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Ajit Sharma: अजीत शर्मा को कांग्रेस ने झारखंड में दी बड़ी जिम्मेदारी, पार्टी की तरफ से भेजा गया पत्र

फिल्म एक्ट्रेस नेहा शर्मा के पिता और भागलपुर के विधायक अजीत शर्मा को कांग्रेस ने बड़ी जिम्मेदारी दे दी है। उन्हें धनबाद लोकसभा क्षेत्र के सभी विधानसभाओं का पर्यवेक्षक बनाया गया है। अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी की तरफ से इस संबंध में एक पत्र भी जारी किया गया है। झारखंड में इसी साल के अंत तक विधानसभा चुनाव होने हैं। इसको लेकर तैयारी जोरों से चल रही है।

By Jitendra Kumar Edited By: Mukul Kumar Updated: Tue, 10 Sep 2024 11:10 AM (IST)
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धनबाद लोकसभा के पर्यवेक्षक बनाए गए अजीत शर्मा

जागरण संवाददाता, भागलपुर। भागलपुर के विधायक अजीत शर्मा को झारखंड विधानसभा के आगामी चुनाव के लिए धनबाद लोकसभा क्षेत्र के सभी विधानसभा क्षेत्रों का पर्यवेक्षक नियुक्त किया गया है। अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी ने सोमवार को पर्यवेक्षक नियुक्त करने संबंधी पत्र जारी किया।

इस क्षेत्र में अपनी राजनीतिक कौशल के आधार पर कांग्रेस को मजबूत करेंगे। उनके पर्यवेक्षक बनाए जाने पर बिहार प्रदेश कांग्रेस कमेटी के सदस्य डॉ. अभय आनन्द, विपिन बिहारी यादव, नगर कांग्रेस अध्यक्ष सोईन अंसारी, आनंद कुमार झा, कोमल सृष्टि, रविन्द्र नाथ यादव, अभिषेक चौबे आदि ने प्रसन्नता जाहिर की।

विधायक शर्मा की नियुक्ति के लिए कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, राहुल गांधी, संगठन महासचिव केसी वेनुगोपाल एवं प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष डॉ. अखिलेश प्रसाद सिंह के प्रति आभार जताया।

कांग्रेस के संवाद में हाथापाई, मंच छोड़कर निकल गए प्रदेश अध्यक्ष

जमशेदपुर में बिष्टुपुर स्थित माइकल जान आडिटोरियम में सोमवार को कांग्रेस का संवाद आपके साथ कार्यक्रम संवादहीनता का अखाड़ा बन गया। चुनावी रणनीति पर चर्चा के बजाय पार्टी नेताओं के समर्थकों ने आपस में जमकर लात-घूंसे और अपशब्दों की बौछार की।

इस अराजकता के बीच फंसे प्रदेश अध्यक्ष केशव महतो कमलेश मंच छोड़कर निकल गए। कार्यकर्ताओं से रूबरू होने और अपनी बात रखने के उद्देश्य से रखे गए इस कार्यक्रम में कांग्रेसी नेताओं के समर्थकों ने जमकर उत्पात मचाया।

इधर, सत्ता के सिंहासन पर विराजमान होने का सपना देख रही कांग्रेस जमीनी स्तर पर अंदरूनी कलह से जूझती नजर आई।

कार्यक्रम में जैसे ही वर्तमान जिलाध्यक्ष आनंद बिहारी दुबे, पूर्व जिलाध्यक्ष बिजय खां, डॉ. प्रदीप बलमुचु और पूर्व सांसद डॉ. अजय कुमार अपने-अपने समर्थकों के साथ प्रवेश करते दिखाई दिए, वैसे ही सभागार नारेबाजी के कोलाहल से गूंज उठा।

शेर आया..शेर आया, डॉ. अजय जिंदाबाद, अजय सिंह जिंदाबाद के नारों के बीच मंच पर बैठे वक्ताओं के चेहरे पर शिकन स्पष्ट दिखाई दे रही थी। हर नेता का समर्थक अपने नेता के पक्ष में नारे लगा रहा था। हालात उस वक़्त बेकाबू हो गए जब डा. अजय कुमार और अजय सिंह के समर्थक आमने-सामने आ गए।

दोनों गुटों में धक्का-मुक्की शुरू हो गई

देखते ही देखते दोनों गुटों में धक्का-मुक्की शुरू हो गई और गाली-गलौज का दौर भी चला। आरोप है कि डा. अजय कुमार द्वारा अत्यधिक समर्थकों को बुलाए जाने से जगह को लेकर भी विवाद हुआ, जिसके चलते यह पूरी घटना हुई। देखते ही देखते धक्का-मुक्की तक सीमित मामला गाली-गलौज तक जा पहुंचा।

माइक छीनने की होड़ में कुछ कार्यकर्ता मंच पर तक चढ़ गए। कुछ देर के लिए मंच पर मौजूद प्रदेश अध्यक्ष केशव महतो कमलेश को घेर लिया गया और कार्यकर्ताओं ने अपनी-अपनी शिकायतों का पिटारा खोल दिया।

इस बवाल को देखते हुए अन्य नेता और गणमान्य व्यक्ति मूकदर्शक बने रहे। सुरक्षाकर्मियों के तमाम प्रयासों के बावजूद स्थिति नियंत्रण में नहीं आ रही थी। आखिरकार, अराजकता का यह आलम देख प्रदेश अध्यक्ष मंच से उतरकर सभागार से बाहर निकल गए और और बाहर कुर्सी पर आसीन हो गए। 

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