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Bihar Vanshavali Form: क्या जमीन सर्वे में पड़ेगी 'वंशावली' की जरूरत? अगर 'हां' तो कैसे करें आवेदन, सबकुछ जानिए

जमीन सर्वेक्षण में वंशावली की भी जरूरत पड़ेगी। वंशावली को पपत्र-3 के जरिए जमा करना है। वंशावली बनवाने में पंचायत सचिव आपका सहयोग करेंगे। ऑनलाइन वंशावली फॉर्म (Bihar Vanshavali Form) भरकर आवेदन कर सकते हैं। वंशावली बनवाने के लिए आपको dlrs.bihar.gov.in पर जाना होगा। इस वेबसाइट पर आने के बाद आपको विशेष सर्वेक्षण से संबंधित सेवाएं का विकल्प चुनना होगा।

By Ajay Kumar Edited By: Rajat Mourya Updated: Tue, 27 Aug 2024 09:09 PM (IST)
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जमीन सर्वे के लिए अहम दस्तावेज है वंशावली।
संवाद सूत्र, मेसकौर (नवादा)। बिहार में जमीन सर्वेक्षण (Bihar Land Survey) का काम शुरू हो चुका है। इस सर्वेक्षण के दौरान सही कागजात दिखाने पर जमीन के मालिकों को उनका मालिकाना हक दिया जाएगा।

सर्वेक्षण के दौरान सर्वेक्षणकर्मी जमीन के असली मालिक से कई कागजात मांगेंगे और इनके सत्यापन (Bihar Land Survey Documents) के बाद जमीन से जुड़ी जानकारियों को अपडेट कर दिया जाएगा। इनमें से एक अहम कागजात वंशावली (Bihar Vanshavali) है, जिसे पपत्र-3 के जरिए जमा करना है।

आम भाषा में वंशावली (What Is Vanshavali) का मतलब यह हुआ कि किसी व्यक्ति, परिवार या समूह के पूर्वजों के वंश का लेखा-जोखा। इसमें वंशावली बनाने वाले परिवार के पूर्वजों का विवरण होता है। संबंधित विभाग के अपर मुख्य सचिव मिहिर कुमार आदेश के आलोक में वंशावली ग्राम कचहरी के सरपंच के हस्ताक्षर और मोहर से निर्गत होगा।

वंशावली बनवाने में पंचायत सचिव करेंगे सहयोग

आवेदक परिवार का वंशावली सूची (Bihar Vanshavali List) तैयार कर शपथ पत्र बनवाकर ग्राम पंचायत सचिव को देना होगा। पंचायत सचिव सात दिनों के अंदर वंशावली कागजात को जांच कर जांच प्रतिवेदन ग्राम कचहरी सचिव को देंगे।

ग्राम कचहरी सचिव कार्यालय अभिलेख में वंशावली कागजात को दर्ज करते हुए सरपंच को वंशावली निर्गत करने हेतु अभिलेख को भेजेंगे। सरपंच वंशावली प्रमाणपत्र पर अपना हस्ताक्षर, मोहर करने के बाद आवेदन कर्ता को वापस लौटा देंगे। इसके लिए आवेदक ऑनलाइन या ऑफलाइन दोनों प्रक्रिया में से कोई एक को चुन सकते हैं।

ऑनलाइन वंशावली फॉर्म (Bihar Vanshavali Form) भरकर आवेदन कर सकते हैं। वंशावली बनवाने के लिए आपको dlrs.bihar.gov.in पर जाना होगा। इस वेबसाइट पर आने के बाद आपको विशेष सर्वेक्षण से संबंधित सेवाएं का विकल्प चुनना होगा।

मेसकौर प्रखंड क्षेत्र के 58 राजस्व गांवों में सर्वे के लेकर विभाग के द्वारा जागरूकता कार्यक्रम किया जा रहा है। गांव में चौपाल लगाई जा रही है। इस जागरूकता कार्यक्रम मे पूर्व मुखिया उमेश यादव, नवल किशोर केसरी, सुरेंद्र राजवंशी सहित कई लोग जागरूक कर रहे हैं।

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