होगी। भारत और रूस के बीच होने वाला यह समझौता दोनों देशों के बीच संबंधों की मजबूती को बताने के लिए काफी होगा।

ब्रिक्स से इतर भारत और रूस के बीच इन अहम समझौतों पर लगेगी मुहर!

एस-400 एयर डिफेंस मिसाइल सिस्टम की खासियत

भारत-रूस के बाच एस-400 एयर डिफेंस मिसाइल सिस्टम पर होने वाला समझौता भारत की सुरक्षा प्रणाली को मजबूत करने की दिशा में इसे अहम माना जा रहा है।

- एस-400 एयर डिफेंस मिसाइल सिस्टम एक साथ तीन तरह की मिसाइल दागने में सक्षम है।

पुतिन आज पहुंचेंगे दिल्ली, कल बंद कमरे में होगा S-400 पर करार

- यह मिसाइल सिस्टम एक साथ 36 लक्ष्यों को भेद सकती है।

- यह मिसाइल प्रणाली 400 किमी दूर तक मौजूद दुश्मन के विमान, मिसाइल और यहां तक कि ड्रोन को भी मार गिराने में सक्षम है।

- यह प्रणाली एस 300 मिसाइल का ही उन्नत रूप है।

- ये रूस की नई पीढ़ी का एंटी एयरक्राफ्ट वेपन है जिसे रूसी एल्मेज सेंट्रल डिजाइन ब्यूरो ने विकसित किया है।

- इस मिसाइल सिस्टम को इस तरह से डिजाइन किया गया है कि इसे सभी तरह के एरियल टारगेट के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है।

- यह मिसाइल प्रणाली किसी भी हवाई हमले को 400 किमी की रेंज में और 10,000 फीट की ऊंचाई तक सटीक हमला कर सकती है।

- हवा में (एयरोडाइनिमिक) लक्ष्यों के लिए रेंज- 3 किमी से 240 किमी की दूरी तय है।

- प्रक्षेपित (बैलिस्टिक) लक्ष्यों के लिए रेंज- 5 किमी से 60 किमी की दूरी तय है।

देखें: परमवीर चक्र विजेता, इन 21 शूरवीरों की शौर्य गाथा

- मिसाइल सिस्टम की अधिकतम रफ्तार 4.8 किलोमीटर प्रति सेकंड तक है।

- 10,000 फीट (30 किमी) की ऊंचाई तक निशाना साध सकता है।

- इसकी तैनाती में 5 से 10 मिनट तक का समय लगता है।

- इसकी तय करने दूरी अमेरिका के एमआईएम-104 से दोगुनी है।

- इसका मुख्य काम दुश्मनों के स्टील्थ विमान को हवा में उड़ा देना है।