अब राम मंदिर के लिए सुन्नी धर्मगुरु भी आए आगे
किछौछा के सुन्नी धर्मगुरु सैय्यद मो. इरफान ने कहा कि यदि अयोध्या में राममंदिर बनाने के लिए मुस्लिम समाज एकजुट होता है तो पूरी दुनिया में अमन, शांति और भाईचारे का पैगाम जाएगा।
By Ashish MishraEdited By: Updated: Tue, 29 Aug 2017 08:36 AM (IST)
फैजाबाद (जेएनएन)। शिया वक्फ बोर्ड के चेयरमैन वसीम रिजवी के सुप्रीम कोर्ट में राममंदिर के पक्ष में हलफनामा देने के बाद अब सुन्नी धर्मगुरु भी मंदिर की पैरोकारी में सामने आए हैं। किछौछा के सुन्नी धर्मगुरु सैय्यद मो. इरफान ने कहा कि यदि अयोध्या में राममंदिर बनाने के लिए मुस्लिम समाज एकजुट होता है तो पूरी दुनिया में अमन, शांति और भाईचारे का पैगाम जाएगा। कहा कि एक लाख 24 हजार पैगंबरों का जिक्र आता है। भगवान राम भी इन्हीं में से एक हैं। इसलिए अयोध्या में रामजन्मभूमि पर राम मंदिर का निर्माण होना ही चाहिए। इसके लिए लोगों को राजी भी किया जा रहा है।
'दैनिक जागरण से बातचीत में सुन्नी धर्मगुरु ने कहा कि जैसे मक्का में हजरत मोहम्मद साहब का जन्मस्थान है, वैसे ही अयोध्या में भगवान राम का। इसलिए सुन्नी समुदाय के लोगों को भी न केवल रामजन्मभूमि पर दावा छोड़ देना चाहिए, बल्कि रामजन्मभूमि पर भव्य राम मंदिर बनाने में बढ़ चढ़ कर भागीदारी करनी चाहिए। उन्होंने कहा कि यूं भी विवादित भूमि पर मस्जिद नहीं बन सकती है।अल्लाह को भी विवादित भूमि पर की गई इबादत कबूल नहीं होगी। यदि मस्जिद बनाई जाए तो 'अमन के नाम से, बाबर के नाम से नहीं। बाबर आक्रांता था और वह मुस्लिम समाज का आदर्श नहीं हो सकता। उन्होंने बताया कि राम मंदिर के निर्माण के लिए सुन्नी धर्म गुरुओं के साथ बैठकें की जाएंगी। साथ ही सुन्नी समुदाय के लोगों को भी इसके लिए राजी किया जाएगा।
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