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सस्ते ऑफर से लेकर दिग्गज कंपनियों के घाटे तक, जानिए क्या कुछ बदला टेलिकॉम सेक्टर में जियो की एंट्री के बाद

इस रिपोर्ट में हम टेलिकॉम इंडस्ट्री से जुड़े तमाम ऐसे तथ्य आपके सामने रख रहे हैं जिनके आधार पर कहा जा सकता है कि जियो की एंट्री ने टेलिकॉम इंडस्ट्री की सूरत बदल दी

By Shilpa SrivastavaEdited By: Updated: Fri, 07 Apr 2017 04:44 PM (IST)
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सस्ते ऑफर से लेकर दिग्गज कंपनियों के घाटे तक, जानिए क्या कुछ बदला टेलिकॉम सेक्टर में जियो की एंट्री के बाद

नई दिल्ली। टेलिकॉम सेक्टर पर जारी हो रहीं तमाम रिपोर्ट्स इस बात की ताकीद करती है कि जियो की एंट्री ने इंडस्ट्री के बाकी प्लेयर्स की हालत पतली कर दी है। इसी क्रम में गुरूवार को ICICI सिक्योरिटीज की ओर से जारी ताजा रिपोर्ट में यह अनुमान लगाया गया है कि जियो की फ्री सर्विस, वित्त वर्ष 2017 की चौथी तिमाही में टेलिकॉम कंपनियों की आय पर 6.5 से 7 फीसद तक की चोट कर सकती है। इससे पहले ग्लोबल इंवेस्टमेंट बैंकिंग फर्म जेफरीज की रिपोर्ट दावा करती है कि टेलिकॉम सेक्टर में रिलायंस जियो की एंट्री के बाद पैदा हुई उठापटक आगे भी जारी रहेगी। वहीं क्रेडिट रेटिंग एजेंसी मूडीज ने अपनी एक स्टेटमेंट बताया कि, "रिलायंस जियो के द्वारा अपनी दूरसंचार सेवाओं के लिए 72 मिलियन पेड कस्टमर्स जोड़ा जाना सकारात्मक है। यह कंपनी के लिए इसलिए अच्छा है क्योंकि यह दूरसंचार बिजनेस में कैश फ्लो में अनिश्चितता को कम करेगा"। 

इस रिपोर्ट में हम टेलिकॉम इंडस्ट्री से जुड़े तमाम ऐसे तथ्य आपके सामने रख रहे हैं जिनके आधार पर कहा जा सकता है कि जियो की एंट्री ने टेलिकॉम इंडस्ट्री की सूरत बदल दी।

1. टेलिकॉम कंपनियों के विज्ञापन खर्च में उछाल: इसे जियो इफेक्ट ही कहा जा सकता है कि वर्ष 2016 में टेलिकॉम कंपनियों के विज्ञापन खर्च में जबरदस्त बढ़ोतरी हुई थी। पिच मैडिसन विज्ञापन रिपोर्ट 2017 के मुताबिक साल 2016 में प्रमुख दूरसंचार कंपनियों ने विज्ञापनों मद में खर्चों को 50 फीसद बढ़ाकर 1,000 करोड़ कर दिया था। वहीं, 2017 के लिए भी कंपनियां विज्ञापन बजट को 15 से 20 फीसद तक बढ़ाए जाने का अनुमान है।

2. वोडाफोन-आइडिया मर्जर: यह रिलायंस जियो की एंट्री का ही नतीजा है कि देश की दो दिग्गज कंपनियां विलय के लिए तैयार हैं। कुछ समय पहले ही ग्लोबल टेलीकॉम कंपनी वोडाफोन ने अपने भारतीय कारोबार को आदित्य बिड़ला समूह की आइडिया सेल्युलर के साथ विलय करने पर बातचीत की पुष्टि की थी। अगर यह सौदा हो जाता है तो विलय के बाद बनी कंपनी मोबाइल दूरसंचार की दुनिया में एयरटेल को पीछे छोड़ते हुए देश की सबसे बड़ी कंपनी होगी। ग्लोबल ब्रोकरेज हाउस सीएलएसए का मानना है कि डील के बाद वित्त वर्ष 2019 तक वोडाफोन का आय में 43 फीसदी, भारती एयरटेल का 33 फीसदी और रिलायंस जियो का 13 फीसदी मार्केट शेयर हो जाएगा। इस विलय के बाद शहरी इलाके मजबूत वोडाफोन और ग्रामीण इलाकों में मजबूत आईडिया मिलकर देश के बड़े कस्टमर बेस पर अपना कब्जा कर लेंगे।

