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Bihar Police Exam: खगड़िया का अभिषेक निकला सिपाही भर्ती परीक्षा का सरगना, Whatsapp चैट से हुए कई खुलासे

Bihar News बिहार सिपाही भर्ती परीक्षा का सरगना खगड़िया का अभिषेक कुमार मिल्टन बताया जा रहा है। वॉ्टसएप चैट से कई खुलासे हुए हैं। बुधवार को गिरोह के सभी सदस्य दरभंगा जंक्शन के आसपास मौजूद थे। दो लोगों के होटल से पकड़े जाने के बाद सभी फरार होने में कामयाब हो गए। कई परीक्षार्थी ने पांच-पांच सौ रुपये एडवांस के तौर पर दिए थे।

By Mrityunjay Bhardwaj Edited By: Sanjeev Kumar Updated: Fri, 09 Aug 2024 03:48 PM (IST)
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बिहार सिपाही भर्ती परीक्षा को लेकर खुलासे (जागरण)

जागरण संवाददाता, दरभंगा। Bihar Sipahi Bharti Exam: सिपाही भर्ती परीक्षा पास कराने वाले गिरोह के दो आरोपितों की गिरफ्तारी के बाद पूछताछ के आधार पर जहानाबाद से धनंजय कुमार को हिरासत में लिया गया है। तीनों युवकों से सदर एसडीपीओ अमित कुमार पूछताछ कर रहे हैं।

गिरोह का सरगना खगड़िया का अभिषेक कुमार

इस बीच पुलिस ने गिरोह में शामिल 9 लोगों को चिह्नित किया है। गिरोह का सरगना खगड़िया का अभिषेक कुमार मिल्टन है। उसके संबंध भर्ती बोर्ड से होने की बात कही जा रही है। वहीं, बरामद 16 एडमिट कार्ड में 12 की पहचान की गई है।

इस बाबत अवर निरीक्षक हरेंद्र यादव के बयान पर कोतवाली थाने में प्राथमिकी दर्ज की गई है। प्राथमिकी में समस्तीपुर जिले के खानपुर थाना क्षेत्र के मथनाहा निवासी शशिकांत सिंह उर्फ कमलदेव सिंह, हथौड़ी थाना क्षेत्र के अखतवारा निवासी दीपक कुमार सिंह ,खगड़िया जिले के चोथमा थाना क्षेत्र के नवादा निवासी मनोहर प्रसाद सिंह के पुत्र अभिषेक कुमार मिल्टन, खगड़िया के राजीव कुमार, चुनचुन, सुदर्शन, शिवाजीनगर के लक्ष्मीजी, चंदन, बहेड़ी के युगेश मंडल को आरोपित किया गया है।

होटल से मिले 16 एडमिट कार्ड में हुई पहचान

वहीं होटल से मिले 16 एडमिट कार्ड में सिमरन कुमारी,विकाश कुमार बैठा,चंद्रशेखर कुमार,निशांत कुमार ,सन्नी कुमार,सुशांत कुमार,उदय कुमार, बबलू कुमार-एक,राजाबाबू मंडल ,संतोष कुमार पासवान,बबलू कुमार-दो,चंदन कुमार की पहचान की गई है।

बताते हैं कि बुधवार को गिरोह के सभी सदस्य दरभंगा जंक्शन के आसपास मौजूद थे। दो लोगों के होटल से पकड़े जाने के बाद सभी फरार होने में कामयाब हो गए।

इन सभी की परीक्षा सात जुलाई को होनी थी। इनमें समस्तीपुर ,खगड़िया,बेगूसराय, सहरसा ओर मधुबनी के परीक्षार्थी थे। परीक्षार्थी को खास कलम देने की बात हुई थी, लेकिन कलम की बरामदगी नहीं हुई। सदर एसडीपीओ अमित कुमार ने बताया कि तीनों के मोबाइल डिटेल, बरामद एडमिट कार्ड सहित अन्य कागजात की तहकीकात की जा रही है।

जिन लोगों के एडमिट कार्ड बरामद हुई उनकी गिरफ्तारी नहीं हुई

हालांकि, जिन लोगों के एडमिट कार्ड बरामद हुए हैं उन लोगों की गिरफ्तारी नहीं हुई है। उनके बारे में भर्ती बोर्ड को जानकारी दी गई है। बताते चलें कि कोतवाली थाना क्षेत्र के महामाया होटल से दो युवकों की एक कमरे से गिरफ्तारी हुई थी। उसके पास से 16 परीक्षार्थियों के एडमिट कार्ड, व्हाट्सएप पर की गई चैटिंग सहित रुपये के लेनदेन की जानकारी मिली।

इनसे पूछताछ के आधार पर दरभंगा के अलावा अन्य जिलों में भी छापामारी की गई । सदर एसडीपीओ ने बताया कि जिले में कदाचार मुक्त परीक्षा कराने के लिए एसएसपी जगुनाथ रेड्डी जलारेड्डी के निर्देश पर होटल, दरभंगा रेलवे स्टेशन, बस स्टैंड सहित अन्य जगहों पर छानबीन की गई थी। महामाया होटल से समस्तीपुर जिले के दीपक कुमार और शशिकांत को पकड़ा गया।

पूछताछ में उन लोगों ने सही जानकारी नहीं दी। इनके आधार कार्ड में त्रुटि पाया गया। जिसके आधार पर दोनों को हिरासत में लेकर थाना लाया गया और पूछताछ के दौरान दोनों ने स्वीकार किया था कि सिपाही भर्ती परीक्षा में अपने कैंडिडेट को पास कराने के लिए दरभंगा आए थे। इसमें दीपक अपने आप को इंजीनियर बता रहा है। पुलिस उसका सत्यापन करने में जुटी है।

मोबाइल के डिटेल से हुए कई खुलासे

एसडीपीओ ने बताया कि मोबाइल के डिटेल से स्पष्ट हो रहा था कि परीक्षार्थी से पैसे के लेनदेन की बात की जा रही थी। उनके घरों में अन्य लोगों के साथ वायस एवं वीडियो काल किए गए हैं। कई लोगों के विषय में जानकारी भी मिली है। इन सभी बिंदुओं पर अभी छानबीन जारी है। प्रत्येक परीक्षार्थी से पास कराने को लेकर गैंग ने आठ लाख रुपये में सौदा तय किया था।

कई परीक्षार्थी ने पांच-पांच सौ रुपये एडवांस के तौर पर दिए थे। गैंग के सदस्यों ने परीक्षार्थी को निर्देश दिया था कि 30 से 35 प्रतिशत उत्तर देना है। ओएमआर शीट नंबर व प्रश्न पत्र सेट नंबर नोट कर लेना है। ताकि सिपाही परीक्षा भर्ती बोर्ड से ओएमआर शीट को निकाल कर शेष बचे प्रश्न पत्र का जवाब लिखा जा सके।

हालांकि, परीक्षा शुरू होने के आधा घंटा पहले उत्तर पुस्तिका सहित कलम उपलब्ध कराने की बात इन लोगों ने परीक्षार्थियों से की थी, लेकिन परीक्षा शुरू होने तक कुछ भी उपलब्ध नहीं कराया गया। एसडीपीओ ने बताया कि गिरोह के अन्य सदस्य कई जिले में हैं। यह परीक्षार्थी से पैसा ठगने वाला गिरोह भी हो सकता है। सिपाही भर्ती के नाम पर रुपये ठग फरार हो जाते।

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