Move to Jagran APP

Car Care Tips: ज्यादा दूर चलने पर आपकी गाड़ी भी हो जाती है गर्म? इन टिप्स से करें ओवरहीटिंग की समस्या दूर

कारों में ओवरहीटिंग (Overheating) की समस्या आपको कई मुसीबत में डाल सकती है। इसलिए इसे बिल्कुल नजरअंदाज न करें। आज हम आपको कारों में होने वाली ओवरहीटिंग की समस्या से बचने के कुछ आसान टिप्स बताने जा रहे हैं। पूरी डिटेल्स नीचे देखें।

By Sonali SinghEdited By: Updated: Sat, 23 Jul 2022 02:22 PM (IST)
Hero Image
Car Overheating से बचने के लिए अपनाएं ये टिप्स
नई दिल्ली, ऑटो डेस्क। Car Care Tips: गाड़ी चलाते समय कई बार ऐसा होता है कि लगातार चलते रहने की वजह से आपकी गाड़ी का इंजन बहुत गर्म हो जाता है। इसे सामान्य तौर पर ओवरहीटिंग की समस्या कहा जाता है। इस स्थिति में आपकी गाड़ी का इंजन इतना गर्म हो जाता है कि इससे धुआं निकलने लगता है। बहुत बार तो आग लगने जैसी समस्या भी सामने आ जाती है। ओवरहीटिंग न केवल आपकी गाड़ी के इंजन को नुकसान पहुंचता है, बल्कि इससे सटे बाकी पार्ट्स भी खराब हो सकते हैं। इसलिए आज हम आपको कुछ आसान से टिप्स बताने जा रहे हैं जिससे आप गाड़ियों में होने वाली ओवरहीटिंग की समस्या से निजात पा सकते हैं।

क्या होती है ओवरहीटिंग?

ओवरहीटिंग की समस्या से निपटने के टिप्स पाने से पहले ये समझना बहुत जरूरी है कि आखिर में यह होती क्या है। लगातार चलते रहने की वजह से या इंजन का कूलिंग सिस्टम सही से काम नहीं करने की वजह से गर्मी इंजन से बाहर नहीं निकल पाती है और इंजन धीरे-धीरे गर्म होने लगता है। एक समय के बाद यह बहुत गर्म हो जाता है और फिर बोनट से धुआं निकलना, केबिन में जलने की बदबू जैसे संकेत दिखाई देने लगते हैं।

टेम्परेचर गेज पर ध्यान दें

हमारी गाड़ी के डैशबोर्ड पर कई ऐसे संकेतक लाइट होते हैं, जिससे कार के इंजन में आई खराबी के बारे में पता चलता है। जरा भी समस्या की स्थिति में ये लाइट्स जल उठते हैं और इसे बिल्कुल नजरअंदाज नहीं करना चाहिए। इंजन ओवरहीटिंग की जानकारी के लिए ये सबसे आसान तरीका है। डैशबोर्ड पर लगा टेम्परेचर गेज इस बात की जानकारी देता है कि इंजन बहुत गर्म है या नहीं। यह एक रेगुलेटर की तरह होता है जो इन्डिकेटर के माध्यम से इंजन के तापमान को दिखाता है। इसे बाद में भी लगाया जा सकता है और यह OBD पोर्ट में सीधे प्लग किया जाता है।

कूलिंग सिस्टम पर रखें नजर

इंजन को ठंड करने में इसके कूलिंग सिस्टम का बहुत बड़ा हाथ होता है। इसलिए ओवरहीटिंग की समस्या से बचने के लिए कार में दिए गए कूलेंट को बीच-बीच में चेक करते रहें। कूलेंट एक तरल पदार्थ होता है जो इंजन के तापमान को कंट्रोल में रखने में मदद करता है। इसे जानने का सबसे आसान तरीका है कि कूलेंट को समय-समय चेक करते रहें। अगर इसका स्तर न्यूनतम निशान से नीचे है, तो आपके इंजन के गर्म होने का खतरा है। साथ ही कम कूलेंट स्तर इसके लीक होने का भी संकेत देते हैं।

ओवरहीटिंग में हीटर करेगा मदद

कार में हीटर का काम सर्दियों के मौसम में उसके तापमान को बढ़ाने के लिए किया जाता है। लेकिन, यह केबिन के तापमान को बढ़ाने के साथ ही इंजन के तापमान कम करने में मदद करता है। इंजन के अधिक गर्म होने पर हीटर चालू कर दें। हीटर इंजन से गर्मी बाहर खींचता है, जिससे इंजन ठंडा हो जाता है और कूलिंग सिस्टम पर कम दबाव पड़ता है।