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    JDU सांसद को बार-बार धकियाते दिखे CM नीतीश के गार्ड, मंच पर चढ़ने से रोका, नाम बताने पर भी नहीं की 'मुरव्व्त'

    By Sanjay Singh Edited By: Alok Shahi
    Updated: Tue, 04 Nov 2025 07:26 AM (IST)

    Bihar Politics: रिश्तेदार को टिकट नहीं मिलने पर इस्तीफे का ढोंग रचने वाले भागलपुर से जदयू के सांसद अजय मंडल को आज मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की ओर से कड़ा संदेश दे दिया गया। भागलपुर में तीन चुनावी जनसभाओं को संबोधित करने पहुंचे सीएम की पहली सभा गोपालपुर में हुई। जहां सांसद नदारद रहे, जबिक गोराडीह में दो-दो बार सांसद को सीएम नीतीश से मिलने से रोक दिया गया।

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    Bihar Politics: रिश्तेदार को टिकट नहीं मिलने पर इस्तीफे का ढोंग रचने वाले भागलपुर से जदयू के सांसद अजय मंडल को आज फजीहत झेलनी पड़ी।

    जागरण संवाददाता, भागलपुर। Bihar Politics सोमवार को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की जनसभाओं में जदयू सांसद अजय कुमार मंडल अपनी मौजूदगी से नहीं, बल्कि उन्हें मिले व्यवहार से चर्चा के केंद्र में रहे। गोपालपुर की सभा से उनकी गैर मौजूदगी और गोराडीह में दो-दो बार सुरक्षा कर्मियों द्वारा रोके जाने की घटना ने राजनीतिक गलियारों में तरह-तरह के संकेत छोड़ दिए।

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    घटना गोराडीह के मुक्तापुर उच्च विद्यालय प्रांगण की है। मुख्यमंत्री के आगमन के वक्त सांसद अजय मंडल फूल लेकर हेलीपैड की ओर स्वागत के लिए बढ़ रहे थे, तभी सुरक्षा कर्मियों ने उन्हें रोक दिया। गार्ड ने औपचारिकता का हवाला देते हुए कहा, रुकिए, अनुमति नहीं है। इस पर साथ मौजूद स्थानीय नेताओं ने तुरंत कहा, ये हमारे सांसद अजय मंडल हैं, जदयू के सांसद हैं। बावजूद सुरक्षाकर्मी ने उन्हें आगे नहीं बढ़ने दिया।

    लेकिन मामला यहीं नहीं थमा। कुछ देर बाद जब सभा शुरू होने वाली थी और सांसद मंच पर चढ़ने लगे, तब एक बार फिर गार्ड ने पहचान न पाने के कारण उन्हें रोक लिया। सांसद ने मुस्कराते हुए कहा, अरे भाई, मैं अपना ही आदमी हूं। बाद में नेताओं ने फिर से परिचय कराया और मामला सुलझ गया।

    मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अपने संबोधन के दौरान मंच पर मौजूद सांसद अजय मंडल का नाम लेकर स्वागत किया, जिससे स्थिति सामान्य हुई। जदयू प्रखंड अध्यक्ष किशोर कुमार ने कहा गार्ड शायद पहचान नहीं पाए होंगे, जानबूझकर कुछ नहीं था। परिचय के बाद सब ठीक हो गया।

    हालांकि सभा स्थल पर यह घटनाक्रम देर तक चर्चा में बना रहा। कार्यकर्ता आपस में कहते सुने गए गोपालपुर में मंच से गायब, गोराडीह में दो-दो बार रोके गए…। राजनीति में संकेत ऐसे ही मिलते हैं। पूरी सभा में भाषणों से ज्यादा गूंज इस वाकये की रही।