Move to Jagran APP
5/5शेष फ्री लेख

पाकिस्तान से लेकर पेरिस तक करेंगे आतंकियों का सफाया

अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने पाकिस्तान से लेकर पेरिस की सड़कों तक आतंकवादियों के सफाये के लिए अथक प्रयास का संकल्प जताया है। साथ ही उन्होंने कांग्रेस से इस्लामिक स्टेट (आइएस) आतंकियों के खिलाफ कार्रवाई के लिए और अधिकारों को मंजूरी देने की मांग की है।

By Murari sharanEdited By: Updated: Wed, 21 Jan 2015 05:26 PM (IST)
Hero Image

वाशिंगटन। अमेरिकी राष्ट्रपति बराक ओबामा ने पाकिस्तान से लेकर पेरिस की सड़कों तक आतंकवादियों के सफाये के लिए अथक प्रयास का संकल्प जताया है। साथ ही उन्होंने कांग्रेस से इस्लामिक स्टेट (आइएस) आतंकियों के खिलाफ कार्रवाई के लिए और अधिकारों को मंजूरी देने की मांग की है।

राष्ट्र के नाम अपने सालाना संबोधन में ओबामा ने कहा, 'पाकिस्तान में स्कूल से लेकर पेरिस की सड़कों तक आतंकियों ने जिन लोगों को निशाना बनाया, हम उनके साथ हैं।' इस दौरान करीब 40 सीनेटरों ने पीली पेंसिलें लहराकर हालिया आतंकी हमलों के पीडि़तों के प्रति अपनी एकजुटता को दर्शाया। फ्रांस की पत्रिका शार्ली अब्दो पर आतंकी हमले के बाद यह पेंसिल वैश्विक स्तर पर अभिव्यक्ति की आजादी का प्रतीक बन गई है।

अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा, 'मेरे इस पद पर आने के बाद से हमने उन आतंकियों के खिलाफ निरंतर कार्रवाई की है जो हमारे तथा सहयोगियों के लिए खतरा हैं। इस दौरान अमेरिका ने अफगानिस्तान और इराक में आतंकवाद के खिलाफ अपने युद्ध से सबक भी सीखा है।' ओबामा ने कहा, 'विशाल जमीनी सेना भेजने के बजाय हम दक्षिण एशिया से उत्तरी अफ्रीका तक देशों के साथ सहयोग कर रहे हैं ताकि अमेरिका के लिए खतरा बने आतंकवादियों को सुरक्षित पनाह न मिले।'

उन्होंने सांसदों से कहा, 'आतंकी समूह के खिलाफ बल प्रयोग के लिए अधिकृत करने संबंधी प्रस्ताव को पारित कर दुनिया को यह दिखाएं कि इस मिशन पर हम एकजुट हैं।' हाल ही में सोनी पिक्चर्स पर साइबर हमले का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि अमेरिका साइबर खतरे से निपटने के लिए अपनी खुफिया प्रणाली को उसी तरह एकीकृत करेगा जिस तरह हमने आतंकवाद से निपटने के लिए किया।

मंदी से उबर गया अमेरिका

ओबामा ने अर्थव्यवस्था में छाई मंदी के दुष्चक्र पर जीत हासिल करने की भी घोषणा की। उन्होंने कहा कि देश संकट के साये से निकल चुका है। उन्होंने देश में ऐसी आर्थिक नीतियों को आगे बढ़ाने पर जोर दिया जो मध्यम वर्ग की मदद करें और अमीरों पर लक्ष्य साधें। उन्होंने कहा कि दुनिया की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था महंगे युद्ध के समय को पीछे छोड़ आगे निकल चुकी है। अमेरिकी अर्थव्यवस्था तेजी से आगे बढ़ रही है और वर्ष 1999 के बाद सबसे तेजी से रोजगार के अवसर पैदा कर रही है। बेरोजगारी दर वित्तीय संकट शुरू होने के समय के पहले से भी कम है।