3. फ्री वॉयस कालिंग और सस्ते डाटा: रिलायंस के वेलकम ऑफर और हैप्पी न्यू ऑफर की टक्कर में तमाम टेलिकॉम कंपनियों ने सस्ते टैरिफ लॉन्च किये। इससे पहले कभी भी इतनी तादाद में कंपनियों की ओर से सस्ते इंटरनेट पैक और फ्री रोमिंग जैसे ऑफर नहीं दिये गए।

4. बढ़ा इंटरनेट का इस्तेमाल: बीते साल अक्टूबर में क्रेडिट सुईस की ओर से जारी रिपोर्ट के मुताबिक रिलायंस जियो पर हर दिन 16000 टेराबाइट (TB) डेटा ट्राफिक होता है। जो चीन के 12000 टेराबाइट से ज्यादा है। वहीं वोडाफोन ग्लोबल 6000 टेराबाइट और भारती एयरटेल के नेटवर्क पर हर दिन 2000 टेराबाइट डेटा ट्राफिक होता है। रिपोर्ट में जियो का टेरावाइस उस समय के 1 करोड़ 60 लाख कस्टमर के 1 जीबी हर दिन इस्तेमाल के आधार पर निकाला गया था। अब रिलायंस जियो के 10 करोड़ से ज्यादा कस्टमर हैं।

5. 10 करोड़ जियो यूजर्स: रिलायंस जियो के ग्राहकों की संख्या कुछ ही महीनों में 10 करोड़ को पार कर गई है। कंपनी के चेयरमैन मुकेश अंबानी ने बताया कि लॉन्चिंग के समय कंपनी ने इतनी बेहतर प्रतिक्रिया की उम्मीद नहीं की थी कि जियो के साथ लोग इतनी ज्यादा तादाद में जुड़ेगे। साथ ही मुकेश अंबानी ने यह भी कहा कि जियो की शुरुआत के समय हमने जल्द से जल्द 10 करोड़ ग्राहकों को खुद से जोड़ने का लक्ष्य रखा था। लेकिन हमने भी नहीं सोचा था कि यह तो कुछ ही महीनों में हासिल हो जाएगा। मुकेश अंबानी ने कहा कि आधार कार्ड से कंपनी हर दिन करीब 10 लाख ग्राहकों को कंपनी के साथ जोड़ रही है। इससे पहले शायद ही कभी इतने कम समय में किसी कंपनी ने इतनी बड़ी तादाद में कस्टमर जोड़ने का दावा नहीं किया होगा।

6. टेलिकॉम कंपनियों को बड़ा नुकसान: हाल में इंडिया रेटिंग्स ऐंड रिसर्च की ओर जारी रिपोर्ट के मुताबिक वित्त वर्ष 2018 में रिलायंस जियो की एंट्री के बाद टेलिकॉम इंडस्ट्री का रेवेन्यु 20 फीसद तक घट सकता है। तिमाही नतीजों में भी टेलिकॉम कंपनियों पर इसका साफ असर देखने को मिला। जियो की एंट्री के बाद दिग्गज टेलिकॉम कंपनी आईडिया को तीसरी तिमाही में 385.6 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ। वहीं भारती एयरटेल के मुनाफे में 55 फीसद की गिरावट देखने को मिली।

क्या कहा था एक्सपर्ट ने: रिलायंस जियो के लॉन्च के बाद EY के ग्लोबल टेलिकॉम लीडर प्रशांत सिंघल के मुताबिक जियो की ओर से आक्रामक प्राइसिंग पहले से मौजूद कंपनियों के मुनाफे और उनकी स्थिरता पर असर डालेंगी। वहीं डेलॉयट के पार्टनर हेमंत जोशी ने कहा था कि जियो की एंट्री और इसकी प्राइसिंग टेलिकॉम सेक्टर के प्रतिमानों को ही बदल देगी।

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