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अब भी नहीं रुके इजरायल और फलस्‍तीन तो इसके परिणाम होंगे बेहद विनाशकारी- यूएन प्रमुख

इजरायल और फलस्‍तीन के बीच हो रहे लगातार हमलों पर संयुक्‍त राष्‍ट्र सुरक्षा परिषद में गहरी चिंता व्‍य‍क्‍त की गई है। इसकी आपात बैठक में यूएन प्रमुख ने कहा कि इन हमलों को तत्‍काल प्रभाव से बंद किया जाना चाहिए।

By Kamal VermaEdited By: Updated: Mon, 17 May 2021 11:18 AM (IST)
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संयुक्‍त राष्‍ट्र महासचिव एंटोनियो गुटारेस की अपील बंद हों हमले
न्‍यूयॉर्क (संयुक्‍त राष्‍ट्र)। संयुक्‍त राष्‍ट्र सुरक्षा परिषद ने इजरायल और फलस्‍तीन के बीच बीते आठ दिनों से जारी लड़ाई को तत्‍काल रोकने की अपील की है। इस संबंध में बुलाई गई एक इमरजेंसी बैठक के दौरान संयुक्त राष्ट्र प्रमुख एंतोनियो गुटारेस ने कहा कि मध्य पूर्व में जारी इस हिंसा को तत्‍काल प्रभाव से रोके जाने की जरूरत है। उन्‍होंने इसको दर्दनाक और क्रूर करार दिया है। उन्‍होंने कहा कि इस तरह की कार्रवाई दोनों ही देशों में शांति स्‍थापना की कोशिशों को बेहद दूर कर सकती हैं।

इजरायल और फलस्‍तीन के मसले पर वर्चुअल तौर पर बुलाई गई सुरक्षा परिषद की आपात बैठक में गुटारेस ने कहा कि दोनों तरफ से हो रहे रॉकेट और हवाई हमले निर्दोष लोगों की जान ले रहे हैं। इनको तुरंत बंद करना होगा। इस विशेष बैठक में कई देशों के विदेश मंत्रियों और राजदूतों ने शिरकत की थी। आपको बता दें कि इजरायल गाजा में किए गए हवाई हमलों के बाद जमीनी लड़ाई की शुरुआत करने की तैयारी कर रहा है। पूर्वी यरुशलम में फलस्‍तीन की सीमा से लगते इलाकों में उसने अपने टैंक उतार दिए हैं। इसकी वजह से इन इलाकों से हजारों की संख्‍या में नागरिक सुरक्षित जगहों पर भाग गए हैं।

यूएन महासचिव एंटोनियो गुटारेस ने साफ किया है कि इस तरह की हिंसा के दूरगामी और विनाशकारी परिणाम हो सकते हैं। इसमें दोनों ही देशों के फंसने की पूरी आशंका है। दोनों देशों के बीच छिड़ी इस लड़ाई में किसी का भी भला नहीं होगा, बल्कि इसके परिणाम बेहद विनाशकारी होंगे। यदि ऐसा ही चलता रहा तो दोनों ही तरफ सुरक्षा से लेकर मानवीय संकट तक पनप सकता है। एक बार ऐसा हुआ तो फिर इसको रोकपाना भी मुश्किल हो जाएगा। इससे अतिवाद को और बढ़ावा मिलेगा। ये भविष्‍य में इस क्षेत्र में खतरनाक अस्थिरता तक ला सकता है।

यूएन प्रमुख ने जोर देकर कहा है कि दोनों ही पक्षों को इस तरह की युद्धपूर्ण कार्रवाई छोड़कर बातचीत के जरिए समाधान तलाशने की तरफ कदम बढ़ाना चाहिए। हालांकि, उन्‍होंने ये भी कहा कि मौजूदा समय में ये अधिक चुनौतीपूर्ण दिखाई दे रहा है। यून प्रमुख ने कहा कि संगठन दोनों ही पक्षों में शांति स्थापना के लिए मिलकर काम करता रहेगा, लेकिन इससे पहले ये रक्‍तपात को रोकना होगा। मध्य पूर्व शांति प्रक्रिया के लिये संयुक्त राष्ट्र के विशेष दूत टॉर वैनेसलैंड ने इस दौरान जान-माल की क्षति के आंकड़े भी पेश किए। यूएन के मुताबिक शुरुआती रिपोर्ट में पता चलता है कि इन हमलों में 181 फलस्‍तीनियों और 9 इजरायलियों की मौत हुई है, जबकि गाजा के स्वास्थ्य अधिकारियों का कहना है कि करीब 1200 लोग घायल हुए हैं।

वैनेसलैंड ने बैठक में कहा कि घनी आबादी वाले गाजा इलाके में मानवीय और सुरक्षा स्थिति लगातार खराब होती जा रही है। ये हाल तब है जब इन दोनों देशों समेत पूरा विश्‍व डेढ़ वर्ष से कोरोना महामारी का सामना कर रहा है। इस लड़ाई की वजह से करीब 34 हजार से अधिक लोग विस्थापित हुए हैं। संयुक्त राष्ट्र की पुनर्वास कार्य एजेंसी (UNRWA) द्वारा संचालित करीब तीन दर्जन से अधिक स्‍कूलों को आश्रय स्थलों में तब्‍दील कर दिया गया है। फलस्‍तीन के 40 स्‍कूल, चार अस्‍पताल, कुछ फैक्‍ट्रियां पूरी तरह से ध्‍वस्‍त हो गए हैं। इसके अलावा कई बहुमंजिला इमारतें धराशायी हो गई हैं।