ऑटोमोबाइल कंपनियों को SDV और ADAS जैसी तकनीक पर काम करने के लिए नहीं मिल रहे लोग
रिपोर्ट में दिखाया गया कि 94 प्रतिशत लोगों को सॉफ्टवेयर-डिफाइन्ड व्हीकल (एसडीवी) और एडास जैसे विशेष क्षेत्रों में भर्ती करना चुनौतीपूर्ण लगता है। भारत का ऑटोमोटिव उद्योग 2022 में वैश्विक स्तर पर तीसरे स्थान पर है। उम्मीद है कि इंडस्ट्री 2035 तक 1 ट्रिलियन डॉलर के मूल्यांकन तक पहुंच जाएगी। डेटा एनालिटिक्स जैसी उभरती हुई तकनीकों में इंजीनियरों का एक कुशल कार्यबल होना आवश्यक है।
आईएएनएस, नई दिल्ली। शुक्रवार को आई एक रिपोर्ट के अनुसार, लगभग 94 प्रतिशत ऑटोमोटिव कंपनियां आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) और साइबर सुरक्षा में प्रतिभाओं की भर्ती करने के लिए संघर्ष करती हैं। एडटेक प्लेटफॉर्म स्किल-लिंक की रिपोर्ट एक व्यापक सर्वेक्षण पर आधारित है, जिसमें भारत की टॉप ऑटोमोटिव फर्मों के इंजीनियरिंग और मानव संसाधन प्रभागों के 220 से अधिक नेता शामिल थे।
SDV और ADAS क्षेत्रों में भर्ती चुनौतीपूर्ण
रिपोर्ट में दिखाया गया कि 94 प्रतिशत लोगों को सॉफ्टवेयर-डिफाइन्ड व्हीकल (एसडीवी) और एडास जैसे विशेष क्षेत्रों में भर्ती करना चुनौतीपूर्ण लगता है। कंपनियों में प्रतिभा की लगभग 60-65 प्रतिशत आवश्यकताएं 3-7 वर्षों के अनुभव वाले मिड-लेवल पेशेवरों के लिए हैं।
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यह रिपोर्ट उद्योग के पेशेवरों, नीति निर्माताओं, शिक्षकों और निवेशकों के लिए एक मूल्यवान संसाधन है जो उभरते प्रतिभा परिदृश्य को नेविगेट करना चाहते हैं और क्षेत्र के अंदर नवाचार को बढ़ावा देना चाहते हैं। स्किल-लिंक के सह-संस्थापक कृष्ण बंडारू ने कहा-
ऑटोमोटिव तकनीकों जैसे AI, SDV और साइबरसिक्योरिटी आदि में तेजी से प्रगति उद्योग को नया रूप दे रही है और यह महत्वपूर्ण है कि हमारा कार्यबल इन परिवर्तनों के साथ विकसित हो।