घाटी में फिर हुई हिंसक झड़प के बाद 12 पुलिसकर्मी समेत 24 घायल
सोमवार को घाटी में हिंसक प्रदर्शन और आगजनी के बाद चार महिला और बारह पुलिसकर्मी समेत कुल 24 लोग घायल हो गए।
राज्य ब्यूरो, श्रीनगर : घाटी में सोमवार को भी हिंसक प्रदर्शन, झड़प और आगजनी का दौर जारी रहा। श्रीनगर के फिरदौसाबाद में हिंसक भीड़ ने दो वाहनों को आग के हवाले कर दिया। दिनभर जारी रही झड़पों में चार महिलाओं और 12 पुलिसकर्मियों समेत करीब 24 लोग जख्मी हो गए। इस बीच, हिंसा में घायल शोपियां निवासी आदिल मीर ने सोमवार को अस्पताल में दम तोड़ दिया। इसके साथ ही वादी में 31 दिनों से जारी हिंसा में मरने वालों की संख्या 63 हो गई है।
कश्मीर घाटी में बंद से सामान्य जनजीवन पूरी तरह ठप रहा। दक्षिण कश्मीर के विभिन्न हिस्सों और डाउन-टाउन श्रीनगर में ही कर्फ्यू था, अन्यत्र प्रशासनिक पाबंदियां थीं। दुकानें और व्यापारिक प्रतिष्ठान पूरी तरह बंद रहे, लेकिन सरकारी दफ्तर सिर्फ नाम के लिए खुले थे क्योंकि कर्मचारियों की अनपुस्थिति के चलते कोई काम नहीं हो रहा था।
हुर्रियत कांफ्रेंस ने लोगों से बंद रखते हुए आठ अगस्त को सभी प्रमुख प्रशासनिक कार्यालयों की तरफ आने जाने के रास्ते बंद करने का आह्वान किया था, लेकिन प्रशासन के कड़े प्रबंधों से अलगाववादी इसमें नाकाम रहे। अलबत्ता, हिंसक प्रदर्शन विभिन्न इलाकों में हुए। श्रीनगर के फिरदौसाबाद (बटमालू) और डाउन-टाउन में पुलिस को हिंसक प्रदर्शनकारियों को खदेड़ऩे के लिए बल प्रयोग करना पड़ा।
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फिरदौसाबाद में हिंसक भीड़ ने एक मिनी ट्रक समेत दो वाहनों को जलाया। हालांकि, कुपवाड़ा, बारामुला, बांडीपोर में दिनभर शांति रही, लेकिन शाम को सोपोर और पलहालन में जुलूस निकाल रही हिंसक भीड़ को काबू करने के लिए पुलिस को बल प्रयोग करना पड़ा। जिला बडग़ाम और जिला गांदरबल में स्थिति लगभग शांत रही।
दक्षिण कश्मीर के शोपियां में हालांकि स्थिति पहले शांति थी, लेकिन शेरे कश्मीर आयुर्विज्ञान संस्थान में गत शुक्रवार से उपचाराधीन आमिर बशीर लोन की मृत्यु होने के बाद वहां हालात बिगड़ गए। बड़ी संख्या में युवकों ने आजादी समर्थक नारेबाजी करते हुए जुलूस निकाला और सुरक्षाबलों पर पथराव किया। उन्हें खदेडऩे के लिए सुरक्षाबलों को भी बल प्रयोग करना पड़ा।
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पुलवामा के रठसुना-त्राल में प्रदर्शनकारी हिंसक भीड़ ने आजादी समर्थक नारेबाजी करते हुए पथराव किया। इस पर पुलिस ने भी लाठियां, आंसूगैस और पैलेट गन का सहारा लिया। बिजबिहाड़ा के समथन में भी पुलिस और प्रदर्शनकाािरयों के बीच हिंसक झड़पें हुई, जहां घायलों में चार महिलाएं और 12 पुलिसकर्मी भी शामिल हैं।