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Property of Bettiah Raj: दो वर्षों में तीन गुनी हुई बेतिया राज की जमीन, पांच हजार एकड़ जमीन पर अतिक्रमण; जानिए

Property of Bettiah Raj सर्वे में बेतिया राज की नौ हजार एकड़ जमीन का पता चला। पश्चिम चंपारण व पूर्वी चंपारण के अलावा गोरखपुर बनारस इलाहाबाद व अयोध्या में भी जमीन। संपत्ति की देखरेख का जिम्मा सरकार के पास है।

By Murari KumarEdited By: Updated: Sun, 27 Sep 2020 08:18 PM (IST)
Property of Bettiah Raj: दो वर्षों में तीन गुनी हुई बेतिया राज की जमीन, पांच हजार एकड़ जमीन पर अतिक्रमण; जानिए
पश्चिम चंपारण में स्थित बेतिया राज भवन

पश्चिम चंपारण, जेएनएन। बेतिया राज की जमीन पिछले दो वर्षों में तीन गुनी हो गई है। वर्ष 2017 में राज की जमीन की खोज-खबर शुरू हुई तो नए-नए भूखंडों के मिलने का सिलसिला शुरू हुआ। पश्चिम चंपारण और इसके बाहर देश के कई जिलों में करीब नौ हजार एकड़ जमीन का पता चला है। पांच हजार एकड़ पर अतिक्रमण है। ऐसे भूखंडों को खाली कराने के लिए करीब चार हजार लोगों पर अतिक्रमण वाद दायर किया गया है।

 बेतिया राज ने अपनी जमीन की खोज के लिए 2017 में सर्वे शुरू कराया। इसके लिए 21 अमीनों की संविदा पर नियुक्ति की गई। 2019 में सर्वे पूरा हुआ। इसमें करीब नौ हजार एकड़ जमीन का पता चला। इस तरह राज की कुल जमीन 14 हजार एकड़ हो गई। सर्वे में पश्चिम चंपारण में सात हजार व पूर्वी चंपारण में पांच हजार एकड़ जमीन होने की बात पता चली। इसके अलावा पटना में पांच एकड़, गोरखपुर में 51 एकड़, अयोध्या में मंदिर व दो एकड़, इलाहाबाद में तीन एकड़, बनारस में भव्य मकान व तीन एकड़ जमीन के अलावा इलाहाबाद, बस्ती, गोंडा, देवरिया, गोपालगंज, सिवान, छपरा में भी जमीन की पहचान हुई है। इन जगहों पर करीब दो हजार एकड़ जमीन है।

बेतिया राज के व्यवस्थापक व एडीएम विनोद कुमार सिंह कहते हैं कि पूर्व में बेतिया राज की ओर से दिए गए पट्टा, बंदोबस्ती एवं लीज को न्यायालय ने रद कर दिया है। अब सभी जमीन बेतिया राज की हो गई है। अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई चल रही है।  

बेतिया राज के अंतिम महाराजा हरेंद्र किशोर सिंह थे। वर्ष 1896 में इनके निधन के बाद कोई वारिस नहीं होने के चलते एक अप्रैल 1897 को बेतिया राज कोर्ट ऑफ वार्ड के अधीन चला गया था। इसकी संपत्ति की देखरेख का जिम्मा सरकार के पास है।