पुरानी अवधारणाओं से बाहर आकर संस्थागत प्रसव को प्राथमिकता देना जरूरी
संवाद सहयोगी किशनगंज प्रसव के दौरान गर्भवती व उनके परिजनों को किसी प्रकार की लापरवाह
By JagranEdited By: Updated: Fri, 06 May 2022 07:15 PM (IST)
संवाद सहयोगी, किशनगंज : प्रसव के दौरान गर्भवती व उनके परिजनों को किसी प्रकार की लापरवाही नहीं करनी चाहिए। प्रसव के वक्त छोटी सी लापरवाही भी बड़ी परेशानी का सबब बन सकती है। इसलिए सुरक्षित और सामान्य प्रसव के लिए संस्थागत प्रसव को प्राथमिकता देना जरूरत है। यह जानकारी शुक्रवार को जिलाधिकारी डा. आदित्य प्रकाश ने दी।
उन्होंने बताया कि सरकारी स्वास्थ्य संस्थानों में प्रसव के दौरान सुरक्षित और सामान्य प्रसव को बढ़ावा देने के सुरक्षा के हर मानकों का ख्याल रखा जाता है। इसलिए सरकारी स्वास्थ्य संस्थानों में प्रसव कराने के लिए सुरक्षा के मद्देनजर किसी प्रकार की संकोच नहीं करें और संस्थागत प्रसव को ही प्राथमिकता दें। इससे न सिर्फ सुरक्षित और सामान्य प्रसव को बढ़ावा मिलेगा बल्कि मातृ-शिशु मृत्यु दर में भी कमी आएगी। जिले के सभी सरकारी स्वास्थ्य संस्थानों में सुरक्षित प्रसव के लिए सुरक्षा के मद्देनजर समुचित व्यवस्था उपलब्ध हैं। महिलाओं एवं उनके परिवार वालों से अपील करता हूं कि पुरानी अवधारणाओं से बाहर आकर सुरक्षित और सामान्य प्रसव को बढ़ावा देने के लिए संस्थागत प्रसव को ही प्राथमिकता देना जरूरी है।
सिविल सर्जन डा. कौशल किशोर ने बताया की संस्थागत प्रसव संबंधी मामलों में 20 फीसद वृद्धि को लेकर विभागीय प्रयास तेज हो चुका है। इसके लिये प्रसव संबंधी सेवाओं को विस्तारित करते हुए सेवाओं की बेहतरी का प्रयास किया जा रहा है। जिले के सदर अस्पताल, सभी सामुदायिक एवं प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, छत्तरगाछ रेफरल सहित तीन अतिरिक्त प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में प्रसव संबंधित सेवाओं का संचालन किया जाता है। महिला चिकित्सा पदाधिकारी डा. उर्मिला ने बताया की शिशु मृत्यु दर में कमी के लिए बेहतर प्रसव एवं उचित स्वास्थ्य प्रबंधन जरूरी है। वहीं जिला कार्यक्रम पदाधिकारी डा. मुनाजिम ने बताया की सुरक्षित मातृत्व के लिए प्रसव पूर्व जांच हर माह की नौ तारीख को सभी पीएचसी व सरकारी अस्पतालों में प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान के तहत की जाती है।
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