PM Modi Car: कितने साल में बदल जाती है प्रधानमंत्री की कार? कौन करता है तय, SPG या खुद पीएम
पीएम की कार को बेहतर तरीके से डिजाइन किया गया है ताकि इस पर कोई भी जैविक हमला बेअसर हो। वहीं उनकी गाड़ियों के टायर भी काफी मजबूत होते हैं। हमले के दौरान क्षतिग्रस्त स्थिति में भी ये गाड़ी कम से कम 100 किलोमीटर तक चलने में सक्षम है।
By Atul YadavEdited By: Atul YadavUpdated: Fri, 26 May 2023 01:44 PM (IST)
नई दिल्ली, ऑटो डेस्क। देश के प्रधानमंत्री को हाई-सिक्योरिटी मिलती है और इस सिक्योरिटी की जिम्मेदारी SPG यानी स्पेशल प्रोटेक्शन ग्रुप के हाथों में होती है। प्रधानमंत्री को आपने कई बार सामने से या फिर टेलीविजन में बुलेट प्रुफ कार से यात्रा करते हुए देखा होगा।
प्रधानमंत्री कौन -सी गाड़ी का इस्तेमाल करते हैं, इसे कौन तय करता है और कितने साल में उनकी गाड़ी को चेंज किया जाता है। इस आर्टिकल में हम इन्हीं बातों पर फोकस कर रहे हैं।
दर्जन भर हाइटेक गाड़ियों का काफिला रहता है साथ
जब भी कहीं प्रधानमंत्री दौरे पर निकलते हैं तो काफिले में उनके साथ एसपीजी के जवान और करीब दर्जन भर गाड़ियां होती हैं। इन गाड़ियों में इमरजेंसी के दौरान हर एक परिस्थिति से निपटने की ताकत होती है। काफिले में बीएमडब्ल्यू 7 सीरीज की सेडान, बीएमडब्ल्यू एक्स3 , रेंज रोवर और एक मर्सिडीज बेंज कार होती है। इसके अलावा काफिले में एक ऐंम्बुलेंस, टाटा सफारी जैमर भी होती है। वैसे तो प्रधानमंत्री की सुरक्षा में कई कारें लगाई गई हैं, लेकिन उन्हें चुनावी रैलियों में या फिर 15 अगस्त को काले रंग की Range Rover या फिर Toyota Land Cruiser में सवारी करते हुए देखा जाता है।
कितने साल में बदल जाती है प्रधानमंत्री की कार?
सरकारी सूत्रों के मुताबिक, पहले प्रधानमंत्री की कार को बदलने के लिए स्पेशल प्रोटेक्शन ग्रुप (एसपीजी) की तरफ से 8 साल का मानदंड था, लेकिन नए ऑडिट के बाद अब 8 साल की समय सीमा को घटा कर 6 साल कर दिया गया है। प्रधानमंत्री की सुरक्षा की जिम्मेदारी SPG की होती है। ऐसे में पीएम मोदी की सुरक्षा और सुविधा को देखते हुए SPG यह तय करती है कि नई कार कब लेनी है। इसी नियम के तहत प्रधानमंत्री के पास एक नई आधुनिक मर्सिडीज की कार है।