चीन की दादागिरी, विवादित द्वीप पर बनाए फाइटर जेट के लिए हैंगर
चीन ने दक्षिण चीन सागर के विवादित द्वीपों पर लड़ाकू विमानों के लिए हैंगर का निर्माण किया है। सेंटर फॉर स्ट्रैटजिक एंड इंटरनेशनल स्टडीज ने किया है।
वाशिंगटन (रॉयटर)। दक्षिण चीन सागर सैन्य ठिकाने में तब्दील होता जा रहा है। चीन ने स्प्रैटली द्वीप समूह के फायरी क्रॉस, सुबी और मिसचीफ रीफ पर विमानों के रकने के लिए हैंगर बनाए हैं। ल़़डाकू विमान न केवल यहां उतर सकते हैं बल्कि डेरा भी डाल सकते हैं। सुरक्षा मामलों पर नजर रखने वाले अमेरिकी थिंक टैंक ने यह बात कही है। दक्षिण चीन सागर पर अंतरराष्ट्रीय ट्रिब्यूनल के फैसले के तकरीबन एक महीने बाद यह बात सामने आई है।
द्वीप समूह के जुलाई में लिए गए चित्रों के विश्लेषण से इसका पता चला है। सेंटर फॉर स्ट्रैटजिक एंड इंटरनेशनल स्टडीज (सीएसआईएस) के मुताबिक, यहां पर चीनी वायुसेना के विमान लैंड करने के साथ ही ठहर भी सकते हैं। यह एयरफोर्स स्टेशन के तौर पर काम कर सकेगा। संस्था ने अपनी रिपोर्ट में कहा, 'इस साल की शुरआत में सैन्य मालवाहक विमान फायरी क्रॉस रीफ पर उतरा था। इसके बाद से विवादित द्वीप पर सैन्य विमानों को तैनात करने के कोई सुबूत नहीं मिले हैं। लेकिन, तीनों द्वीपों पर तेज गति से हैंगर के निर्माण को देखते हुए परिस्थितियां जल्द ही बदल सकती हैं।
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मालूम हो कि बीजिंग दक्षिण चीन सागर के अधिकांश हिस्से पर अपना दावा ठोकता है। फिलीपींस, वियतनाम, मलेशिया, ताइवान और ब्रुनेई भी ऐसा ही दावा करते हैं। वहीं, अमेरिका इस पूरे क्षेत्र को स्वतंत्र नौवहन क्षेत्र मानता है।
रक्षा मंत्रालय ने मंगलवार को इन द्वीपों पर अधिकार की बात दोहराई। मालूम हो कि चीन अंतरराष्ट्रीय ट्रिब्यूनल के फैसले को पहले ही खारिज कर चुका है। फिलीपींस को उम्मीद है कि चीन के साथ बातचीत के जरिये यह विवाद सुलझा लिया जाएगा।
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