चारधाम यात्रा मार्गों के सुधार को सरकार ने की कसरत तेज
मुख्य सचिव शत्रुघ्न सिंह ने विभागीय अफसरों को चारधाम यात्रा की सड़कों के निर्माण के लिए सभी औपचारिकताएं चार सितंबर तक पूर्ण करने के निर्देश दिए।
देहरादून, [राज्य ब्यूरो]: चारधाम यात्रा मार्गों के सुधारीकरण व चौड़ीकरण योजना को लेकर राज्य सरकार ने कसरत तेज कर दी। मुख्य सचिव शत्रुघ्न सिंह ने विभागीय अफसरों को चारधाम यात्रा की सड़कों के निर्माण के लिए सभी औपचारिकताएं चार सितंबर तक पूर्ण करने के निर्देश दिए।
उन्होंने संबंधित जिलाधिकारियों को निर्देश दिए कि सर्वोच्च प्राथमिकता के इस कार्य में किसी स्तर पर शिथिलता बर्दाश्त नहीं होगी। भूमि अधिग्रहण, फारेस्ट क्लीयरेंस, फारेस्ट राइट एक्ट प्रमाण पत्र सहित सभी औपचारिकताएं हर हाल में चार सितंबर तक पूर्ण कर ली जाएं।
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राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के अधिकारियों के साथ जिलाधिकारियों से वीडियो कांफ्रेंसिंग में मुख्य सचिव ने उक्त निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि सड़क परिवहन व राजमार्ग मंत्रालय द्वारा चारधाम की सड़कों के सुधारीकरण व चौड़ीकरण का कार्य किया जाना है।
889 किलोमीटर लंबे राष्ट्रीय राजमार्ग के निर्माण में 225 किलोमीटर हिस्सा टिहरी जिले में पड़ता है। ऋषिकेश-रुद्रप्रयाग व ऋषिकेश-धरासू बैंड का निर्माण इसके अंतर्गत है। बताया गया कि ऋषिकेश बाईपास में भू-अधिग्रहण का कार्य अंतिम चरण में है।
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यहां मुनिकीरेती से कीर्तिनगर तक फारेस्ट क्लीयरेंस लिया जाना है। साकनीधार में भूस्खलन ट्रीटमेंट के लिए एफआरए प्रमाण पत्र दिया जाना है। देवप्रयाग क्षेत्र में सुरक्षा दीवार का का निर्माण होना है। पौड़ी जिले में 21.62 किलोमीटर, रुद्रप्रयाग जिले में 110.33 किलोमीटर, चमोली जिले में 144 किलोमीटर, उत्तरकाशी जिले में 102.50 किलोमीटर, चंपावत में 86 किलोमीटर, पिथौरागढ़ में 31 किलोमीटर और देहरादून जिले में 1.527 किलोमीटर सड़कों के निर्माण के लिए औपचारिकताएं अंतिम चरण में हैं।
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सड़क परिवहन व राजमार्ग मंत्रालय के ओपी श्रीवास्तव ने बताया कि इन मार्गों पर पडऩे वाले भवनों, पाइप लाइन, पोल आदि शिफ्ट करने के लिए 74 करोड़ रुपये मंजूर हो गए हैं। भू अधिग्रहण में तेजी लाने के लिए संबंधित एजेंसी को मानव संसाधन, गाड़ी व अन्य व्यय वहन किया जा रहा है।
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उन्होंने बताया कि इस वर्ष 5000 करोड़ रुपये चारधाम की सड़कों के लिए प्रदान किए जाएंगे। बैठक में अपर मुख्य सचिव एस रामास्वामी, सचिव लोनिवि डीएस गब्र्याल, सदस्य सचिव प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड विनोद सिंघल, अपर सचिव मीनाक्षी जोशी, परियोजना निदेशक चारधाम यात्रा मार्ग पंकज मौर्य आदि मौजूद थे।
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