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क्या भारतीय सड़कों पर चल सकती हैं Left hand drive कारें? जानिए क्या कहते हैं नियम

मोटर वाहन अधिनियम में स्पष्ट रूप से कहा गया है कि देश में कोई भी व्यक्ति बाएं हाथ से चलने वाला वाहन खरीद पंजीकरण या चला नहीं सकता है। दुनिया में ऐसा कोई देश नहीं है जो एक ही समय में एलएचडी और आरएचडी दोनों कारों की अनुमति देता हो। आइए जान लेते हैं कि इसको लेकर देश में क्या नियम हैं।

By Rammohan MishraEdited By: Rammohan MishraUpdated: Fri, 18 Aug 2023 07:00 AM (IST)
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भारत में Left hand drive कारें पूरी तरह से प्रतिबंधित हैं।
नई दिल्ली, ऑटो डेस्क। भारत का ऑटोमोबाइल बाजार काफी बड़ा है। दुनिया भर की कार निर्माता कंपनियां देश में व्यापार कर रही हैं। क्या आपने कभी सोचा है कि हमारे देश में लेफ्ट-हैंड ड्राइव (एलएचडी) कार आयात करने या चलाने की अनुमति है या फिर नहीं। 

यदि कोई उन सड़कों पर एलएचडी वाहन में यात्रा करना चुनता है ,जहां अधिकांश अन्य वाहन दाएं हाथ से चलते हैं, तो यातायात सुरक्षा बंधी संचिंताएं क्या हैं? मोटर वाहन अधिनियम एलएचडी वाहनों की खरीद और उपयोग पर क्या कहता है? अपने इस लेख में इसके बारे में ही जानने वाले हैं।

क्या भारत में बाएं हाथ से चलने वाली कारें वैध हैं?

मोटर वाहन अधिनियम में स्पष्ट रूप से कहा गया है कि देश में कोई भी व्यक्ति बाएं हाथ से चलने वाला वाहन खरीद, पंजीकरण या चला नहीं सकता है। मोटर वाहन अधिनियम 1939 की धारा 180 कहती है, "कोई भी व्यक्ति बाएं हाथ के स्टीयरिंग नियंत्रण वाले किसी भी मोटर वाहन को किसी भी सार्वजनिक स्थान पर नहीं चलाएगा या चलाने की अनुमति नहीं देगा, जब तक कि यह एक यांत्रिक या विद्युत सिग्नलिंग डिवाइस से सुसज्जित न हो निर्धारित प्रकृति और कार्यक्रम में।"

बाएं हाथ से चलने वाली कारों की अनुमति क्यों नहीं है?

दुनिया में ऐसा कोई देश नहीं है, जो एक ही समय में एलएचडी और आरएचडी दोनों कारों की अनुमति देता हो। भारत कोई अपवाद नहीं है। इसके पीछे सड़क सुरक्षा प्रमुख कारण है। ऐसे देश में जहां सभी वाहन दाएं हाथ से चलाए जाते हैं, बाएं हाथ से चलने वाला वाहन न केवल चालक के लिए विजिबिलिटी संबंधी समस्याएं पैदा कर सकता है, बल्कि सार्वजनिक सुरक्षा के लिए भी खतरा पैदा कर सकता है।

कौन चला सकता है बाएं हाथ वाली कार ?

भारत में स्थित कार निर्माता अनुसंधान एवं विकास उद्देश्यों के लिए कुछ एलएचडी यूनिट को आयात करने के लिए सरकार से मंजूरी ले सकते हैं। इसी तरह, यदि विदेशी राजनयिक या गणमान्य व्यक्ति भारत का दौरा कर रहे हैं, तो वे अपनी पसंद के वाहनों में ड्राइव करना चुन सकते हैं।

भारत ने दाएं हाथ से चलने वाली कारों को क्यों चुना?

भारत में हमेशा से दाएं हाथ से वाहन चलाने की आदत रही है। इसका कारण 1947 तक देश पर शासन करने वाले अंग्रेजों का औपनिवेशिक प्रभाव था। यूनाइटेड किंगडम, भारत की तरह, दाएं हाथ से चलने वाली कारों का उपयोग करता है। इसके चलते भारत में भी इनका चलन था और फिर इसे नियम में शामिल कर लिया गया।