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Bihar Crime: घर में अकेली मासूम किशोरी के साथ की थी दरिंदगी, अब जेल की सलाखों के पीछे गुजरेगी जिंदगी

नाबालिग से दुष्कर्म के एक मामले में मंगलवार को कोर्ट ने आरोपी चतुरी राजभर को दोषी करार देते हुए आइपीसी की धारा 376 और चार पाक्सो के तहत 20-20 साल सश्रम कारावास के साथ ही दोनों धाराओं के तहत 50-50 हजार रुपये जुर्माना की सजा सुनाई है। इसके अलावा आइपीसी की धारा 366ए के तहत पांच साल की सजा के साथ पांच हजार रुपये जुर्माना की सजा दी गई है।

By Ashok Kumar SinghEdited By: Mohit TripathiUpdated: Tue, 19 Sep 2023 05:33 PM (IST)
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जुर्माना नहीं देने पर सात माह अतिरिक्त कारावास की भुगतनी होगी सजा।

जागरण संवाददाता, बक्सर : नाबालिग से दुष्कर्म के एक मामले में मंगलवार को पाक्सो विशेष कोर्ट द्वारा दोषी को 20 साल सश्रम कारावास के साथ एक लाख पांच हजार रुपये जुर्माना की सजा सुनाई गई है। जुर्माना की राशि जमा नहीं करने पर उसे सात माह अतिरिक्त कारावास की सजा भुगतनी होगी।

पाक्सो कोर्ट के विशेष लोक अभियोजक सुरेश कुमार सिंह ने बताया कि घटना 20 दिसंबर 2020 को इटाढ़ी थाना के एक गांव की है। तब पीड़िता अपने कमरे में अकेली सोई थी। उसके पिता घर के बाहर दरवाजे पर सोए थे।

ऐसे दिया दरिंदगी की घटना को अंजाम

रात के नौ बजे के करीब गांव के ही दो युवक आए और दरवाजा खटखटाने लगे। पीड़िता के उठकर दरवाजा खोलने पर दोनों ने चतुरी राजभर द्वारा बुलाए जाने का संदेश दिया। पीड़िता घर से निकलकर चतुरी राजभर से मिलने उसके पास गई। उसने पीड़िता को गांव से बाहर ले जाकर दुष्कर्म की घटना को अंजाम दिया।

इस मामले में पीड़िता के बयान पर महिला थाना कांड संख्या 119/20 के तहत पीड़िता की शिकायत को दर्ज करते हुए आराेपी को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। मामले की सुनवाई एडीजे छह सह पाक्सो कोर्ट के विशेष न्यायाधीश मनकामेश्वर प्रसाद चौबे की अदालत में किया गया।

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20 साल की सश्रम जेल के साथ एक लाख का जुर्माना

गवाहों के बयान को सुनने के बाद कोर्ट ने आरोपी चतुरी राजभर को दोषी करार देते हुए आइपीसी की धारा 376 और चार पाक्सो के तहत 20-20 साल सश्रम कारावास के साथ ही दोनों धाराओं के तहत 50-50 हजार रुपये जुर्माना की सजा सुनाई है।

इसके अलावा आइपीसी की धारा 366ए के तहत पांच साल की सजा के साथ पांच हजार रुपये जुर्माना की सजा दी गई है। सभी सजाएं एक साथ चलेंगी, जबकि दोषी को कुल एक लाख पांच हजार रुपया जुर्माना जमा करना होगा।