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Electric टू-व्हीलर खरीदने से पहले जान लीजिए RTO के नियम, ई-बाइक या स्कूटर की डिलीवरी के लिए करने होंगे ये काम

इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहनों को भी भारतीय सड़कों पर इस्तेमाल करने से पहले उन्हें क्षेत्रीय परिवहन कार्यालय (RTO) द्वारा स्थापित कई दिशानिर्देशों का पालन करना होगा। इलेक्ट्रिक स्कूटर और बाइक पर्यावरण के अनुकूल माने जातें हैं इसलिए इन्हे प्रदूषण नियंत्रण प्रमाणपत्र प्राप्त करने से छूट दी गई है। (फाइल फोटो)।

By Rammohan MishraEdited By: Rammohan MishraUpdated: Mon, 05 Jun 2023 07:00 PM (IST)
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Electric Scooters and Bikes Must Comply with These RTO Rules and Regulations
नई दिल्ली, ऑटो डेस्क। देश में इलेक्ट्रिक स्कूटर और बाइक्स को लेकर लगातार क्रेज बढ़ रहा है। इसका मुख्य कारण बढ़ता प्रदूषण और आसमान छू रहे पेट्रोल के दाम हैं। लोग डेली कम्यूटिंग करने के लिए इलेक्ट्रिक बाइक या स्कूटर का उपयोग करते हैं। अगर आप भी एक नए इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर को खरीदने का प्लान कर रहे हैं, तो हम आपके लिए कुछ जानकारी लेकर आए हैं।

आपको बता दें कि इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहनों को भी भारतीय सड़कों पर इस्तेमाल करने से पहले, उन्हें क्षेत्रीय परिवहन कार्यालय (RTO) द्वारा स्थापित कई दिशानिर्देशों का पालन करना होगा। देश की सरकार ने भारत में इलेक्ट्रिक बाइक और स्कूटर को संचालित करने वाली ईवी नीति को काफी सीधा और उपयोगकर्ता के अनुकूल बनाया है, जो पारंपरिक वाहनों की तुलना में इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देने में सहायक है। आइए इनके बारे में जान लेते हैं।

रजिस्ट्रेशन

किसी भी वाहन को खरीदते वक्त इसका रजिस्ट्रेशन कराना सबसे महत्वपूर्ण है और ये नियम इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर पर भी लागू होता है। इलेक्ट्रिक बाइक और स्कूटर को भारतीय सड़कों पर किसी अन्य प्रकार के वाहन की तरह चलाने से पहले आरटीओ के साथ पंजीकृत होना चाहिए। अपनी इलेक्ट्रिक बाइक या स्कूटर को पंजीकृत करने के लिए आपको वाहन का बिक्री चालान, पते का प्रमाण और पहचान सहित आवश्यक कागज RTO में प्रस्तुत करने होंगे।

वाहन पंजीकृत होने के बाद आपको एक पंजीकरण संख्या दी जाएगी, जिसे आप वाहन की नंबर प्लेट पर प्रदर्शित कर सकते हैं। इलेक्ट्रिक वाहनों को एक विशेष नंबर प्लेट मिलती है जो निजी वाहनों के लिए सफेद अल्फा-न्यूमेरिक वर्णों के साथ हरे रंग की होती है। वहीं, कमर्शियल वाहन में हरे रंग की नंबर प्लेट मिलती है जिसमें पीले अल्फा-न्यूमेरिक अक्षर होते हैं।

व्हीकल स्पेसिफिकेशन और सब्सिडी

आरटीओ नियम और एआरएआई मानक निर्धारित करते हैं कि इलेक्ट्रिक स्कूटर और बाइक को कई व्हीकल स्पेसिफिकेशन का पालन करना चाहिए। इनमें वाहन का वजन, अधिकतम बिजली उत्पादन और बैटरी वोल्टेज जैसी चीजें शामिल हैं। इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देने के लिए सरकार ने सब्सिडी नीति भी बनाई है। ये सब्सिडी सीधे निर्माताओं को दी जाती है जो बदले में खरीदारों को भी मिलती है। कुछ राज्य अतिरिक्त सब्सिडी भी प्रदान करते हैं जो सीधे खरीदारों को दी जाती है। ऐसे में खरीदारी करने से पहले व्हीकल स्पेसिफिकेशन और सब्सिडी का भी खास ख्याल रखने की जरूरत होती है।

