सीरिया में किए गए मिसाइल हमले पर ज्यादातर यूएस सिनेटर्स ने किया ट्रंप का समर्थन
सीरिया में अमेरिका द्वारा दागी गईं क्रूज मिसाइल के बाद कई संसद सदस्यों ने इसका समर्थन किया है। वहीं कुछ का कहना था कि इस पर चर्चा करनी जरूरी है।
दमिश्क (रॉयटर)। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के आदेश के बाद करीब साठ क्रूज मिसाइलें सीरिया पर दाग दी गईं। 'यूएसएस पोर्टर और यूएसएस रोज' से दागी गई इन मिसाइलों के निशाने पर सीरियाई सेना के नियंत्रण वाले एयरबेस और फ्यूल डिपो थे। मंगलवार को यहां के इदलिब पर हुए रासायनिक हमले के बाद अमेरिका द्वारा की गई यह पहली बड़ी कार्रवाई है। इन हमलों की जानकारी देते हुए राष्ट्रपति ट्रंप ने साफ कर दिया कि अब सीरिया में राष्ट्रपति बशर अल असद के खिलाफ ठोस कार्रवाई करना जरूरी था। अमेरिका द्वारा किए गए इन ताजा हमलों को अमेरिकी नेताओं ने जायज ठहराया है।
अमेरिका के हाउस स्पीकर पॉल रियान ने इसको सही बताते हुए कहा है कि वर्षों से गृहयुद्ध की मार झेल रहे सीरिया के शांति पूर्ण हल के लिए जरूरी है कि वहां के राष्ट्रपति अपनी जिम्मेदारी को मानें और बदलाव और शांति के लिए आगे आएं। उनका कहना है कि वह इस दिशा में बातचीत होने की उम्मीद लगाए हुए हैं।
रिपब्लिकन सिनेटर जॉन मैक्केन और लिंडसे ग्राहम का कहना था कि हमें इतिहास से काफी कुछ सीखने की जरूरत है। इन्होंने इन हमलों का समर्थन करते हुए यह भी कहा कि सामरिक सफलता रणनीतिक प्रगति की ओर लेकर जाती है। उनका कहना है कि हाल ही में अमेरिका और उसकी गठबंधन सेना द्वारा किए गए हमलों से सीरिया में वर्षों से छिड़े गृहयुद्ध को खत्म करने में सफलता मिलेगी।
फॉरन अफेयर्स के चेयरमेन के प्रतिनिधि ऐड रॉयस ने इन हमलों पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि राष्ट्रपति बशर अल असद को पहले भी कई बार अमेरिका और संयुक्त राष्ट्र की तरफ से चेतावनी दी गई थी कि वह जानबूझकर मासूम लोगों की नृशंस हत्या करना बंद कर दे, यह बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। लेकिन रासायनिक हमले के बाद असद को रंगे हाथों पकड़ा गया है। इसके लिए इस तरह की ठोस कार्रवाई करना बेहद जरूरी हो गई थी।
सांसद बॉब कॉर्कर का कहना था कि यह कहपाना काफी मुश्किल है कि सीरिया के राष्ट्रपति बशर अल असद इस बात को नहीं जानते हैं कि अपने ही लोगों के खिलाफ किए जा रहे जघन्य अपराधों से वह ज्यादा समय तक बच पाएंगे। उन्होंने भी इन हमलों का समर्थन देते हुए कहा कि इस दिशा में आगे बढ़ने के साथ यह भी जरूरी है कि प्रशासन और कांग्रेस को भरोसे में लिया जाए और उन्हें पूरी गतिविधियों की जानकारी दी जाए। इसके अलावा उनका यह भी कहना है कि अमेरिका द्वारा सीरिया में उठाए जा रहे कदमों की सभी जानकारी अमेरिका के लोगों को भी होनी चाहिए।
सीरिया पर हुए मिसाइल हमलों पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए हाउस इंटेलिजेंस के रैंकिंग मैंबर और प्रतिनिधि एडम स्किफ ने कहा कि वह जल्द ही इस बाबत सदन में एक प्रस्ताव लाएंगे जिसमें इस तरह की कार्रवाई के लिए सदस्यों की सहमति जरूरी होगी। उन्हें यह बताना होगा कि इस तरह की कार्रवाई वह आतंकियों के खिलाफ कर रहे हैं या फिर एक सत्ता पर काबिज शासक के खिलाफ कर रहे हैं।
सिनेटर बेन कार्डिन ने कहा कि वह लंबे समय के लिए इस तरह की कार्रवाई पर जोर नहीं देते हैं। उनका कहना था कि इस बारे में कांग्रेस से विचार विमर्श होना जरूरी है। उन्होंने यह भी कहा कि बतौर देश के राष्ट्रपति ट्रंप की यह जिम्मेदारी है कि वह जनता को सीरिया में जारी अमेरिकी पॉलिसी के बारे में जानकारी दें।
यह भी पढ़ें: सीरिया में क्रूज मिसाइल अटैक के बाद रूस अौर अमेरिका फिर होंगे आमने सामने
डेमोक्रेट नेता चक स्कमर ने इस बाबत कहा कि असद को इस बात की जानकारी होनी चाहिए कि वह जो सब सीरिया में कर रहे हैं उसकी उन्हें कीमत चुकानी पड़ेगी। हालांकि उन्होंने यह भी कहा कि इस तरह की कार्रवाई के लिए अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को पहले सदस्यों के साथ विचार विमर्श करना चाहिए था।
सिनेटर रेंड पॉल ने सीरिया में असद द्वारा उठाए जा रहे कदमों की कड़ी अालोचना की है। लेकिन इसके बाद भी उन्होंने सीरिया में किए गए मिसाइल हमले से पहले इसकी जानकारी कांग्रेस को देने और इजाजत लेने की बात कही है। साथ ही उन्होंने कहा कि इस मुद्दे पर कांग्रेस में व्यापक चर्चा होनी चाहिए। उनका कहना था कि सीरिया में अमेरिका के जंग में उतरने से अब तक कुछ नहीं हुआ है, न ही सीरिया पर इसका कोई असर पड़ा है।
सिनेटर डिक डर्बिन ने इन हमलों पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि इदलिब में हुए रासायनिक हमले के बाद अमेरिका द्वारा वहां उठाया गया यह पहला बड़ा कदम है। अगर आगे भी इस तरह का हमला किया जाता है तो इस पर कांग्रेस विचार जरूर करेगी। उन्होंने यह भी कहा कि इसकी जानकारी लोगों को होनी बेहद जरूरी है।