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Jamui: सरकारी स्‍कूल के छात्रावास से आधी रात 55 छात्राएं भागीं, सोता रहा गार्ड; भागने की वजह कर देगी हैरान

Jamui School News सोनो स्थित कस्तूरबा गांधी बालिका छात्रावास टाइप- चार की सभी 55 छात्राएं भाग निकलीं। रविवार की रात वार्डन व रात्रि प्रहरी को बिना बताए गेट खोलकर छात्रावास से अपने-अपने घर चली गईं। सुबह तीन बजे के करीब जब वार्डन की नींद खुली तो छात्रावास में एक भी बच्ची मौजूद नहीं दिखी। छात्रावास का गेट खुला था। रात्रि प्रहरी भी अपने कमरे में सो रहा था।

By Jagran NewsEdited By: Prateek JainUpdated: Sun, 10 Sep 2023 05:18 PM (IST)
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Jamui: सरकारी स्‍कूल के छात्रावास से 55 छात्राएं भागीं, सोता रह गया गार्ड। (फाइल फोटो)
संवाद सूत्र, सोनो (जमुई): सोनो स्थित कस्तूरबा गांधी आवासीय विद्यालय टाइप चार की सभी 55 छात्राएं छात्रावास से भाग निकली। रविवार की रात वार्डन व रात्रि प्रहरी को बिना बताए गेट खोलकर छात्रावास से अपने-अपने घर चली गईं।

सुबह तीन बजे के करीब जब वार्डन की नींद खुली तो छात्रावास में एक भी बच्ची मौजूद नहीं दिखी। छात्रावास का गेट खुला था। रात्रि प्रहरी भी अपने कमरे में सो रहा था। इसके बाद छात्रावास में अफरा-तफरी की स्थिति बन गई।

हालांकि, खोजबीन कर तीन बच्चियों को सोनो चौक से वापस छात्रावास लाया गया। सुबह दस बजे तक दो बच्ची चकाई से वापस लाई गईं। रविवार शाम तक एक दर्जन बच्चियों को वापस बुलाया जा सका था। शेष बच्चियां अभी भी छात्रावास नहीं पहुंची हैं।

छात्राओं को नहीं मिला था रात्रि भोजन

छात्रावास लौटने वाली छात्राएं अम्बाटांड़ चकाई की सोनाली कुमारी, खुशबू कुमारी, धावाटांड़ की रिंकू मुर्मू, पोंझा चकाई की प्रमिता हेम्ब्रम और बरमोरिया की सलोनी किस्कू ने बताया कि शनिवार दोपहर को ही उन लोगों को खाना मिला था। इसके बाद रात में खाना नहीं मिला।

ऐसी घटना बार-बार हो रही है, इसलिए हम सभी बिना किसी को बताए एकसाथ छात्रावास से निकलकर अपने-अपने घर चले गए। इस दौरान छात्राओं ने विद्यालय प्रबंधन व रसोईया पर खाना बनाने में सहयोग करने का दबाव डालने का भी आरोप लगाया है। कहा कि जब तक हम लोग खाना बनाने में सहयोग नहीं करते हैं तब तक खाना नहीं बनता।

परीक्षा फॉर्म भरने में वसूली का आरोप

छात्राओं ने छात्रावास के संचालक सह प्लस टू राज्य संपोषित उच्च विद्यालय सोनो के प्रभारी प्रधानाध्यापक प्रशांत कुमार पर इंटरमीडिएट परीक्षा फार्म भरने के नाम पर नाजायज वसूली का आरोप भी लगाया है।

छात्राओं ने कहा कि छात्रावास की सभी छात्राओं से प्रति छात्रा 2200 रुपये परीक्षा फॉर्म के नाम पर प्रभारी प्रधानाध्यापक प्रशांत कुमार द्वारा खुद वसूले गए और रसीद भी नहीं दी गई। इतना ही नहीं रसीद के बारे में पूछने पर उन्हें डांट दिया जाता है।

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बताया जाता है कि बिहार विद्यालय परीक्षा समिति ने एससी, एसटी व अत्यंत पिछड़ा वर्ग की छात्र-छात्राओं के इंटरमीडिएट आवेदन फॉर्म भरने के लिए 1170 रुपए व अन्य कोटि के लिए 1430 रुपए राशि निर्धारित की है।

12वीं वर्ग का शिक्षण शुल्क एससी-एसटी के कला संकाय के लिए 470 रुपए एवं विज्ञान संकाय के लिए 670 रुपए निर्धारित है। छात्रावास में सभी एससी-एसटी कोटि की छात्राएं हैं। इनसे 1640 रुपया ही लिया जाना चाहिए, लेकिन प्रति छात्र से 560 रुपये की नाजायज वसूली की गई है।

सुबह तीन बजे उठी तो देखा नहीं थी छात्राएं

प्रभारी वार्डन गुड्डी कुमारी ने बताया कि जब वह सुबह तीन बजे उठी तो देखा कि सभी छात्राएं छात्रावास से गायब थी। छात्रावास का गेट खुला हुआ था, उसी समय संचालक व अकाउंटेंट को फोन किया गया। लगातार संचालक से बात करने का प्रयास किया, लेकिन उन्होंने फोन नहीं उठाया।

प्रभारी वार्डन ने बताया कि उन्‍होंने दस दिन पहले ही योगदान दिया है। छात्रावास में साफ-सफाई की व्यवस्था नहीं है। शौचालय का फर्श टूटा है। छत से पानी का रिसाव होता है।

फोटो- छात्रावास के शौचालय का टूटा फर्श

बिल पर नहीं करते हैं हस्ताक्षर

एकाउंटेंट ब्रजेश कुमार ने बताया कि विगत तीन माह से दुकानदारों का बकाया भुगतान नहीं किया गया है। दुकानदार उनसे बकाया राशि मांगते हैं। दुकानदार ने भी अब सामान देने से मना कर दिया है।

विद्यालय के खाते में राशि पड़ी है, लेकिन संचालक इनवॉइस पर हस्ताक्षर ही नहीं करते। खाते का संचालन वार्डन व संचालक के संयुक्त हस्ताक्षर से होता है। वार्डन ने इनवॉइस पर हस्ताक्षर किए हुए हैं। शनिवार को भी संचालक से हस्ताक्षर के लिए आग्रह किया गया, लेकिन उन्होंने हस्ताक्षर नहीं किए।

छात्राओं को लाया जा रहा है वापस

मामले की जानकारी मिली है। खाना में शिकायत की बात सामने आ रही है। सभी छात्राएं अपने घर चली गई हैं, उन्हें वापस लाया जा रहा है। व्यवस्था में सुधार का प्रयास किया जाएगा। आवेदन फॉर्म में नाजायज वसूली की बात गलत है। - प्रशांत कुमार, प्रभारी प्रधानाध्यापक, प्लस टू राज्य संपोषित उच्च विद्यालय, सोनो

मामले की जांच कर कार्रवाई की जाएगी। बच्चियों की पढ़ाई बाधित नहीं हो सकती है। - कपिलदेव तिवारी, जिला शिक्षा पदाधिकारी, जमुई।

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