इंश्योरेंस

किसी अन्य वाहन की तरह ही इलेक्ट्रिक स्कूटर और बाइक का बीमा आरटीओ नियमों के अनुसार होना आवश्यक है। इससे राइडर को वाहन चलाते समय होने वाली किसी भी क्षति को बीमा पॉलिसी द्वारा संरक्षित किया जा सकता है। भारतीय सड़कों पर अपने इलेक्ट्रिक स्कूटर या बाइक की सवारी करने से पहले, यह सुनिश्चित करना महत्वपूर्ण है कि आपके इलेक्ट्रिक वाहन की बीमा पॉलिसी अप टू डेट है।

रोड टैक्स

आरटीओ नियमों के अनुसार, इलेक्ट्रिक बाइक और स्कूटर भी रोड टैक्स भरना होता है। आपको बता दें कि, रोड टैक्स सड़क प्रणाली का उपयोग करने के बदले में सरकार को लगाया जाने वाला शुल्क होता है। अन्य प्रकार के वाहनों की तुलना में इलेक्ट्रिक बाइक और स्कूटरों पर अपेक्षाकृत कम रोड टैक्स होता है, जो उन्हें राइडर के लिए एक किफायती विकल्प बनाता है।

पीयूसी

इलेक्ट्रिक स्कूटर और बाइक पर्यावरण के अनुकूल माने जातें हैं, इसलिए इन्हे प्रदूषण नियंत्रण प्रमाणपत्र प्राप्त करने से छूट दी गई है। संक्षेप में जानें तो इलेक्ट्रिक बाइक और स्कूटर के लिए नियम और कानून नियमित पेट्रोल-संचालित बाइक या स्कूटर के समान हैं। वहीं, इनके लिए कम रोड टैक्स और कोई पीयूसी प्रमाणपत्र नहीं होने जैसे कुछ अपवाद भी हैं।

लाइसेंस

इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहन चलाने के लिए भी एक वैध लाइसेंस की जरूरत होती है। यदि आपके पास लाइसेंस नहीं है तो आप पर जुर्माना लगाया जा सकता है या जेल भी भेजा जा सकता है। इसलिए, इलेक्ट्रिक स्कूटर या बाइक खरीदने और चलाने से पहले वैध ड्राइविंग लाइसेंस जरूर प्राप्त कर लें।

हेलमेट

आरटीओ के नियमों के मुताबिक इलेक्ट्रिक बाइक या स्कूटर चलाते समय हेलमेट पहनना अनिवार्य है। यह दुर्घटनाओं में बड़ी चोटों की संभावना को कम करता है और राइडर की सुरक्षा सुनिश्चित करता है। यदि आप बिना हेलमेट के सवारी करते हुए पकड़े जाते हैं, तो आप भी नियमित दुपहिया वाहनों की तरह जुर्माने के भागीदार होने वाले हैं।

इन्हे नहीं है किसी की जरूरत

ऐसे मोटर वाले इलेक्ट्रिक वाहन जो 250W से कम बिजली का उत्पादन करते हैं और जिनकी गति 25 किमी प्रति घंटे से अधिक नहीं होती है, उन्हें इलेक्ट्रिक साइकिल कहा जाता है।इनके लिए बीमा, कर, पंजीकरण जैसे आरटीओ नियम नहीं लागू होते हैं। इोसके अलावा सभी इलेक्ट्रिक दोपहिया वाहनों को ऊपर बताए गए नियमों का पालन करना होगा।