कलेक्ट्रेट में DM से फरियाद के पहले बुजुर्ग ने खुद को लगाई आग, बचाने की बजाय वीडियो बनाते रहे लोग; जमीन का चल रहा था विवाद
Muzaffarpur Collectorate News मुजफ्फरपुर कलेक्टर कार्यालय में जनता दरबार में फरियाद लेकर आए एक वृद्ध ने खुद को पेट्राेल छिड़ककर आग लगा ली। वृद्ध जमीन पर कब्जे को लेकर कई वर्षों से सरकारी दफ्तर के चक्कर काट रहा था। इस घटनाक्रम के दौरान लोग वृद्ध को बचाने के बजाय उसका वीडियो बनाते रहे। हालांकि डीएम के अंगरक्षकों व अन्य कर्मियों ने आग बुझाई और घायल को अस्पताल पहुंंचाया गया।
जागरण संवाददाता, मुजफ्फरपुर। बासगीत पर्चे की जमीन पर वर्षों से कब्जा नहीं मिलने से क्षुब्ध बुजुर्ग ने शुक्रवार को डीएम और एसएसपी की मौजूदगी में कलेक्ट्रेट में अपने शरीर पर पेट्रोल डालकर आग लगा ली। इसके बाद बाहर की ओर दौड़ लगा दी।
वहां मौजूद लोग वीडियो बनाते रहे, लेकिन कोई बचाने के लिए आगे नहीं आया। डीएम के अंगरक्षक और कर्मचारियों ने किसी तरह उनके शरीर में लगी आग बुझाई। तत्काल सदर अस्पताल ले जाया गया।
वृद्ध का 50 प्रतिशत तक शरीर जला
यहां प्राथमिक उपचार के बाद एसकेएमसीएच में भर्ती कराया गया है। वहां उनकी हालत गंभीर बताई जा रही है। सिविल सर्जन ने कहा कि करीब 50 प्रतिशत शरीर जला है। वहीं, नगर एएसपी भानू प्रताप सिंह ने मौके पर पहुंचकर पूरे घटना की जानकारी ली।
प्रत्येक शुक्रवार की तरह डीएम सुब्रत कुमार सेन जनता दरबार में लोगों की फरियाद सुन रहे थे। एसएसपी राकेश कुमार भी मौजूद थे। अपनी फरियाद लेकर कांटी नगर परिषद के वार्ड आठ के पुरानी चौक निवासी बिंदा लाल गुप्ता (करीब 65) भी आए थे।
उनकी शिकायत थी कि ससुर के नाम से बासगीत पर्चे की मिली जमीन पर दबंग लोग कब्जा नहीं होने दे रहे। फरियाद लेकर डीएम कक्ष में प्रवेश करने से पहले ही उन्होंने दोपहर करीब 12 बजे प्लास्टिक के छोटे डिब्बे में लाया पेट्रोल अपने शरीर पर उड़ेल लिया।
इसके बाद माचिस की तीली जला दी। आग पूरे शरीर में तुरंत फैल गई। अपनी फरियाद लिए वहां आए दर्जनों लोगों में अफरातफरी मच गई। वे शोर मचाने लगे। आग की जलन से बिंदा लाल बाहर की ओर भागे।
शोर सुनकर डीएम भी बाहर निकले। वहां मौजूद डीएम के बाडीगार्ड एवं कर्मचारियों ने काफी मशक्कत के बाद उसे कब्जे में लिया। शरीर पर कपड़ा डाल आग बुझाई। प्रशासन की गाड़ी से सदर अस्पताल लाया गया।
आर्थिक तंगी से परेशान हैं बिंदा
आर्थिक तंगी से परेशान बिंदा लाल गुप्ता पिछले कई वर्षों से सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र, कांटी के समीप मच्छरदानी बेचकर परिवार का भरण पोषण करते हैं। घर से कुछ ही दूरी पर स्थित महादलित टोला में बासगीत पर्चे पर उसके ससुर को जमीन मिली थी। यह बिंदा की पत्नी के नाम पर स्थानांतरित हो गई है।
इसपर पूरी तरह कब्जा नहीं मिल सका। विगत पांच वर्षों से मामले को सुलझाने के लिए बिंदा गुप्ता सामाजिक स्तर से लेकर सरकारी कार्यालय का चक्कर लगाते रहे। अंचल कार्यलय, थाना से लेकर वरीय पदाधिकारियों तक फरियाद की। इसके बाद भी न्याय नहीं मिला। बिंदा के दो पुत्रों में मुन्ना भी विवाद को सुलझाने के लिए लगे रहे। बिंदा के पुत्र मुन्ना कुमार गुप्ता ने एसकेएमसीएच में कहा कि नाना के नाम से पर्चे की जमीन मिली थी।
इसपर नगर परिषद के एक दबंग वार्ड पार्षद पप्पू राम एवं अन्य कब्जा नहीं करने दे रहे। खतियान में तीन डिसमिल और नक्शा में चार डिसमिल जमीन होने के कारण विवाद की स्थिति है। कई बार अंचलाधिकारी के हस्तक्षेप पर अमीन द्वारा जमीन की मापी की गई।
इसके बाद भी विवाद का निपटारा नहीं हो सका। इस मामले में वार्ड पार्षद पप्पू राम ने कहा कि बिंदा के ससुर के नाम से जमीन का पर्चा मिला था।वह उसकी पत्नी के नाम से हो गया है। इस जमीन से उसका कोई लेनादेना नहीं। कहीं भी उसके नाम से शिकायत नहीं है। कर्मचारी या अंचलाधिकारी की रिपोर्ट में भी नाम नहीं है। राजनीतिक साजिश से उसका नाम घसीटा जा रहा है।
लोग बचाने की जगह वीडियो बनाने में लगे रहे
शुक्रवार को डीएम के जनता दरबार होने के कारण कलेक्ट्रेट में गहमागहमी रहती है। आज भी सुबह 10 बजे से गहमागहमी थी।लोकसभा चुनाव के दौरान जनता दरबार का कार्यक्रम स्थगित था। चुनाव की समाप्ति के बाद यह शुरू हुआ है। आज भी फरियादियों की भीड़ अच्छी खासी थी।
फरियादियों में शामिल बिंदा लाल ने प्लास्टिक के डिब्बे में पेट्रोल लाया था। आत्मदाह की पूर्व से उसने सूचना भी नहीं दी थी। अमूमन इस तरह की सूचना डीएम या एसडीओ कार्यालय को उपलब्ध कराई जाती है। शीशे के बोतल में पेट्रोल लाने पर वहां तैनात पुलिस कर्मी, डीएम के बाडीगार्ड या कर्मचारियों को शक हो सकता था।
मगर किसी को इसकी भनक नहीं लगी। बिंदा लाल ने डिब्बे से पेट्रोल छिड़का और माचिस की तीली जला ली। अचानक हुई इस घटना से वहां मौजूद फरियादी इधर-उधर भागने लगे। कुछ ने वीडियो बनाना शुरू कर दिया। मगर उसकी जान बचाने की कोशिश नहीं की।
इस मामले में कांटी सीओ से बात हुई है। पीड़ित को पर्चे पर तीन डिसमिल जमीन मिली थी। नक्शा में यह चार डिसमिल है। तीन डिसमिल जमीन पर कब्जा करा दिया गया था। एक डिसमिल जमीन पर कब्जे को लेकर विवाद की बात सामने आई है। अपर समाहर्ता से मामले की जांच करने को कहा गया है। - सुब्रत कुमार सेन, डीएम
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