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Lok Sabha Election: जबलपुर ने नकारा तो मधेपुरा ने शरद यादव को सिर पर बिठाया, लेकिन इन दो नेताओं ने दे दी थी शिकस्त

Bihar Politics बिहार की मधेपुरा लोकसभा सीट का इतिहास शानदार रहा है। तीन यादव नेताओं का यहां दबदबा रहा था। पहले शरद यादव फिर लालू यादव और पप्पू यादव ने यहां से लोकसभा चुनाव जीतकर रिकॉर्ड कायम कर दिया था। इन तीनों में शरद यादव ने 4 बार सबसे अधिक जीत दर्ज की थी। जबलपुर से चुनाव हारने के बाद उन्हें मधेपुरा ने सिर पर बिठा लिया।

By Rakesh Ranjan Edited By: Sanjeev Kumar Updated: Sat, 13 Apr 2024 09:10 AM (IST)
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मधेपुरा से चार बार लोकसभा चुनाव जीते थे (जागरण)
राकेश रंजन, मधेपुरा। Bihar Political News Today: 1991 के लोकसभा चुनाव में शरद यादव मध्य प्रदेश के जबलपुर से चुनाव हार गए थे। इधर, मधेपुरा में निर्दलीय प्रत्याशी राजकुमारी देवी की हत्या के बाद चुनाव स्थगित हो गया। चुनाव की तिथि दोबारा घोषित हुई तो जनता दल के बड़े नेता शरद यादव यहां से प्रत्याशी बन गए।

यहां की जनता ने उन्हें रिकार्ड मत से जीताकर लोकसभा पहुंचा दी। बीपी मंडल के कारण राष्ट्रीय फलक पर रहने वाली मधेपुरा सीट को शरद यादव ने भी खूब ख्याति दिलाई। 1991 में चुनाव जीतने के बाद ही शरद यादव केंद्र में मंत्री बने थे। मधेपुरा लोकसभा क्षेत्र से अब तक सर्वाधिक चार बार चुनाव जीतने का रिकार्ड शरद यादव के ही नाम है।

लालू यादव और पप्पू यादव ने दी थी शिकस्त

इन्हें यहां से तीन बार हार का भी सामना करना पड़ा है। दो बार लालू प्रसाद यादव तो एक बार पप्पू यादव (Pappu Yadav) के हाथों हार का सामना करना पड़ा था। 1998 में उन्हें पहली बार यहां से हार मिली थी। 1996 में भी बड़े अंतर से जीते थे। 1998 में लालू प्रसाद ने शरद यादव को पहली बार पटखनी देकर लोकसभा पहुंचे। 1999 में शरद यादव राजग के हिस्सा बन गए और लालू प्रसाद से हिसाब चुकता किया।

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