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कबाड़ में बिहार की शिक्षा व्‍यवस्‍था: प्रिंसिपल ने रद्दी के भाव बेचीं बच्‍चों की किताबें, विभाग ने लिया एक्‍शन

बिहार के जहानाबाद में उत्क्रमित उच्च विद्यालय के प्रिंसिपल ने एनसीईआरटी की किताबें कबाड़ में बेच दी जिसे विद्यालय को बच्चों में बांटना था। कबाड़ी में किताबें बिकता देख ग्रामीणों ने इसका विरोध किया और पुलिस से शिकायत भी की। इसके बाद जिला प्रशासन के निर्देश पर मामले की जांच की गई। वहीं अब शिक्षा विभाग ने विद्यालय के प्रिंसिपल से मामले को लेकर स्पष्टीकरण मांगा है।

By narayan kumarEdited By: Jagran News NetworkUpdated: Wed, 06 Sep 2023 01:31 PM (IST)
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जहानाबाद में प्रिंसिपल ने एनसीईआरटी की किताबें कबाड़ में बेच दी। (प्रतिकात्मक तस्वीर)
संवाद सहयोगी, रतनी फरीदपुर (जहानाबाद): बिहार के जहानाबाद समग्र शिक्षा और एनसीईआरटी की किताब को कबाड़ में बेचने का मामला सामने आया है।

जहानाबाद प्रखंड क्षेत्र के जहांगीरपुर उत्क्रमित उच्च विद्यालय के प्रिंसिपल पर इन किताबें को बेचने का आरोप लगा है, जिन्हें सरकारी स्तर पर छात्रों में वितरण के लिए उपलब्ध कराया गया था।

आरोप है कि प्रिंसिपल राम प्रसाद के निर्देश पर शिक्षक गोपाल शरण प्रसाद ने कबाड़ी वाले को बुलाकर किताबें बेच दी. इसके अलावा छड़ समेत अन्य सामान की भी बिक्री की गई है।

विरोध करने पर भड़के प्रिंसिपल

ग्रामीणों की नजर सरकारी पुस्तकों पर पड़ी तो उन्होंने इसका विरोध किया। इस पर प्रिंसिपल भड़क गए। तब ग्रामीणों ने डायल 112 को सूचना दी।

इसके बाद पुलिस आई और जांच पड़ताल कर बैरंग लौट गई, फिर ग्रामीणों ने जमकर हंगामा किया। इसकी शिकायत डीएम से भी की गई।

विभाग के अधिकारियों ने की जांच 

डीएम के निर्देश पर शिक्षा विभाग के डीपीओ आनंद कुमार और बीईओ सर्वजीत विद्यालय पहुंचे। उन्होंने प्रिंसिपल और ग्रामीणों से मामले की पूरी जानकारी ली।

इसके साथ ही पुस्तकों की जांच भी की। जांच में एनसीईआरटी एवं समग्र शिक्षा के तहत मिलने वाली सरकारी पुस्तकों सहित अलग-अलग कक्षाओं की पुस्तकें सात बोरे में बंद मिली। डीपीओ ने कापी-किताब सहित अन्य सामान ग्रामीण नागेंद्र प्रसाद को सौंप दिया।

शिक्षा विभाग ने मांगा स्पष्टीकरण:

मामले को लेकर विद्यालय के प्रिंसिपल राम प्रसाद ने सफाई दी. उन्होंने कहा कि शिक्षक को विद्यालय में पड़े पुराने सामान को बेचने को कहा गया था पर शिक्षक ने पुस्तक और कापियां भी बेच दीं। इसके एवज में कबाड़ी वाले ने 4200 रुपये दिए।

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वहीं, विद्यालय के कक्षा तीन के छात्र अंकुश कुमार, राजा कुमार, मुन्ना कुमार, राकी कुमार सहित आधे दर्जन छात्रों ने बताया कि 'हम लोगों को सिर्फ हिंदी और अंग्रेजी की पुस्तक मिली है।शेष विषयों की पुस्तकें नहीं दी गई।

शिक्षा विभाग के डीपीओ आनंद कुमार ने कहा कि प्रिंसिपल से स्पष्टीकरण मांगा गया है। समुचित जवाब नहीं मिलने पर प्रधानाध्यापक के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।

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