2020 में सीयूएसबी बना बिहार का नंबर 1 यूनिवर्सिटी
गया वैश्विक महामारी कोविड- 19 के चुनौतियों के बीच पंचानपुर-फतेहपुर में संचालित दक्षिण बिहार केन्द्रीय विश्वविद्यालय ने वर्ष 2020 में कई उपलब्धियाँ हासिल की है।
गया : वैश्विक महामारी कोविड- 19 के चुनौतियों के बीच पंचानपुर-फतेहपुर में संचालित दक्षिण बिहार केन्द्रीय विश्वविद्यालय ने वर्ष 2020 में कई उपलब्धियाँ हासिल की है। वर्ष 2009 में राजधानी पटना में किराए के मकान से बिहार के प्रथम केन्द्रीय विश्वविद्यालय के रूप में अपना स़फर शुरू करने वाले सीयूएसबी ने एक दशक बाद अपने को क्षेत्र के उत्कृष्ठ उच्च शिक्षण संस्थान के रूप में स्थापित करने में सफल रही। कुलपति प्रोफेसर हरिश्चंद्र सिंह राठौर के कुशल नेतृत्व, कुलसचिव कर्नल राजीव कुमार सिंह के प्रशासनिक कार्यकलापों, प्राध्यापकों, शैक्षिक एवं गैर-शैक्षणिक अधिकारीयों एवं कर्मचारियों तथा मेघावी विद्यार्थियों के साझा प्रयास से विवि ने वर्ष 2020 में कई गौरवपूर्ण पल देखा।
एजुकेशन वर्ल्ड इंडिया रैंकिग में विवि को बिहार में प्रथम और देश में सरकार से अनुदान प्राप्त में विवि को 56 वां स्थान प्राप्त हुआ। अगस्त 2020 में विवि को केन्द्रीय शिक्षा मंत्रालय द्वारा जारी सूची में बिहार में सर्वश्रेष्ठ यानि टॉप और देश में 15 वां स्थान मिला। विवि के बायोटेक्नोलॉजी विभाग को भारत सरकार के विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग के रिसर्च एंड इंफ्रास्ट्रक्चर डिवी•ान द्वारा शोध हेतु इंफ्रास्ट्रक्चर (आधारभूत संरचनाओं) के विकास के लिए 58 लाख रुपये अनुदान दिया गया। केंद्र सरकार द्वारा विवि के पर्यावरण विभाग के प्रयासों से गया •िाले और आसपास के इलाकों में ठनके का सटीक अनुमान लगाने के लिए लाइटनिग सेंसर को कैंपस में लगाया गया। इसके साथ साथ मौसम और जलवायु परिवर्तन के कारकों में लगातार अध्ध्यन के लिए हाई परफॉरमेंस कंप्यूटिग सयंत्र भी लगाया गया। विवि में एनसीसी की महिला इकाई का गठन किया गया। विवि के 100 से अधिक विद्यार्थियों को यूजीसी - नेट / जेआरएफ, गेट, सीटीईटी, आदि राष्ट्रस्तरीय प्रतियोगिता परीक्षाओं में सफलता मिली। शैक्षणिक उत्कृष्ठता के लक्ष्य हेतु डिपार्टमेंट ऑफ फार्मेसी, डिपार्टमेंट ऑफ जियोलॉजी एवं डिपार्टमेंट ऑफ फिजिकल एजुकेशन का शुभारंभ हुआ। सीयूएसबी ने वर्ष 2020 में एमसीसी जियोलॉजी, एम. फार्म (फार्मासियाटिक्स), एम. फार्म (फार्माकोलॉजी), पीजी डिप्लोमा इन योग तथा दो विषयों क्रमश: कॉमर्स एवं हिस्ट्री में पीएचडी की शुरुआत हुई। भवन निर्माण के दूसरे चरण में कैंपस डेवलपमेंट के लिए भवन निर्माण हेतु 116 करोड़ प्राप्त हुआ है। जिसमे भवन निर्माण में 64 स्टाफ ़क्वार्टर, 600 बेड का हॉस्टल, 1 हेल्थ सेंटर, 1 सेंट्रल लाइब्रेरी, ़फूड कोर्ट (कैफेटेरिया), छोटा शॉपिग सेंटर एवं शोध के लिए एनिमल हाउस शामिल है। कोविड 19 के चुनौतियों के बीच हालिया वर्षों में अपना उत्कृष्ठ प्रदर्शन बऱकरार रखा है। देश के सर्वश्रेष्ठ उच्च शिक्षण संस्थानों में अपनी अलग पहचान बना सकता है।