जाको राखे साइंया मार सके ना कोईः भूकंप के 13 दिन बाद जिंदा निकला बुजुर्ग
ऊपरवाला भी ना जानें कैसे कैसे कारनामे दिखाता है...कुदरत के कहर ने ना जाने कितनों की जिंदगियां बर्बाद कर दी लेकिन 72 साल के एक बुजुर्ग ने कुदरत के कहर को भी मात दे दी।
एक कहावत तो आपने सुनी होगी जाको राखे साइंया मार सके ना कोई...ये कहावत एक दम सच साबित हुई है। दक्षिण अमेरिका के देश इक्वाडोर में आए विनाशकारी भूकंप के लगभग 13 दिन बाद एक 72 साल का बुजुर्ग जिंदा निकला है। शनिवार को वेनेजुएला ने अपनी आधिकारिक वेबसाइट पर इस बात की जानकारी दी है।
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वेनेजुएला के क्विटो स्थित दूतावास ने अपनी वेबसाइट पर कहा कि इक्वाडोर के दौरे पर आए वेनेजुएला के खोजी दल ने मैनुअल वास्केज का पता लगाया। वह 7.8 तीव्रता के भीषण भूकंप के बाद से मलबे में दबे थे।
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बता दें, इस भूकंप से आए तबाही में 660 लोगों की मौत हो गई थी। दूतावास ने कहा, 'खोजी दल ने पाया कि वास्केज मनाबी प्रांत में शुक्रवार को आंशिक रूप से क्षतिग्रस्त एक इमारत से आवाज दे रहे थे। उस समय यह दल ढांचागत समस्याओं का निरीक्षण कर रहा था। वास्केज को सांस की समस्या हो रही है। फिलहाल उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
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