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क्‍या अमेरिका-पाकिस्‍तान के बीच रोड़ा बन रहा है भारत? अपनी राय दें

इन दिनों अमेरिका और पाकिस्‍तान के रिश्‍तों में दूरियां बढ़ी हैं। इसके पीछे हाल ही में घटी कुछ ऐसी घटनाएं हैं जिनके लिए वह लगातार भारत को दोषी ठहरा रहा है।

By Kamal VermaEdited By: Updated: Wed, 18 May 2016 10:52 AM (IST)
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नई दिल्ली, [कमल कान्त वर्मा]। अमेरिका और पाकिस्तान के बीच रिश्ते लगातार असामान्य होते जा रहे हैं। हाल ही में घटी कुछ घटनाओं की वजह से इन्हें बल मिला है। आलम यह है कि जहां पहले पाकिस्तान हर चीज के लिए अमेरिका की तरफ रुख करता था वहांं अब ऐसा कुछ नहीं रहा है। इन दोनों देशों के रिश्तों में आई तल्खी के लिए पाकिस्तान भारत को जिम्मेदार ठहरा रहा है।

हाल की कुछ घटनाओं ने इन दोनों देशों बीच रिश्तों में काफी उलझने पैदा की हैं। इनमें से पहली घटना एफ-16 लड़ाकू विमान की डील का न हो पाना है। दरअसल जिस वक्त अमेरिका द्वारा पाकिस्तान को इस विमान की आपूर्ति करने की बात सामने आई थी तभी से ही भारत इस डील को लेकर कुछ चिंतित था। भारत का मानना है कि पाकिस्तान के लिए उसका सबसे बड़ा शत्रु भारत ही है, यही वजह है कि यदि उसको यह विमान मिल जाएंगे तो समूचे दक्षिण एशिया में अस्थिरता का खतरा बढ़ जाएगा। भारत खुले मंचों पर भी इसके लिए अमेरिका की खुलेतौर पर मुखालफत भी की थी। लेकिन उस वक्त तक इस सौदे को लेकर पाकिस्तान पूरी तरह से आश्वस्त था।

दीजिए अपनी राय

इस पूरे घटनाक्रम के बीच बदलाव तब आया जब अमेरिकी संसद ने अचानक पाकिस्तान को इन विमानों की खरीद के लिए वित्तीय मदद देने से इंकार कर दिया। अमेरिका के रुख में आए इस बदलाव के लिए पाकिस्तान ने भारत को जिम्मेदार ठहराया। उसका आरोप था कि भारत इसके लिए अमेरिका से लॉबिंग कर रहा है। हालांकि अमेरिका ने यह साफ कर दिया था कि यदि पाकिस्तान को एफ-16 लड़ाकू विमान चाहिए तो उसको इस डील का पूरा पैसा अदा करना होगा। यही वजह थी करोड़ों डॉलर की इस डील को पाकिस्तान लाख चाहने के बाद भी अमलीजामा नहीं पहना सका।

इस डील के रद होने के बाद पाकिस्तान के सरताज अजीज ने माना था कि अब पाकिस्तान के अमेरिका से संबंध पहले जैसे नहीं रहे हैं। पाकिस्तान का कहना था कि यदि अमेरिका नहीं मानता है तो पाकिस्तान इन विमानों को कहीं ओर से खरीद लेगा। अमेरिकी संसद यहीं पर नहीं रुकी और उसने पाकिस्तान को दी जा रही हक्कानी नेटवर्क के खिलाफ अपनी लड़ाई जारी रखने के लिए दी जा रही करीब मदद 450 मिलियन डॉलर की मदद को भी रोक दिया। यह दोनों घटनाएं पाकिस्तान के लिए बेहद दुखदाई थीं।

इसके अलावा एक घटना जो रविवार को घटी उससे भी पाकिस्तान और अमेरिका के बीच दूरी की खाई और बढ़ गई। यह घटना भारत द्वारा सुपरसोनिक इंटरसेप्टर मिसाइल परीक्षण की थी। पाकिस्तान ने इसको लेकर आरोप लगाया कि यह भारत ने अमेरिका की मदद से किया है और इससे पूरे क्षेत्र में अस्थिरता का वातावरण व्याप्त होगा। पाकिस्तान का कहना है कि वह अपनी रक्षा के लिए उन्नत तकनीक हासिल करेगा और भारत को टक्कर देगा।

पाकिस्तान का कहना है कि अमेरिका मौजूदा दौर में पाकिस्तान से ज्यादा तवज्जो भारत को दे रहा है। इसके पीछे वह मानता है कि चीन को रोकने केे लिए अमेरिका पाकिस्तान से अधिक भारत को मजबूत मानता है, यही वजह है कि वह लगतार भारत की ओर आगे बढ़ रहा है और पाकिस्तान से दूरी बढ़ा रहा है।