'मन की बात' में पीएम मोदी ने मांगी स्वतंत्रता दिवस के भाषण पर लोगों की राय
पीएम मोदी ने लोगों से स्वतंत्रता दिवस पर दिए जाने वाले भाषण के लिए उनकी राय मांगी है। उन्होंने पूछा है कि इस मौके पर वह किस मुद्दे को उठाएं और किस पर बात करें।
नई दिल्ली (जेएनएन)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश की जनता से स्वतंत्रता दिवस पर दिए जाने वाले भाषण के लिए उनके विचार मांगे हैं। उन्होंने आज 'मन की बात' के दौरान इस बात का साफतौर इस बात का जिक्र किया। आकाशवाणी पर प्रसारित इस कार्यक्रम में उन्होंने कहा कि वह देश के ऐसे पहले प्रधानमंत्री हैं जिनका जन्म देश की आजादी के बाद हुआ है। उन्होंने कहा कि वह चाहते हैं कि देश की जनता उन्हें इस बारे में अपने विचार दे कि वह लालकिले की प्राचीर से किस मुद्दे पर बात करें।
पीएम मोदी ने कहा कि लोग अपने विचारों को सरकार के मोबाइल एेेप और सरकार की वेब साइट पर जाकर भी दे सकते हैं। उन्होंने कहा कि सरकार के ऐप का इस्तेमाल रियो ओलंपिक में जाने वाले खिलाडि़यों की जानकारी पाने के लिए भी किया जा सकता है। मन की बात के दौरान उन्होंने कहा कि खेल में हार और जीत दोनों ही मायने रखती हैं। उन्होंने देश की जनता सेे अपील भी की कि वह अपने खिलाडि़यों का हौंसला बढ़ाए। उनकी शुभकामनाओं को खिलाड़ियों तक पहुंचाने के लिए वह खुद एक डाकिए की भूमिका निभांएगे।
इस मौके पर उन्होंने गर्भवती महिलाओं के लिए नौ माह तक फ्री चैकअप कराने की नई योजना की भी शुरुआत की। उन्होंने कहा कि सुरक्षित मातृत्व अभियान के तहत किसी भी सरकार अस्पताल में नौ माह तक गर्भवती महिलाओं का फ्री चैकअप किया जाएगा। साथ ही उन्होंने डिलिवरी के दौरान होनेवाली मौतों पर चिंता व्यक्त करतेे हुए इसको एक बड़ी समस्या बताया। उन्होंने कहा कि सरकार इसको कम से कम करने पर काम कर रही है। सुरक्षित मातृत्व अभियान इसी चरण की एक बड़ी शुरुआत है।
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रेडियो पर प्रसारित कार्यक्रम के दौरान उन्होंने कहा कि उनकी इस अपील को डॉक्टरों ने भी मान लिया है। उन्होंने इसके लिए डॉक्टरों को बधाई देते हुए कहा कि लाखों डॉक्टरों ने उनकी इस अपील को मानते हुए योजना में भाग लेने के लिए अपनी हामी भरी है, इसके लिए वह सभी बधाई के पात्र हैं।
इसके साथ ही उन्होंने डॉक्टरों द्वारा मरीजों को अधिक मात्रा में एंटीबायोटिक दवाएंं दिए जाने पर भी चिंता व्यक्त की। उन्होंने इसमें एहतियात बरतने की भी अपील की है। साथ ही उन्होंने मरीजों से अपील की कि वह अधिक एंटीबायोटिक दवाओं का सेवन करने से बचें और इसके लिए पहले डॉक्टरों से सलाह जरूर लें। अपने संबोधन में उन्होंने कहा कि इस तरह का शॉर्टकट खतरनाक हो सकता है।
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मन की बात कार्यक्रम में उन्होंने बाढ़ और इससे हुई जान-माल की हानि पर भी पीएम मोदी ने गहरी चिंता व्यक्त की। उन्होंने इस मौके पर बाढ़ में मारे गए लोगो के प्रति अपनी संवेदना भी जताई। पीएम मोदी ने कहा कि वह इस बार के मानसून से काफी खुश हैंं लेकिन इससे पनपने वाली बीमारियों से भी हमें सावधान रहना होगा। उन्होंने लोगों से बदलते पर्यावरण को ध्यान में रखते हुए अधिक से अधिक संख्या में पेड़ लगाने की भी अपील की।
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