Bihar : स्कूल पर दबंग परिवार का कब्जा.. चार कमरों को बना लिया आरामगाह, निरीक्षण के लिए पहुंचे SDM भी चौंके
बेगूसराय के विद्यालय में मंगलवार को भी बीईओ ने निरीक्षण के दौरान एक छात्र को शौचालय में बंद पाया था। किसी ने शौचालय में बाहर से ताला जड़ दिया था। पूछने पर प्रधानाध्यापक ने बताया था कि किसी छात्र ने ऐसा कर दिया होगा। अब एसडीएम के निरीक्षण में असलियत सामने आ गई है। इस विद्यालय का भवन वर्ष 2012 में बनाया गया था।
Begusarai News : संवाद सहयोगी, तेघड़ा (बेगूसराय)। 2011 में जिले के तेघड़ा प्रखंड के प्राथमिक विद्यालय रातगांव करारी के निर्माण के बाद से ही इसके चार कमरों पर दबंग के कब्जे का बड़ा मामला सामने आया है।
इन चारों कमरों को एक दबंग सपरिवार आवास की तरह प्रयोग करता आ रहा है। शेष दो कमरों में किसी तरह पहली से पांचवीं तक की पढ़ाई कराई जा रही है।
गुरुवार को विद्यालय का निरीक्षण करने पहुंचे तेघड़ा एसडीएम राकेश कुमार यहां आवासीय व्यवस्था देख स्तब्ध रह गए। उन्होंने तत्काल चारों कमरों को खाली करवा उसमें ताला लगवाया और चाबियां प्रधानाध्यापिका को सौंपी।
उन्होंने लगातार एक सप्ताह तक प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी को निरीक्षण करने का निर्देश दिया। कहा, यह जानकारी डीएम को दी जाएगी।
बुधवार को इसी विद्यालय में बीईओ को निरीक्षण के क्रम में एक छात्र शौचालय में बंद मिला था, बाहर से ताला जड़ा था। ताला खुलवाकर छात्र को बाहर निकलवाया गया था।
पूछे जाने पर प्रधानाध्यापिका धर्मलता देवी ने किसी दूसरे छात्र की हरकत बताई थी। यह खबर दैनिक जागरण में प्रमुखता से प्रकाशित हुई, तो एसडीएम दूसरे ही दिन निरीक्षण को पहुंचे तो विद्यालय के कमरों पर कब्जे की कलई खुली।
ग्रामीणों के अनुसार किराए पर खुद का वाहन चलाने वाले गांव के ही अशोक सिंह और उनकी पत्नी कामिनी देवी विद्यालय के चार कमरों में 12 वर्षों से काबिज हैं।
बताया कि तत्कालीन मुखिया रामनिवास चौधरी की शह पर दंपती ने विद्यालय में गृहस्थी बसा ली थी। इन दिनों पूर्व मुखिया अपहरण व हत्या मामले में जेल में बंद है।
पांच वर्ष पूर्व कब्जे की शिकायत पर प्रधानाध्यापिका की हुई थी पिटाई
पांच वर्ष पूर्व विद्यालय के कमरों पर कब्जे की शिकायत प्रधानाध्यापिका धर्मलता देवी ने तत्कालीन बीईओ को पत्र के माध्यम से की थी। तब दबंगों ने उनकी पिटाई कर दी थी।
मारपीट मामले में 27 अक्टूबर 2018 को तेघड़ा थाना में नामजद प्राथमिकी अंकित कराई गई। इसके दो वर्ष बाद एक आरोपित कामिनी देवी को पुलिस ने गिरफ्तार कर जेल भेजा, लेकिन जेल से बाहर आने के बाद दोबारा कब्जा जमा लिया।
इसके बाद से प्रधानाध्यापिका व दो शिक्षिकाएं डरी सहमी रह रही हैं। विद्यालय के दो कमरों में वर्ग प्रथम से पंचम तक की पढ़ाई और कार्यालय संचालित करती हैं।