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छितौनी-तमकुहीरोड रेल मार्ग से बेतिया की दूरी होगी कम

By Edited By: Updated: Sun, 01 Dec 2013 09:50 PM (IST)
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कुशीनगर : रेल संपर्क से छूटे क्षेत्रों में रेल लाइनों का निर्माण कर उनके समुचित विकास और उन्हे देश भर से जोड़ने की भारतीय रेल की प्राथमिकता के अंर्तगत छितौनी से तमकुहीरोड तक बड़ी रेल लाइन के निर्माण की प्रक्रिया में सर्वेक्षण कार्य अंतिम चरण में है। संभावना है कि शीघ्र ही रेल लाइन का निर्माण कार्य आरंभ हो जाएगा। इस 62.5 किमी लंबे रेल मार्ग के निर्माण से क्षेत्र विकास एवं समृद्धि के नए युग में प्रवेश तो करेगा ही तमकुहीरोड से बेतिया की दूरी आधी हो जाएगी।

बताते चले कि रेलवे बोर्ड द्वारा स्वीकृत छितौनी-तमकुहीरोड रेल मार्ग की यह परियोजना बिहार प्रांत के मधुबनी, धनहा, खैरा टोला होकर गुजरेगी। इस रेल परियोजना के निर्माण हेतु प्रथम सर्वेक्षण कार्य का शिलान्यास तत्कालीन रेल मंत्री लालू प्रसाद यादव द्वारा 20 फरवरी 2007 को छितौनी के हायर सेकेंड्री स्कूल में किया गया था। शुरु में यह परियोजना 58.7 किमी लंबी थी बाद में इसे बढ़ाकर 62.5 किमी कर दिया गया। इस परियोजना में 37.7 लाख घन मीटर मिट्टी के कार्य के साथ-साथ 10 बड़े पुलों एवं 47 छोटे पुलों का निर्माण किया जाएगा तथा ट्रैक लिंकिंग कार्य हेतु 6500 टन रेलों व 1 लाख सिमेंटेड स्लीपरों का प्रयोग किया जाएगा। इस परियोजना में पनियहवा से 3.35 किमी पर छितौनी, 15.5 किमी पर जटहा, 28.7 किमी पर मधुबनी, 35 किमी पर धनहा, 38 किमी पर खैरा टोला व 49.7 किमी पर पिपराही स्टेशन व हाल्ट का निर्माण होगा। 62.5 किमी पर तमकुहीरोड को जंक्शन बनाया जाएगा।

इस रेल लाइन के निर्माण से गंडक नदी के इस पार स्थित बिहार प्रांत के निवासियों के लिए जहां जिला मुख्यालय की दूरी आधी हो जाएगी वही पिपरा-पिपरासी बांध के समानान्तर निर्मित होने वाले इस रेल खंड से नारायणी के बाढ़ समस्या का स्थाई समाधान हो जाएगा। इधर पिपराघाट-पखनहां रेल पुल निर्माण संघर्ष समिति के अध्यक्ष व वर्तमान नगर पंचायत अध्यक्ष सेवरही श्याम सुंदर विश्वकर्मा ने इस परियोजना के धरातल पर उतरने पर प्रसन्नता व्यक्त करते हुए कहा कि 20 वर्ष पूर्व इस रेल खंड के लिए संघर्ष की जली च्योति से अब प्रकाश मिलने की पूरी उम्मीद हो गई है। निश्चित ही इस परियोजना के पूर्ण होने से सेवरही उपनगर का अप्रत्याशित विकास होगा।

बुद्ध नगरी को रेल मार्ग से जोड़ने की मांग

पिपराघाट-पखनहां रेल पुल निर्माण संघर्ष समिति के अध्यक्ष व वर्तमान नगर पंचायत अध्यक्ष सेवरही श्याम सुंदर विश्वकर्मा ने बुद्ध की निर्वाण स्थली कुशीनगर को पिपराघाट-पखनहां और बेतिया के रास्ते देवरिया सदर से लौरिया तक नई रेल लाइन निर्माण की मांग की है। श्री विश्वकर्मा ने बताया कि वर्ष 2002 में मैने तत्कालीन सांसद राम नगीना मिश्र के माध्यम से उक्त 122 किमी लंबे रेल मार्ग के निर्माण हेतु प्रस्ताव रेल मंत्री के समक्ष प्रस्तुत कराया था। वर्ष 2003 में तत्कालीन रेल मंत्री नीतीश कुमार ने परियोजना पर 366 करोड़ रूपये की भारी भरकम लागत व धन की कमी का हवाला देते हुए उक्त रेल मार्ग को बिछवाने में अपनी असमर्थता जताई थी। श्री विश्वकर्मा ने बताया कि अब पुन : इस रेल लाइन निर्माण की मांग जोर पकड़ने लगी है और इसके लिए रणनीति बनाई जा रही है।

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