घाटी में अखबारों के रोक पर केंद्र गंभीर, महबूबा ने कहा बैन नहीं
जम्मू-कश्मीर की मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने समाचार पत्रों पर किसी भी तरह के बैन से इनकार किया है।
नई दिल्ली(एएनअाई)। सूचना एवं प्रसारण मंत्री वेंकैया नायडू ने न्यूज पेपर पर बैन की खबरों पर जम्मू-कश्मीर की सीएम से बात की। जम्मू-कश्मीर की मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने समाचार पत्रों पर किसी भी तरह के बैन से इनकार किया है।
उधर कश्मीर घाटी में अखबारों पर रोक लगाने को लेकर राज्य सरकार की बहुत किरकिरी हो रही थी लेकिन ये फैसला मुख्यमंत्री का नहीं था। जम्मू कश्मीर की मुख्यमंत्री के सलाहकार अमिताभ मत्तू कहना है कि ये फैसला किसी ने नीचे के स्तर पर लिया था, उस पर कार्रवाई की जाएगी।
पढ़ेंः गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने कहा- नाम तो पाक, लेकिन सारी हरकतें ना'पाक'
दरअसल बड़गाम जिले से घाटी के मुख्य अखबार पब्लिश होते हैं। कर्फ्यू के दौरान वहां के एसपी फयाज अहमद लोन ने कई अखबारों का छपना बंद करवा दिया था। अब फयाज का तबादला कर दिया गया है। मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती को जब पता चला तो उन्होंने नाराजगी जतायी और सख्त करवाई किए जाने के निर्देश दिए। इसी के तहत फयाज का तबादला किया गया है।
उधर मुख्यमंत्री के सलाहकार अमिताभ का कहना है कि कहीं गलत फहमी हो गई लगती है। उन्होंने राइजिंग कश्मीर के सम्पादक सुझात बुखारी को भी कहा कि उन्होंने खुद यानी अमिताभ मत्तू ने जाकर कई सम्पादकों से माफी मांगी है। बुखारी का कहना था की पीडीपी के प्रवक्ता नईम अख्तर ने खुद कई सम्पादकों को अखबार ना छापने की बात कही थी।
पढ़ेंः कश्मीर मुद्दे पर पाकिस्तान के बाद चीन ने तोड़ी संयम की दीवार