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बिहार में उफान पर नदियां, बाढ़ का पानी गांवों में घुसा; नेपाल और राज्य में लगातार हो रही बारिश का असर

पहाड़ी क्षेत्र से निकलने वाली द्वारदह गांगुली पंडई मनियारी हड़बोड़ा और कटहा नदियों का जलस्तर भी बढ़ गया है। मसान हरहा कापन रघीया सुखौड़ा सिंगहा ढोंगही रामरेखा नदी के किनारे रहनेवाले 18 गांवों के करीब 15 हजार लोगों पर बाढ़ का खतरा मंडरा रहा है। शिवहर में बागमती नदी खतरे के निशान से ऊपर बह रही है। धुबनी में कमला खतरे के निशान से ऊपर बह रही है।

By Jagran NewsEdited By: Mohammad SameerUpdated: Wed, 09 Aug 2023 06:30 AM (IST)
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Bihar: बिहार में उफान पर नदियां, बाढ़ का पानी गांवों में घुसा। (प्रतीकात्मक तस्वीर)
जागरण टीम, मुजफ्फरपुर/भागलपुर: नेपाल समेत बिहार में तीन दिनों से हो रही वर्षा से नदियां उफान पर हैं। बाढ़ का पानी गांवों में घुस गया है। मधुबनी के राजनगर प्रखंड के नवटोली-भरिया बिशनपुर गांव के समीप स्थित कोसी उग्रनाथ शाखा नहर के ऊपर बनी पुलिया का एक पाया पानी के दबाव के कारण बह गया। इस कारण उक्त पुल से होकर आवागमन बाधित हो गया है।

पश्चिमी कोसी नहर प्रमंडल के कार्यपालक अभियंता ब्रजेश कुमार निराला सहित अन्य पदाधिकारी मौके पर पहुंचे। क्षतिग्रस्त पुल के दोनों किनारों को बांस-बल्ले से घेर दिया गया है। इसके अलावा यहां मधुबनी में कमला खतरे के निशान से ऊपर बह रही है।

पश्चिम चंपारण के योगापट्टी दियारे में खापटोला गांव के समीप छाड़न नदी में गंडक का पानी समा गया है। इससे कटान तेज हो गया है। यहां 25 से अधिक घर चपेट में हैं। गौनाहा में एक दर्जन घरों में दो से तीन फीट पानी घुस गया है। सड़क पर दो फीट पानी बह रहा है।

बाढ़ का खतरा मंडरा रहा

दोनों गांव के करीब 100 एकड़ से अधिक भूमि में लगा धान डूब गया। पहाड़ी क्षेत्र से निकलने वाली द्वारदह, गांगुली, पंडई, मनियारी, हड़बोड़ा और कटहा नदियों का जलस्तर भी बढ़ गया है। मसान, हरहा, कापन, रघीया, सुखौड़ा, सिंगहा, ढोंगही, रामरेखा नदी के किनारे रहनेवाले 18 गांवों के करीब 15 हजार लोगों पर बाढ़ का खतरा मंडरा रहा है। वाल्मीकिनगर के चकदहवा व झंडू टोला में पानी घुस गया है।

शिवहर में बागमती नदी खतरे के निशान से ऊपर बह रही है। बेलवा, नरकटिया व दोस्तिया गांव में पानी घुस गया है। बेलवा गांव के पास शिवहर-ढाका स्टेट हाईवे पर बाढ़ का पानी चढ़ गया है। नरकटिया गांव के निचले इलाकों और सरेह में पानी तेजी से फैल रहा है।

बाढ़ को देखते हुए अधिकारी तथा कर्मियों के अवकाश को रद कर दिया गया है। सीतामढ़ी में सोनबरसा स्थित झीम नदी में उफान आ गया। इससे सोनबरसा, बसतपुर, लालबंदी व बसतपुर के सरेह व खेतों में बाढ़ का पानी फैल गया है।

लालबंदी व बसतपुर पुल के बीच महारानी स्थान के समीप सड़क पर तथा सोनबरसा-रजवाड़ा सड़क पर डेढ़ से दो फीट पानी का बहाव हो रहा है। परिहार प्रखंड से गुजरने वाली हरदी एवं मरहा नदी में पानी बढ़ने से लहुरिया, खुरसाहा, बारा गांव के सरेह में पानी फैल गया है।

नदियों में पानी बढ़ रहा

पूर्व बिहार, कोसी व सीमांचल की नदियों में पानी बढ़ रहा है। सुपौल में कोसी नदी में उफान आने से बाढ़ का पानी कई गांवों में फैल गया है। कोसी के गांव के लोगों को भी सतर्क रहने को कहा गया है। कोसी बराज के 56 गेटों में से 24 गेटों को उठाते हुए जलस्राव को डाउन स्ट्रीम में भेजा जा रहा है।

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नदी का जलस्तर दो लाख क्यूसेक के पार पहुंचा। भारतीय प्रभाग के पूर्वी कोसी तटबंध के 16.30 किमी स्पर मात्र पर नदी का व्यापक दबाव बताया गया। मंगलवार दोपहर दो बजे कोसी नदी का जलस्तर बराहक्षेत्र 1,28,000 क्यूसेक एवं कोसी बराज पर 2,02,690 क्यूसेक जलस्तर रिकार्ड किया गया।

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कोसी बराज के दोनों तरफ लगी लाल बत्ती जला दी गई है। अररिया में भी बकरा व रतवा नदियों के जलस्तर में बढ़ोतरी हो रही है। खगड़िया में विभाग ने हाई अलर्ट जारी किया है। खगड़िया में कोसी गंगा और बूढ़ी गंडक भी बढ़ रही है। पूर्णिया में भी महानंदा, परमान, कनकई, दास व बकरा नदी के जलस्तर में वृद्धि हो रही है।

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