Move to Jagran APP

Jehanabad News: जहानाबाद में 5 चिकित्सकों के वेतन पर रोक, DM के एक्शन से विभाग में मचा हड़कंप; पढ़ें पूरा मामला

जहानाबाद में पांच सरकारी डॉक्टरों पर बड़ी कार्रवाई हुई है। जिलाधिकारी अलंकृता पांडे ने लापरवाही के आरोप में पांच डॉक्टरों के वेतन पर रोक लगा दी है। डीएम ने स्वास्थ्य सेवाओं में शिथिलता बर्दाश्त न करने का निर्देश दिया है जिसमें संस्थागत प्रसव प्रसव पूर्व जांच परिवार नियोजन और टीकाकरण शामिल हैं। डीएम के एक्शन से विभाग में हड़कंप मच गया है।

By Dheeraj kumarEdited By: Mukul Kumar Updated: Wed, 16 Oct 2024 09:27 AM (IST)
Hero Image
प्रस्तुति के लिए इस्तेमाल की गई तस्वीर
जागरण संवाददाता, जहानाबाद। जहानाबाद में पांच सरकारी डॉक्टरों पर बड़ी कार्रवाई हुई है।  जिलाधिकारी अलंकृता पांडे ने पांच डॉक्टरों के वेतन पर रोक लगा दी है। सभी डॉक्टरों पर लापरवाही को देखते हुए यह कार्रवाई की गई है।

दरअसल, डीएम ने स्वास्थ्य विभाग के अंतर्गत संचालित सेवाओं की समीक्षा की, जिसमें कार्य में शिथिलता बरतने पर पांच चिकित्सकों के वेतन पर रोक का निर्देश दिया गया।

डीएम ने कहा कि संस्थागत प्रसव, प्रसव पूर्व जांच ,परिवार नियोजन ,नियमित टीकाकरण में कोताही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। स्वास्थ्य सेवाओं के लिए निर्धारित लक्ष्य से 50 प्रतिशत से कम उपलब्धि पर सख्त कार्रवाई का निर्देश दिया।

इन मानकों में प्रसव पूर्व जांच ,संस्थागत डिलीवरी ,परिवार नियोजन, आयरन की गोलियों का वितरण, टीकाकरण, भाव्या का उपयोग शामिल है।

सिविल सर्जन को मिला यह निर्देश

सिविल सर्जन को निर्देश दिया गया कि प्रभारी स्वास्थ्य पदाधिकारी, रतनी फरीदपुर व घोसी को कार्य में कोताही पर स्पष्टीकरण करें और संतोषजनक जवाब आने तक वेतन अवरुद्ध करें।

परिवार नियोजन में शिथिलता बरतने वाले दो चिकित्सक डॉक्टर मधुबाला व डॉक्टर राजेश कुमार (जो हुलासगंज में पदस्थापित हैं) और रेफरल अस्पताल घोसी में पदस्थापित एक अन्य सर्जन के वेतन पर भी रोक का निर्देश दिया।

दवा आपूर्ति में भी पाई गई कमी

दवा आपूर्ति की समीक्षा में पाया गया कि जिले में दवा का पर्याप्त स्टॉक है, इसके बावजूद प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, ओकरी, मोदनगंज व रेफरल अस्पताल, घोसी में दवा के स्टॉक में कमी है।

प्रखंड स्वास्थ्य प्रबंधक ओकरी और अस्पताल प्रबंधक, रेफरल अस्पताल घोसी को स्पष्टीकरण करने का निर्देश दिया गया। सदर अस्पताल में निबंधित 100 बच्चे ऐसे पाए गए जिनका इस वित्तीय वर्ष में हेपेटाइटिस बी का टीकाकरण नहीं हो पाया।

चरणवार समीक्षा करने का भी निर्देश

जिलाधिकारी ने रोष व्यक्त करते हुए निर्देशित किया कि इसकी समीक्षा चरणवार कर लें। साथ ही कार्य योजना बनाकर 85 प्रतिशत प्रसव पूर्व जांच सुनिश्चित कराएं। सिविल सर्जन को निर्देश दिया गया कि प्रखंड स्तर पर स्वास्थ्य विभाग से नोडल पदाधिकारी नामित करें जिससे कि प्रखंड स्तर पर माहवार समीक्षा की जा सके।

बैठक में बताया गया कि एकीकृत रोग निगरानी कार्यक्रम में जहानाबाद जिला को राज्य में द्वितीय स्थान प्राप्त हुआ है। इसके लिए जिलाधिकारी ने पूरी स्वास्थ्य टीम को बधाई भी दी। इस कार्यक्रम का मकसद महामारी से जुड़े रोगों के लिए रोग निगरानी प्रणाली को मज़बूत करना और रोगों की प्रवृत्तियों पर नजर रखना है।

यह भी पढ़ें-

Bihar Education News: 7 हजार से अधिक छात्र-छात्राओं का भविष्य दांव पर! शिक्षा विभाग का नया निर्देश जारी, पढ़ें डिटेल

BPSC ने एकीकृत 70वीं संयुक्त प्रतियोगिता परीक्षा के लिए सीटों की संख्या बढ़ाई, 4 नवंबर तक करें आवेदन

आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।