Bihar: मानपुर सरोबर में पकड़ी गई तीन लोगों को मारने वाली खूंखार बाघिन, लोगों ने ली राहत की सांस
बीते 13 फरवरी से वन अधिकारियों एवं रेस्क्यू टीम को चकमा देकर इधर-उधर भाग रही खूंखार बाघिन टी - तीन गुरुवार की दोपहर के बाद पकड़ी गई। छठे दिन जाल लगाकर पकड़ी गई बाघिन नाले में बेसुध पड़ी थी बाघिन। ट्रेंकुलाइजर गन से किया गया बेहोश पहुंची अधिकारियों की टीम।
By Murari KumarEdited By: Updated: Thu, 18 Feb 2021 04:26 PM (IST)
बेतिया (पश्चिम चंपारण), जासं। बीते 13 फरवरी से वन अधिकारियों एवं रेस्क्यू टीम को चकमा देकर इधर- उधर भाग रही खूंखार बाघिन टी - तीन गुरुवार की दोपहर के बाद पकड़ी गई। बाघिन के पगपार्क के आधार पर रेस्क्यू टीम मंगुराहा वन क्षेत्र के मानसरोबर नाले के पास पहुंची तो वहां बाघिन बेसुध पड़ी हुई थी। बाघिन को देख रेस्क्यू टीम के सदस्यों ने अधिकारियों को सूचित किया। तुरंत जाल लगाकर बाघिन को कब्जे में कर लिया गया। बताया जाता है कि बाघिन पूरी तरह से लाचार हो गई है। उसके शरीर में जख्म भी है। ऐसा प्रतीत होता है कि वह कई दिनों से खाना भी नहीं खाई है।
बाघिन को पिंजरे में किया जा रहा कैद वीटीआर के निदेशक एचके राय ने बाघिन के पकड़ने जाने की पुष्टि की है। उन्होंने बताया कि अभी बाघिन को पिंजरे में कैद किया जा रहा है। उसके बाद स्वास्थ्य परीक्षण किया जाएगा। ऐसा प्रतीत होता है कि बाघिन बूढ़ी हो गई है। बता दें कि बीते 12 फरवरी की रात में गौनाहा थाने के सूयपूर परसौनी गांव के किसान दंपती को इसी बाघिन ने मारा था।
यह भी पढ़ें: Darbhanga Flight Service: होली से पहले मिथिलावासियों को सौगात, अब दिल्ली के लिए प्रतिदिन दो उड़ानेंकल चार शावकों के साथ दिखी थी दूसरी बाघिन (टी- 31)
जहां एक तरफ खूंखार बाघिन के तलाश में वनविभाग की टीम दिन रात लगी थी, वहीं दूसरी ओर बुधवार को मानपुर वन क्षेत्र के चकर्षण- पड़रिया गांव के पास चार शावकों के साथ दूसरी बाघिन दिखी। बताया गया कि बाघिन (टी-3) के तलाश के दौरान बाघिन के पगमार्क मिलने से दहशत फैल गई। सूचना पर वन विभाग की टीम पहुंची और ड्रोन कैमरे से निगरानी की गई तो चार शावकों के साथ दूसरी बाघिन (टी- 31) दिखी। वो गन्ने के खेत से निकलकर जंगल की ओर भाग गई।
यह भी पढ़ें: वर्ष 2016 में पूर्वी चंपारण में भी रेलवे ट्रैक उड़ाने की हुई थी साजिश!
आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।